ETV Bharat / state

SMS के डॉक्टर्स का कारनामा, 93 साल की बुजुर्ग महिला को मौत के मुंह से निकाला - सवाई मानसिंह के डॉक्टर ने एक और कारनामा कर दिखाया

राजस्थान के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल सवाई मानसिंह के डॉक्टर ने एक और कारनामा कर दिखाया. कार्डियोलॉजी विभाग के डॉक्टर्स ने 93 साल की बुजुर्ग महिला के सफल एंजियोप्लास्टी करते हुए मौत के मुंह से निकाला. ऑपरेशन के बाद एहतियातन महिला को फिलहाल आईसीयू में एडमिट किया गया है.

Heart Operation by SMS Doctors
SMS के डॉक्टर्स का कारनामा
author img

By

Published : Jul 2, 2023, 4:35 PM IST

जयपुर. 90 साल से ज्यादा उम्र के किसी भी मरीज की सर्जरी करने से डॉक्टर्स अमूमन बचते हैं, लेकिन कहते हैं जहां चाह होती है वहां राह होती है. एसएमएस अस्पताल के कार्डियोलॉजी विभाग के डॉक्टर्स ने ऐसी ही एक चाह रखते हुए 93 वर्ष की बुजुर्ग महिला के एंजियोप्लास्टी की. कार्डियोलॉजी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. वीवी अग्रवाल ने बताया कि 93 साल की बुजुर्ग के अचानक हार्ट अटैक आने पर उन्हें भरतपूर के बैर भुसावर से करीब 4 घंटे ट्रेवल करने के बाद एसएमएस अस्पताल लाया गया.

क्रिटिकल कंडीशन होने के कारण डॉक्टर्स को मरीज के बचने की ज्यादा उम्मीद नहीं थी, लेकिन डॉक्टर्स की टीम ने हौसले बुलंद कर जिंदगी और मौत के बीच झूल रही 93 साल की बुजुर्ग महिला का सफल ऑपरेशन करते हुए उन्हें मौत के मुंह से बाहर निकाला. उन्होंने बताया कि महिला के दो कोरोनरी आर्टरीज में रुकावट थी, जबकि मुख्य धमनी में 99 फीसदी ब्लॉकेज था.

पढ़ें : SMS अस्पताल के डॉक्टर्स ने कंधे से कटे हाथ की 7 घंटे तक सर्जरी कर युवक को लाचार होने से बचाया, दी नई जिंदगी

बावजूद इसके, मरीज के एंजियोप्लास्टी करते हुए दो स्टेंट्स डाल कर दोनों ब्लॉकेज हटाए गए. मरीज के ऑपरेशन के बाद एहतियातन उन्हें आईसीयू वार्ड में शिफ्ट किया गया है. डॉ. वीवी अग्रवाल ने बताया कि इस उम्र में एंजियोप्लास्टी करते समय बहुत ज्यादा सावधानी बरतनी पड़ती है, क्योंकि आर्टरी के टूटने का डर रहता है. एंजियोप्लास्टी के बाद अब महिला स्वस्थ है. महिला के दर्द में भी राहत है. वाकई 93 साल की उम्र में एंजियोप्लास्टी सर्जरी करना आसान नहीं. डॉक्टर्स ने इसे मिशन के तौर पर लिया और कामयाबी हासिल करते हुए बुजुर्ग महिला को नया जीवनदान दिया.

जयपुर. 90 साल से ज्यादा उम्र के किसी भी मरीज की सर्जरी करने से डॉक्टर्स अमूमन बचते हैं, लेकिन कहते हैं जहां चाह होती है वहां राह होती है. एसएमएस अस्पताल के कार्डियोलॉजी विभाग के डॉक्टर्स ने ऐसी ही एक चाह रखते हुए 93 वर्ष की बुजुर्ग महिला के एंजियोप्लास्टी की. कार्डियोलॉजी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. वीवी अग्रवाल ने बताया कि 93 साल की बुजुर्ग के अचानक हार्ट अटैक आने पर उन्हें भरतपूर के बैर भुसावर से करीब 4 घंटे ट्रेवल करने के बाद एसएमएस अस्पताल लाया गया.

क्रिटिकल कंडीशन होने के कारण डॉक्टर्स को मरीज के बचने की ज्यादा उम्मीद नहीं थी, लेकिन डॉक्टर्स की टीम ने हौसले बुलंद कर जिंदगी और मौत के बीच झूल रही 93 साल की बुजुर्ग महिला का सफल ऑपरेशन करते हुए उन्हें मौत के मुंह से बाहर निकाला. उन्होंने बताया कि महिला के दो कोरोनरी आर्टरीज में रुकावट थी, जबकि मुख्य धमनी में 99 फीसदी ब्लॉकेज था.

पढ़ें : SMS अस्पताल के डॉक्टर्स ने कंधे से कटे हाथ की 7 घंटे तक सर्जरी कर युवक को लाचार होने से बचाया, दी नई जिंदगी

बावजूद इसके, मरीज के एंजियोप्लास्टी करते हुए दो स्टेंट्स डाल कर दोनों ब्लॉकेज हटाए गए. मरीज के ऑपरेशन के बाद एहतियातन उन्हें आईसीयू वार्ड में शिफ्ट किया गया है. डॉ. वीवी अग्रवाल ने बताया कि इस उम्र में एंजियोप्लास्टी करते समय बहुत ज्यादा सावधानी बरतनी पड़ती है, क्योंकि आर्टरी के टूटने का डर रहता है. एंजियोप्लास्टी के बाद अब महिला स्वस्थ है. महिला के दर्द में भी राहत है. वाकई 93 साल की उम्र में एंजियोप्लास्टी सर्जरी करना आसान नहीं. डॉक्टर्स ने इसे मिशन के तौर पर लिया और कामयाबी हासिल करते हुए बुजुर्ग महिला को नया जीवनदान दिया.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.