जयपुर. जिले के नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में नई शेरनी सुजैन के आने से खुशी की लहर है. शेरनी सुजैन को गुजरात के शकरबाग चिड़ियाघर से शुक्रवार को नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क लाया गया है. सेंट्रल जू अथॉरिटी की परमिशन के बाद एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत शेरनी को लाया गया है.
एशियाटिक शेरनी सुजैन को गुजरात से करीब 1100 किलोमीटर का सफर तय करके सड़क मार्ग से जयपुर लाया गया. नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में नया मेहमान आने से वन विभाग के अधिकारियों ने मिठाई बांटकर खुशी मनाई. वन विभाग के डीएफओ सुदर्शन शर्मा, नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क के एसीएफ जगदीश गुप्ता सहित वन विभाग के अधिकारी और कर्मचारी नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क पहुंच कर इस खुशी में शामिल हुए.
शेरनी के बदले एक्सचेंज में वन विभाग ने दो भेड़िए, दो जंगली बिल्ली और एक लकड़बग्घा भेजा गया है. इससे पहले भी एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत कई वन्यजीवों को लाया गया है. इससे पहले भी साल 2016 में शेर-शेरनी का जोड़ा गुजरात से ही लाया गया था.
नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में मौजूद शेर सिद्धार्थ और शेरनी तेजिका के बाद अब एक नए मेहमान की दहाड़ सुनने को मिलेगी. शेरनी तेजिका ने नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में तीन शावकों को जन्म दिया था. शेरनी तेजिका के तीनों शावक तेजस, त्रिपुर, तारा लॉयन सफारी की शान बने हुए हैं.
शावकों के जन्म के कुछ माह बाद ही शेरनी तेजिका की मौत हो गई थी. तेजिका की मौत के बाद सिद्धार्थ अकेला पड़ गया था, लेकिन अब शेरनी सुजैन के आने से सिद्धार्थ को भी एक नया साथी मिल गया है. नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में आने वाली शेरनी और सिद्धार्थ का जोड़ा पर्यटकों के लिए भी आकर्षण का केंद्र बनेगा. हालांकि शेरनी को 21 दिन तक अलग रखा जाएगा और 21 दिन बाद ही दोनों को एक साथ एंक्लोजर में छोड़ा जाएगा.
वन विभाग के डीएफओ सुदर्शन शर्मा ने बताया कि सेंट्रल जू अथॉरिटी की परमिशन के बाद गुजरात के शकरबाग चिड़ियाघर शेरनी सुजैन को लाया गया है, जो कि सकुशल नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में पहुंच चुकी है. 21 दिन तक शेरनी को अलग एंक्लोजर में रखा जाएगा, जहां पर उसके मेडिकल चेकअप और देखभाल की जाएगी. शेरनी को 21 दिन बाद लॉयन सिद्धार्थ के साथ छोड़ा जाएगा, जो कि पर्यटकों के लिए भी आकर्षण का केंद्र बनेंगे. इसके अलावा एक और फीमेल लॉयन को लाने का प्रयास किया जा रहा है.