अलीगढ़ : अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के शताब्दी समारोह के उपलक्ष्य में कई कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं. इस संबंध में विश्वविद्यालय के वरिष्ठ शिक्षकों ने आज एक अपील जारी की और कहा कि इस महान विश्वविद्यालय के शताब्दी समारोह के सफल आयोजन के लिए सभी को राजनीति से ऊपर उठकर काम करना चाहिए. शिक्षकों ने कहा कि हमें विश्वविद्यालय के हित में मिलकर काम करने की आवश्यकता है. देश आपसी प्रेम और महान परंपराओं से जुड़ा हुआ है. जबकि विभाजनकारी विचार धाराएं सामाजिक विघटन उत्पन्न करती हैं. हम सभी से आग्रह करते हैं कि शताब्दी कार्यक्रम को राजनीति से ऊपर रखें. 22 दिसम्बर को देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शताब्दी समारोह को सम्बोधित करने वाले हैं.
अनूठी विरासत को बेहतरीन प्रदर्शन का माध्यम बनाएं
प्रोफेसर अली मोहम्मद नकवी, प्रोफेसर एआर किदवाई, प्रोफेसर शकील अहमद समदानी, प्रोफेसर एम.एम. सुफियान बेग, प्रोफेसर नईमा खातुन, प्रोफेसर समीना खान, प्रोफेसर क्रांति पाल, प्रोफेसर मुहम्मद गुलरेज, प्रोफेसर एमजे वारसी, प्रोफेसर मौला बख्श, डॉक्टर मोहम्मद शाहिद, डॉक्टर नसीम अहमद और अन्य वरिष्ठ शिक्षकों ने अपनी अपील में कहा कि हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि किसी भी विश्वविद्यालय के इतिहास में शताब्दी वर्ष को पाना एक महान उपलब्धि है. इस अवसर पर हमारी एकता विश्वविद्यालय के विभिन्न वर्गों और पूर्व छात्रों के संगठनों के मध्य विश्वास और सामंजस्य का निर्माण करेगा. शिक्षकों ने कहा कि हम सभी से आग्रह करते हैं कि इस आयोजन को एएमयू की अनूठी विरासत के बेहतरीन प्रदर्शन का माध्यम बनाएं. उन्होंने कहा कि यह अवसर एक साथ आने और मतभेदों के बावजूद आपसी समझ और सामंजस्य के उत्कृष्ट प्रदर्शन करने का अवसर है.
शताब्दी वर्ष प्रगति का सूचक बनें
शिक्षकों ने कहा कि हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि शताब्दी वर्ष के अवसर पर विभिन्न क्षेत्रों तक हमारी पहुंच हमारी मातृसंस्था तथा मातृभूमि के विकास और प्रगति के लिए वरदान साबित होगी तथा सार्वजनिक और निजी क्षेत्रों में हमारे छात्रों को रोजगार के अवसर प्रदान करने में भी सहायक सिद्ध होगी. शिक्षकों की अपील में आगे कहा गया है कि एएमयू ने गत 100 वर्षों में कई मील के पत्थर स्थापित किए हैं और देश में उच्च शिक्षा के उच्चतम मानक संस्थानों में से एक के रूप में अपनी पहचान स्थापित की है. एएमयू ने देश को सीमांत गांधी खान अब्दुल गफ्फार खान और डॉक्टर जाकिर हुसैन जैसे भारत रत्न भी दिए हैं. इसके अतिरिकत एएमयू ने ज्ञान के विभिन्न क्षेत्रों में अनुकरणीय सेवाएं प्रदान की हैं और कई छात्रों और शिक्षकों को पद्म पुरस्कार, राष्ट्रपति पुरस्कार, ज्ञानपीठ, सरस्वती सम्मान, सहित्य अकादमी पुरस्कार से सम्मानित किया गया है तथा विज्ञान के कई शिक्षक तथा पूर्व छात्र भारतीय राष्ट्रीय विज्ञान अकादमी के अध्येता रहे हैं और उन्हें शांति स्वरूप भटनागर पुरस्कार सहित कई अन्य सम्माननीय पुरस्कारों से सम्मानित किया जा चुका है.