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उत्तरकाशी और टिहरी में भूकंप के झटके, 3.8 रही तीव्रता

उत्तराखंड के उत्तरकाशी और टिहरी जिले में शनिवार देर रात भूकंप के झटके महसूस किए गए. रिक्टर पैमाने पर तीव्रता 3.8 मापी गई है. टिहरी जिले में दो बार भूकंप के झटके महसूस किए गए. शनिवार देर रात करीब दो बजे दोनों जिलों में भूकंप आया है.

earthquake (etv bharat photo)
भूकंप (ईटीवी भारत फोटो)
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Published : Dec 5, 2021, 11:14 AM IST

उत्तरकाशी: उत्तराखंड में एक बार फिर भूकंप (Earthquake in Uttarakhand) के झटके महसूस किए गये हैं. उत्तरकाशी और टिहरी जिले में शनिवार देर रात भूकंप के झटके महसूस हुए जिसकी तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 3.8 मापी गई है. टिहरी जिले में दो बार भूकंप के झटके महसूस किए गए.

जानकारी के मुताबिक शनिवार देर रात करीब दो बजे दोनों जिलों में भूकंप आया है. इस दौरान लोग भय से अपने घरों से बाहर निकल आए. हालांकि, भूकंप के झटकों से किसी तरह के जान माल के नुकसान की खबर नहीं है.

पिथौरागढ़ में आया था भूकंप : इससे पहले 24 सितंबर को भी पिथौरागढ़ में भूकंप का झटका महसूस किया गया था, जिसकी तीव्रता भी 3.8 थी.

पढ़ें : सिक्किम में भूंकप के झटके, रिक्टर पैमाने पर 5.4 रही तीव्रता

सौ साल में एक बार बड़ा भूकंप जरूरी : वैज्ञानिकों की मानें तो हर सौ साल में एक बार 7.5 मैग्नीट्यूड का भूकंप आना जरूरी है. ताकि जमीन की एकत्र हुई ऊर्जा रिलीज हो सके. ऐसा नहीं होने पर छोटे-छोटे भूकंप आते रहते हैं और धरती के अंदर बड़ी-बड़ी दरारों को उत्पन्न करते हैं, जो ज्यादा खतरनाक होते जा रहे हैं.

दो सौ साल से नहीं आया कोई बड़ा भूकंप : भूगर्भ वैज्ञानिकों की मानें तो उत्तराखंड में बड़े भूकंप की आशंका बनी हुई है. क्योंकि यहां पर पिछले 200 साल से कोई बड़ा भूकंप नहीं आया है. इस कारण इस क्षेत्र में जमीन के नीचे काफी ऊर्जा जमा हो रही है, जो कभी भी लावा बनकर फूटेगी. मतलब वो भूकंप उत्तराखंड के लिए विनाशकारी साबित होगा. बता दें कि वैसे भी उत्तराखंड भूकंप के लिहाज से जोन पांच में आता है.

उत्तरकाशी: उत्तराखंड में एक बार फिर भूकंप (Earthquake in Uttarakhand) के झटके महसूस किए गये हैं. उत्तरकाशी और टिहरी जिले में शनिवार देर रात भूकंप के झटके महसूस हुए जिसकी तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 3.8 मापी गई है. टिहरी जिले में दो बार भूकंप के झटके महसूस किए गए.

जानकारी के मुताबिक शनिवार देर रात करीब दो बजे दोनों जिलों में भूकंप आया है. इस दौरान लोग भय से अपने घरों से बाहर निकल आए. हालांकि, भूकंप के झटकों से किसी तरह के जान माल के नुकसान की खबर नहीं है.

पिथौरागढ़ में आया था भूकंप : इससे पहले 24 सितंबर को भी पिथौरागढ़ में भूकंप का झटका महसूस किया गया था, जिसकी तीव्रता भी 3.8 थी.

पढ़ें : सिक्किम में भूंकप के झटके, रिक्टर पैमाने पर 5.4 रही तीव्रता

सौ साल में एक बार बड़ा भूकंप जरूरी : वैज्ञानिकों की मानें तो हर सौ साल में एक बार 7.5 मैग्नीट्यूड का भूकंप आना जरूरी है. ताकि जमीन की एकत्र हुई ऊर्जा रिलीज हो सके. ऐसा नहीं होने पर छोटे-छोटे भूकंप आते रहते हैं और धरती के अंदर बड़ी-बड़ी दरारों को उत्पन्न करते हैं, जो ज्यादा खतरनाक होते जा रहे हैं.

दो सौ साल से नहीं आया कोई बड़ा भूकंप : भूगर्भ वैज्ञानिकों की मानें तो उत्तराखंड में बड़े भूकंप की आशंका बनी हुई है. क्योंकि यहां पर पिछले 200 साल से कोई बड़ा भूकंप नहीं आया है. इस कारण इस क्षेत्र में जमीन के नीचे काफी ऊर्जा जमा हो रही है, जो कभी भी लावा बनकर फूटेगी. मतलब वो भूकंप उत्तराखंड के लिए विनाशकारी साबित होगा. बता दें कि वैसे भी उत्तराखंड भूकंप के लिहाज से जोन पांच में आता है.

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