जोधपुर. मथुरा दास माथुर अस्पताल के कार्डियोथोरेसिक विभाग के डॉक्टरों ने एंडोवेस्कूलर तकनीक से पैर की खून की बंद धमनियों (successful leg artery surgery In Jodhpur MDM) को खोलने का सफल ऑपरेशन किया. इस ऑपरेशन में मेदांता के डॉक्टरों की टीम ने उनका पूरा सहयोग किया. इस प्रक्रिया में बिना चीर फाड़ के प्रभावित हिस्से में खून की बंद तथा संकुचित धमनी को नीडल पंचर होल से खोला जाता है.
विभागाध्यक्ष डॉ. सुभाष बलारा ने बताया कि नौरतमल (41) , पुखराज (55) और हेमाराम (79) गत छह माह से पैरों में दर्द, सूजन तथा उंगलियों के काले पन की परेशानी से ग्रसित थे. मरीजों तथा उनके परिजनों ने बताया कि दवाइयों से लाभ न मिलने की स्थिति में वह मथुरादास माथुर अस्पताल के कार्डियोथोरेसिक विभाग में भर्ती हुए जहां उनका पूर्ण स्वास्थ्य परीक्षण तथा सीटी एंजियोग्राफी
की गई. जांच में धमनियों में ब्लॉकेज पाया गया. इसके बाद ऑपरेशन का निर्णय लिया गया.
मेदांता अस्पताल दिल्ली से आए डॉ. वीरेंद्र के. शेरोन ने बताया कि एंडो वेस्कुलर प्रक्रिया के दौरान रक्त वाहिका में नीडील होल के जरिए इमेज गाइडेड तार तथा बैलून से बंद हिस्से को खोला गया तथा उस हिस्से में स्टेंट डाला गया. जिससे संकुचित हुई धमनी में खून का प्रवाह वापस शुरू होने लगता है. इससे मरीज के पैर में सूजन और दर्द खत्म हो जाता है. इससे पहले इस ऑपरेशन के लिए मरीजों को अन्य शहरों में जाना पड़ता था. यह इलाज काफी महंगा है जो कि आमजन की पहुंच से बाहर है परंतु अब यह सुविधा जोधपुर मेडिकल कॉलेज में मुख्यमंत्री चिरंजीवी बीमा योजना में निशुल्क उपलब्ध है.
डॉ. एसएन मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल व नियंत्रक डॉ. दिलीप कछवाहा तथा एमडीएम अस्पताल के अधीक्षक डॉ. विकास राजपुरोहित ने डॉक्टरों की टीम को बधाई दी तथा मेडिकल कॉलेज के प्रवक्ता डॉ जयराम रावतानी ने बताया कि यह ऑपरेशन मुख्यमंत्री चिरंजीवी योजना के तहत निशुल्क किया गया है. इस ऑपरेशन में सीटीवीएस विभाग के सहायक आचार्य डॉ अभिनव सिंह एवं एनेस्थीसिया विभाग के सीनियर प्रोफेसर डॉ. राकेश करनावत तथा डॉ. शिखा सोनी (सह आचार्य) शामिल थे.