अयोध्या: कहते हैं कि प्रतिभा किसी सहारे की मोहताज नहीं होती, संसाधनों के अभाव में भी व्यक्ति के अंदर मौजूद प्रतिभा उसकी तरक्की की इमारत बुलंद करती है. कुछ ऐसी ही कहानी है अयोध्या जनपद के ग्रामीण क्षेत्र मिल्कीपुर इलाके में खंड विकास अधिकारी के पद पर तैनात ज्योति शर्मा की, जो एक मध्यम परिवार से ताल्लुक रखती हैं. उनके पिता उत्तर प्रदेश पुलिस में हेड कांस्टेबल के पद पर तैनात हैं. लेकिन बचपन से कुछ बनने की लगन ने पहले तो ज्योति शर्मा को खंड विकास अधिकारी जैसे महत्वपूर्ण पद तक पहुंचाया, और अब ज्योति शर्मा ने पीसीएस परीक्षा में पूरे प्रदेश में तीसरा स्थान पाकर एक बड़ी उपलब्धि हासिल की है.
ज्योति शर्मा ने बताया कि उनके पिता देवेंद्र शर्मा लखनऊ में हेड कांस्टेबल के पद पर तैनात हैं. उनकी माता उमा शर्मा सामान्य ग्रहणी हैं, उनकी छोटी बहन ओएनजीसी में साइंटिस्ट के पद पर तैनात हैं और उनका छोटा भाई राष्ट्रीय स्तर का वॉलीबॉल प्लेयर है. यही उनका निजी परिचय है. वहीं उन्होंने वर्ष 2017 में खंड विकास अधिकारी के पद पर मिल्कीपुर में नियुक्ति पाई, जिसके बाद नौकरी के दूसरे चरण में पीसीएस 2018 में उनका चयन हुआ और उन्होंने यह बड़ी सफलता अर्जित की.
मूल रूप से मथुरा की रहने वाली ज्योति शर्मा ने अपनी सफलता का श्रेय अपने माता-पिता और अपने शिक्षकों को दिया है. सुश्री शर्मा ने बताया कि उनकी प्रारंभिक शिक्षा लखनऊ में हुई और परिवार से मिली आजादी की वजह से वह आज इस मुकाम तक पहुंच सकी हैं. उन्हें कभी किसी काम के लिए दबाव नहीं दिया गया और उन्हें ऐसा माहौल मिला जिससे वह इतना आगे आ सकी.
ज्योति शर्मा का कहना है कि समाज में अभी भी महिलाएं पिछली पंक्ति में खड़ी नजर आ रही हैं. उन्होंने अपने निजी अनुभव के रूप में बताया कि जब भी मैं गांव में कोई बैठक लेती हूँ तो जो महिला प्रधान होती हैं, उनके पति ही बैठक में आते हैं जबकि ऐसा नहीं होना चाहिए. महिलाओं को खुद आगे आना चाहिए. अपनी जिम्मेदारी को निभाना चाहिए और अपनी दमदार मौजूदगी का एहसास कराना चाहिए.
हेड कांस्टेबल की बेटी बनी डिप्टी कलेक्टर, प्रदेश में पाया तीसरा स्थान
अयोध्या जिले के मिल्कीपुर में खंड विकास अधिकारी के पद पर तैनात ज्योति शर्मा ने पीसीएस की परीक्षा में प्रदेश में तीसरा स्थान पाया है. ज्योति शर्मा के पिता लखनऊ में हेड कांस्टेबल के पद पर तैनात हैं. ज्योति शर्मा ने अपनी सफलता का श्रेय अपने माता-पिता और शिक्षकों को दिया है.
अयोध्या: कहते हैं कि प्रतिभा किसी सहारे की मोहताज नहीं होती, संसाधनों के अभाव में भी व्यक्ति के अंदर मौजूद प्रतिभा उसकी तरक्की की इमारत बुलंद करती है. कुछ ऐसी ही कहानी है अयोध्या जनपद के ग्रामीण क्षेत्र मिल्कीपुर इलाके में खंड विकास अधिकारी के पद पर तैनात ज्योति शर्मा की, जो एक मध्यम परिवार से ताल्लुक रखती हैं. उनके पिता उत्तर प्रदेश पुलिस में हेड कांस्टेबल के पद पर तैनात हैं. लेकिन बचपन से कुछ बनने की लगन ने पहले तो ज्योति शर्मा को खंड विकास अधिकारी जैसे महत्वपूर्ण पद तक पहुंचाया, और अब ज्योति शर्मा ने पीसीएस परीक्षा में पूरे प्रदेश में तीसरा स्थान पाकर एक बड़ी उपलब्धि हासिल की है.
ज्योति शर्मा ने बताया कि उनके पिता देवेंद्र शर्मा लखनऊ में हेड कांस्टेबल के पद पर तैनात हैं. उनकी माता उमा शर्मा सामान्य ग्रहणी हैं, उनकी छोटी बहन ओएनजीसी में साइंटिस्ट के पद पर तैनात हैं और उनका छोटा भाई राष्ट्रीय स्तर का वॉलीबॉल प्लेयर है. यही उनका निजी परिचय है. वहीं उन्होंने वर्ष 2017 में खंड विकास अधिकारी के पद पर मिल्कीपुर में नियुक्ति पाई, जिसके बाद नौकरी के दूसरे चरण में पीसीएस 2018 में उनका चयन हुआ और उन्होंने यह बड़ी सफलता अर्जित की.
मूल रूप से मथुरा की रहने वाली ज्योति शर्मा ने अपनी सफलता का श्रेय अपने माता-पिता और अपने शिक्षकों को दिया है. सुश्री शर्मा ने बताया कि उनकी प्रारंभिक शिक्षा लखनऊ में हुई और परिवार से मिली आजादी की वजह से वह आज इस मुकाम तक पहुंच सकी हैं. उन्हें कभी किसी काम के लिए दबाव नहीं दिया गया और उन्हें ऐसा माहौल मिला जिससे वह इतना आगे आ सकी.
ज्योति शर्मा का कहना है कि समाज में अभी भी महिलाएं पिछली पंक्ति में खड़ी नजर आ रही हैं. उन्होंने अपने निजी अनुभव के रूप में बताया कि जब भी मैं गांव में कोई बैठक लेती हूँ तो जो महिला प्रधान होती हैं, उनके पति ही बैठक में आते हैं जबकि ऐसा नहीं होना चाहिए. महिलाओं को खुद आगे आना चाहिए. अपनी जिम्मेदारी को निभाना चाहिए और अपनी दमदार मौजूदगी का एहसास कराना चाहिए.