अयोध्याः भगवान श्री राम की नगरी में बैकुंठ धाम अव्यवस्था का शिकार है. कोरोना काल में जहां रात और दिन शवों का अंतिम संस्कार किया जा रहा है. वहीं, बैकुंठ धाम में न ही लाइट की व्यवस्था की गई है और न ही सड़कों को सही किया गया. मजबूरी में परिजन अंधेरे में ही अंतिम संस्कार कर रहे हैं.
वैकुंठधाम का एक वीडियो वायरल
बैकुंठधाम का एक वीडियो वायरल हुआ है, जिसमें रात्रिकालीन अंधेरे में कोरोना संक्रमित शवों का अंतिम संस्कार किया जा रहा है. लेकिन कोई भी जनप्रतिनिधि पीड़ित परिवार के साथ संवेदना नहीं रख रहा है. लोग मजबूर होकर कोरोना संक्रमित शवों को रात के अंधेरे में अयोध्या के बैकुंठ धाम में अंतिम संस्कार करने को मजबूर हैं.
लाइट और मार्ग का निर्माण करने की मांग
करतालिया बाबा आश्रम के महंत रामदास ने मांग की है कि नगर निगम और अयोध्या के जनप्रतिनिधि संवेदनशील बने और बैकुंठ धाम में लाइट की व्यवस्था करें. उन्होंने कहा कि बैकुंठ धाम में रात दिन मिलाकर 100 से ज्यादा शवों का अंतिम संस्कार किया जा रहा है. उन्होंने बैकुंठ धाम जाने के लिए मार्ग का निर्माण करने की भी मांग की.
प्रतिदिन 70 से 80 शव का अंतिम संस्कार
रामनगरी के सरयू तट पर स्थित श्मशान घाट का वीडियो वायरल होने के बाद रविवार को ही नगर निगम ने श्मशान घाट पर जनरेटर, शौचालय व छाया के लिए टेंट की व्यवस्था करा दी. कोविड काल में श्मशान घाट पर शवों की संख्या बढ़ी है. प्रतिदिन 70 से 80 शव अंतिम संस्कार के लिए आते हैं. देर रात तक शवों का अंतिम संस्कार होता है. ऐसे में प्रकाश व्यवस्था न होने के कारण अंतिम संस्कार में आए लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ता है.
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होश में आया नगर निगम
अंतिम संस्कार में लोगों की मदद कर रहे समाजसेवी रितेश मिश्र ने बताया कि रविवार को नगर निगम द्वारा श्मशान घाट पर अस्थाई शौचालय सहित प्रकाश के लिए जनरेटर की व्यवस्था करा दी है. अब रात में अंतिम संस्कार में दिक्कत नहीं आएगी. यही नहीं तेज धूम से बचाव के लिए दो और टेंट भी लगवाए जा रहे हैं. उन्होंने बताया कि महापौर ऋषिकेश उपाध्याय व नगर आयुक्त विशाल सिंह के निर्देश पर 24 घंटे के भीतर सारी व्यवस्थाएं दुरूस्त करा दी गई.