जयपुर. हर साल 12 अगस्त को विश्व हाथी दिवस मनाया जाता है.पिंक सिटी के हाथी गांव में हाथियों ने केक काटकर खासा अंदाज में विश्व हाथी दिवस मनाया गया. इस अवसर पर हाथी मालिकों, महावतो और वन विभाग के अधिकारियों ने हाथियों के साथ केक काटा और इस खास दिन को सेलिब्रेट किया.रानी नाम की हथिनी ने केक काटा. वहीं केक काटने के बाद सभी ने हाथियों को केक भी खिलाया. बाद में सभी लोगों ने एक दूसरे को मिठाइयां खिलाकर हाथी दिवस की शुभकामनाएं दी.
हाथी गांव देश का एकमात्र ऐसा गांव है जो केवल हाथियों के लिए ही बसाया गया है. हाथी गांव में कुल 65 हाथी रहते हैं. हाथी गांव में रोजाना देश-विदेश के सैलानी आते है और हाथी सवारी करते है.
यह भी पढ़े: राज्यसभा उप चुनाव के लिए 13 अगस्त को बीजेपी खोलेगी अपने पत्ते: सतीश पूनिया
हाथी गांव में वन विभाग की ओर से कई विकास कार्य भी किए गए हैं. गांव में हाथियों को नहाने के लिए दो बड़े तालाब बनाए गए हैं. हाथी इन्ही तालाबों में अठखेलियां करते हुए नजर आते हैं. बारिश के समय में यह तालाब पानी से भर जाता है जिससे हाथियों को नहलाने के लिए पानी के टैंकर मंगवाने की भी जरूरत नहीं पड़ती है.
बता दे कि हाथी गांव को वर्ष 2008 में बसाया गया था. जिसके बाद से लगातार गांव का विकास किया जा रहा है. हाथियों को पालने वाले महावत भी अपने परिवार सहित इसी गांव में रहते हैं. महावत अपने बच्चों की तरह हाथियों की देखभाल करते हैं और रोजाना हाथियों को नहलाने और खाना खिलाने के लिए महावत सुबह 4 बजे उठकर इनकी देखभाल में लग जाते हैंए गए हैं.
यह भी पढ़े: जयपुर: सोनिया गांधी को अंतरिम अध्यक्ष बनाए जाने पर गहलोत और पायलट ने जाहिर की खुशी
हाथी मालिक आसिफ खान ने बताया कि विश्व हाथी दिवस के अवसर पर हर साल हाथी से केक कटवा कर इस दिन को सेलिब्रेट किया जाता है. इस बार ईद और हाथी दिवस एक ही दिन है. सभी ने दोनों अवसरों को एक साथ सेलिब्रेट किया है और एक दूसरे को ईद और हाथी दिवस की शुभकामनाएं दी.
आगे उन्होने बताया कि यहां पर आने वाले देशी-विदेशी सैलानी भी हाथियों के इस गांव की खूबसूरत यादों को अपने साथ लेकर जाते हैं. सैलानी गांव में आकर हाथियों के साथ खेलते हैं और उन्हें खाना भी खिलाते हैं.
यह भी पढ़े: आजादी 'काले पानी' से : राजस्थान ही नहीं पंजाब में भी नासूर बन चुका है 'काला जहर'...देखें ग्राउंड रिपोर्ट
वन विभाग के रेंजर रामकिशोर बैरवा ने बताया कि हाथी गांव वन विभाग की देखरेख में है यहां के हर मूवमेंट पर वन विभाग की नजर रहती है. जिससे हाथियों के साथ किसी भी तरह से कोई गलत व्यवहार ना हो सके. हाथी गांव में हाथियों के लिए सभी प्रकार की सुविधाएं भी दी गई है, जैसे नहाने के लिए तालाब और रहने के लिए स्थान बनाए गए हैं. हाथियों के खान-पान और रहन-सहन की भी वन विभाग मॉनिटरिंग रखता है, हाथियों को किसी तरह की परेशानी नहीं हो. हाथी गांव में हरियाली बढ़ाने के लिए वन विभाग की ओर से इस वर्ष 4000 पौधे लगाएं गए.