झुंझुनू. दिल्ली में चल रहे किसान आंदोलन के समर्थन में व्यस्त सरकार को चेतावनी के लिए किसानों की ओर से गांधी चौक से कलेक्ट्रेट तक शनिवार को रैली निकाली गई. इस दौरान उन्होंने कहां कि सरकार यह न सोचे कि जो लोग दिल्ली नहीं पहुंचें वे किसान आंदोलन के समर्थन में नहीं है. उन्होंने कहां कि केवल दिल्ली से अपने नेताओं के करो या मरो के अंतिम कॉल का इंतजार कर रहे हैं और जैसे वे कहेंगे तो यहां से भी दिल्ली पहुंच जाएंगे. बता दें कि इंकलाबी नारे लगाकर गूंजाया आसमान रैली शहर के रोड नंबर, बीडीके अस्पताल, बस स्टैंड के सामने से होकर धरना स्थल पर पहुंची.
इस दौरान रैली में शामिल लोग किसान विरोधी काले कानून रद्द करो, इंकलाब जिंदाबाद, किसान मजदूर एकता जिंदाबाद, न्यूनतम समर्थन मूल्य का कानून बनाओ, भाजपा सरकार होश में आओ, कांर्पोरेट घरानों को छूट, किसानों की लूट बंद करो के नारे लगाते हुए चल रहे थे. रैली में भाजपा सरकार विरोधी नारे लिखि तख्तियां लिए चल रहे थे. वहीं इस रैली में कैप्टन मोहनलाल कैप्टन, गणपत सिंह, एडवोकेट बजरंगलाल, फूलचंद ढेवा, अंसार मुजतर, यूनुस रंगरेज, यूनुस अली भाटी, फूलचंद बुडानिया, पोकर सिंह झाझड़िया, विक्रम दूलड, विमल भनोट, मधु खन्ना समेत अनेक किसान नेता चल रहे थे. वहीं इसके बाद धरना स्थल पर पहुंच कर रैली सभा में बदल गई.
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वहीं इसकी अध्यक्षता ट्रेड यूनियन नेता गणपत सिंह ने की. इस दौरान वक्ताओं ने कहा कि किसानों के आंदोलन के समर्थन में 13 जनवरी को काले कानूनों की प्रतियां जलाकर जिला मुख्यालय पर प्रदर्शन किया जाएगा और कृषि कानूनों के बारे में जनजागरण अभियान चलाया जाएगा और गांव कमेटियों का गठन किया जाएगा. इस अवसर पर सहदेव कस्वा, रमेश, दीपचंद वर्मा, अनील खीचड़, महताब, इंद्राज, रवींद्र पायल, रामनिवास नूनिया, हरिराम, रामेश्वर शेखसरिया, त्रिलोक सिंह, उम्मेदसिंह पूनिया, उम्मेदसिंह कृष्णिया, प्रभुराम नारनौलिया, शमशेर सिंह भड़ौदा, करणीराम मझाऊ, विकास रेपस्वाल, एडवोकेट धर्मपाल समेत अनेक लाोग मौजूद थे.
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बता दें कि वहीं इसके साथ ही इधर शाहजहांपुर बांर्डर पर शेखावाटी के किसान प्रदेश के अन्य जिलो के किसानों के साथ डटे हुए है. इसके साथ ही वहीं बारिश में भी नहीं टूटा है किसानों का हौसलामाकपा जिला सचिव सुमेर बुडानिया ने बताया कि किसान ने अपनी हक की लड़ाई इस कड़कड़ाती ठंड में बारिश के अंदर भी लड़ रहा है. लेकिन दिल्ली सरकार ध्यान नहीं दे रही है. डीवाईएफआई जिलाध्यक्ष भूराराम लालपुरिया ने किसानों के साथ कंधा से कंधा मिलाकर खड़े हैं.