अयोध्या. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को रामकथा पार्क में 29 अगस्त 2021 को शुरू किए गए रामायण कान्क्लेव का समारोह पूर्वक समापन किया. इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा, 'भगवान राम सबके राम है और हमारा भारत राममय समाज है. इसी परंपरा को आगे बढ़ाते हुए आज मैं इस कान्क्लेव का समापन कर रहा हूं'.
बता दें कि यह प्रदेश के 16 जनपदों में विभिन्न थीमों के आधार पर शुरू हुआ था. इसका आयोजन आम लोगों के साथ ही नई पीढ़ी में राम के प्रति प्रेम, आस्था व उनके चरित्र का परिचय कराने के उद्देश्य से किया गया. आज इस अवसर पर आगामी 3 नवंबर 2021 को होने वाले पंचम दीपोत्सव 2021 की तैयारी की समीक्षा भी मुख्यमंत्री की ओर से की गई. इसी कड़ी में उनके द्वारा कार्यक्रम का समापन किया गया. मुख्यमंत्री ने कहा कि इस अवसर पर वह अयोध्या के पूज्य संतों का आर्शीवाद भी लेने आए हैं.
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भारत और अफगानिस्तान का बेहद पुराना नाता
मंच से अपने संबोधन में मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे देश के यशस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अफगानिस्तान के काबुल शहर की एक लड़की ने भगवान राम को अर्पित करने के लिए काबुल नदी का जल भेजा था. कहा, 'प्रधानमंत्री जी ने कहा कि आप इसे रामलला के जन्मस्थान/गर्भगृह में अर्पित कीजिए. उसे आज मैनें भगवान रामलला का दर्शन करने के बाद गर्भगृह में अर्पित कर दिया'.
इस दौरान कहा, 'आप सबको अवगत है कि अयोध्या का अफगानिस्तान से गहरा संबंध है. हमारे अयोध्या के महाराजा दशरथ की एक महारानी एवं पूज्य भरत जी की माता कैकेयी अफगानिस्तान की थीं. कैकेय राज्य का गंधार से संबंध था. उनके पिता अश्वपति का अनेक जगहों पर उल्लेख मिलता है. रामायण कॉन्क्लेव का इससे सुंदर समापन दूसरा नहीं हो सकता है कि आज काबुल से भेजे गए जल को भगवान राम को अर्पित किया गया है'.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कार्यक्रम में अयोध्या शोध संस्थान द्वारा प्रकाशित पुस्तक का भी विमोचन किया. इस अवसर पर प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री एवं जनपद के प्रभारी मंत्री डाॅ. नीलकंठ तिवारी द्वारा रामायण कान्क्लेव पर विस्तृत प्रकाश डाला गया.