कोटा. प्रदेश में एक तरफ वनकर्मी हड़ताल पर है तो दूसरी ओर उनका कार्य बहिष्कार अब वन्यजीवों पर काफी भारी पड़ रहा है. जिले के माला फाटक क्षेत्र के आर्मी एरिया स्थित सघन जंगल जैसे क्षेत्र से सांभर निकलकर स्टेशन रोड पर आ गया था. जिसे किसी अज्ञात वाहन ने टक्कर मार दी. इस हादसे में उसकी मौत हो गई. हालांकि घटना की सूचना वन विभाग को दी गई, लेकिन कार्य बहिष्कार के चलते कोई भी अधिकारी या फिर कर्मचारी मौके पर नहीं पहुंचा. ऐसे में इलाज के अभाव में जख्मी सांभर सड़क पर करीब दो घंटे तक तड़पता रहा. जिसके बाद वन विभाग के अधिकारियों ने मौके पर अपने ही विभाग में सेवारत होमगार्ड्स को भेज दिया. वहीं, सुबह 10 बजे उसे सड़क से उठाकर चिड़ियाघर ले जाया गया, जहां उसकी मौत हो गई. जबकि यह हादसा सुबह 8 बजे हुआ था.
नयापुरा थाने के हेड कांस्टेबल जोगेंद्र सिंह ने बताया कि अंटाघर चौराहे से गवर्नमेंट कॉलेज के बीच जाने वाले मार्ग पर सांभर हादसे का शिकार हो गया. इसकी सूचना पुलिस कंट्रोल रूम से सुबह 8 बजे के करीब मिली. इसके बाद वो स्वयं मौके पर पहुंचे और वहां से वन विभाग के अधिकारियों को इसकी सूचना दी. लाडपुरा के रेंजर इंद्रेश यादव ने बताया कि उन्हें सूचना करीब सुबह 9 बजे मिली.
इसे भी पढ़ें - Work Boycott : वन कर्मचारियों ने किया कार्य बहिष्कार, टाइगर सहित अन्य वन्यजीवों की सुरक्षा व्यवस्था गड़बड़ाई
वन कार्मिकों की स्ट्राइक के चलते वे मौके पर नहीं पहुंच सके. ऐसे में मौके पर होमगार्ड की तैनाती की गई. साथ ही बड़ा वाहन लेकर मौके से होमगार्ड के हवलदार महावीर प्रसाद, जवान लोकेश, सुरेश कुमार सहित 3 से 4 वॉलिंटियर्स ने सड़क से सांभर को रेस्क्यू किया. वहीं, मौके पर पहुंचे होमगार्ड के हवलदार महावीर प्रसाद ने बताया कि चिड़ियाघर ले जाने तक सांभर जीवित था और उसकी सांसें चल रही थीं. लेकिन कोटा चिड़ियाघर में उपचार के दौरान चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया है.