बीकानेर. वैशाख शुक्ल पूर्णिमा यानी शुक्रवार को उपछाया चंद्रग्रहण लगेगा. चंद्रग्रहण के समय जब पृथ्वी की छाया पूर्ण चंद्रमा को नहीं ढक पाती, तब इसे उपछाया चंद्रग्रहण कहते हैं. इसका धार्मिक रीति-रिवाजों में अधिक महत्व नहीं है. उपछाया चंद्रग्रहण 5 मई को रात्रि 10:53 से लेकर देर रात 1 बजे तक (कुल अवधि 4 घंटे 15 मिनट) रहेगा.
हिन्दू धर्म में तिथि वार नक्षत्र का असर होता है, साथ ही खगोलीय घटनाओं के चलते भी अलग-अलग राशियों के जातक पर इसका प्रभाव देखने को मिलता है. ऐसे में ज्योतिर्विदों का कहना है कि शुक्रवार को होने वाले उपछाया चंद्रग्रहण के चलते भी अलग-अलग राशियों के जातक पर इसका प्रभाव देखने को मिलेगा. बीकानेर के ज्योतिर्विद डॉ. आलोक व्यास बता रहे हैं अलग-अलग राशियों पर इस चंद्रग्रहण का क्या असर होगा.
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मेष: नव साझेदारी के योग बनेंगे. पत्नी अथवा मित्रों के साथ समय व्यतीत होगा.
वृषभ: शत्रु पक्ष से पीड़ा संभव है. दैनिक कार्य में अड़चन आ सकती है. शारीरिक स्वास्थ्य का ध्यान रखें.
मिथुन: रचनात्मक कार्यों में रुझान, संतान संबंधी पीड़ा व प्रेम-प्रसंग में बढ़ोतरी होगी.
कर्क: माता संबंधी चिंता, गृहस्थान में परिवर्तन, मन में बेचैनी देखने को मिलेगी.
सिंह: छोटे भाई बहनों या अधीनस्थ से मतभेद, दूरी की यात्रा, आत्मबल में कमी देखने को मिल सकती है.
कन्या: पारिवारिक सदस्यों के साथ मतभेद, वाणी अथवा नेत्र दोष का असर देखने को मिलेगा.
तुला: आत्मछवि से असंतुष्टि, एकांतवास, मानसिक चिंता बढ़ने के योग बनेंगे.
वृश्चिक: आय की अपेक्षा व्यय की अधिकता रहेगी, विदेश में प्रवास, स्वास्थ्य संबंधी दिक्कत और परेशानी हो सकती है.
धनु: संपर्क सूत्रों में बढ़ोतरी, आय के नए साधन, बड़े भाई बहनों से मतभेद देखने को मिल सकता है.
मकर: कार्यस्थल पर अनुकूलता में कमी, उच्च अधिकारियों या पिता से मतभेद, सामाजिक प्रतिष्ठा से असंतोष पैदा हो सकता है.
कुंभ: धार्मिक अनुष्ठान, गुरुजनों का आशीर्वाद, उच्च अध्ययन के अवसर प्राप्त होंगे.
मीन: मानसिक पीड़ा अथवा भय, गुप्त विद्या की ओर रुझान, सुसराल पक्ष से मतभेद होने के आसार हैं.