जयपुर. सरकारी अस्पतालों में वृद्धजनों को अब लंबी कतार में नहीं लगना पड़ेगा और न ही अस्पताल की पार्किंग में जेब ढीली करनी पड़ेगी. जन स्वास्थ्य निदेशक रवि प्रकाश माथुर ने प्रदेश के सभी जिला अस्पतालों, सेटेलाइट अस्पताल और सीएचसी में ओपीडी, आईपीडी और रजिस्ट्रेशन काउंटर पर बुजुर्गों के लिए अलग से व्यवस्था करने के निर्देश दिए हैं.
प्रदेश के सरकारी अस्पताल में इलाज के लिए रजिस्ट्रेशन कराना हो, ओपीडी में डॉक्टर को दिखाना हो या आईपीडी में भर्ती होना है, सभी के लिए लंबी कतारों से गुजरना पड़ता है. इसमें भी मुश्किल उन बुजुर्गों को होती है, जो पहले ही अपनी उम्र और फिर बीमारी से जूझ रहे होते हैं. हालांकि अब प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में बुजुर्गों को रजिस्ट्रेशन, ओपीडी और आईपीडी की कतार में नहीं लगना होगा. इस संबंध में जन स्वास्थ्य निदेशक ने आदेश जारी किए हैं.
जेरिएट्रिक कॉर्नर और व्हीलचेयर की व्यवस्था : आदेशों में राज्य में विभिन्न चिकित्सा संस्थानों में आने वाले वृद्धजनों के हितों को ध्यान में रखते हुए एडवाइज दी गई है कि जिला अस्पतालों, उपजिला अस्पताल, सेटेलाईट अस्पताल और सीएचसी में बुजुर्गों के लिए अलग से ओपीडी और आईपीडी की कतार लगाई जाए. इसी तरह अलग रजिस्ट्रेशन काउंटर की भी व्यवस्था की जाए. इसके अलावा डिस्पले बोर्ड की व्यवस्था करने, वृद्धजनों के लिए अलग से डेडीकेटेड स्टाफ के साथ जेरिएट्रिक कॉर्नर और व्हीलचेयर की व्यवस्था करने के लिए निर्देश दिए गए हैं.
जनआधार, आधार कार्ड लेकर पहुंचे वृद्धजन : जन स्वास्थ्य निदेशक ने अपने आदेशों में स्पष्ट किया है कि यदि किसी अस्पताल में व्हीलचेयर की व्यवस्था न हो तो आरएमआरएस फंड से ये व्यवस्था सुनिश्चित की जाए. इसके साथ ही राज्य के सभी अस्पतालों में बुजुर्गों के लिए फ्री पार्किंग की व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए भी निर्देशित किया गया है. इसके लिए अस्पताल में पहुंचने वाले वृद्धजन जनआधार, आधार कार्ड या फिर अन्य आवश्यक दस्तावेज को उम्र के लिए रेफरेंस दस्तावेज के रूप में उपयोग में ले सकेंगे.