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सदन में अलवर को-ऑपरेटिव बैंक घोटाले की गूंज, बोले बलजीत यादव- वसुंधरा की तरह गहलोत सरकार भी नींद में - rajasthan

कर्ज माफी में अलवर सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक से करीब 10 करोड़ रुपए के गबन मामले को बहरोड़ विधायक बलजीत यादव ने राज्य विधानसभा में उठाया. यादव ने बताया कि ऋण माफी के नाम पर करीब 2 हजार फर्जी लोगों के खाते खोलकर ऋण माफी का पैसा उठाया गया था, लेकिन शिकायत के बाद भी एक दूसरो बचाने का खेल चलता रहा. इस दौरान उन्होंने भजपा और कांग्रेस सरकारों को आड़े हाथों लिया.

लवर को-ऑपरेटिव बैंक में भ्रष्टाचार का मामला
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Published : Jul 18, 2019, 5:38 PM IST

जयपुर. यादव ने बताया कि इस मामले में बैंक पर्दा डालता रहा और एक दूसरे को बचाने की कोशिश चलती रही. पहले जांच हुई और दोषियों को निलंबति किया गया, लेकिन बैंक मैनेजर बरकत अली खान को फिर से बहाल करके फिर से मैनेजर नियुक्त कर दिया गया है. बहरोड़ विधायक ने कहा कि पुरानी सरकार की उदासीनता के बाद अब वर्तमान सरसकार की नींद भी नहीं खुल रही है.

लवर को-ऑपरेटिव बैंक में भ्रष्टाचार का मामला

गौरतलब है कि राज्य सरकार द्वारा की गई कर्ज माफी में अलवर सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक से जुड़ी बहरोड़ की 4 ग्राम सहकारी समितियों में करीब 10 करोड़ रुपए के गबन का मामला सामने आया था. इन समितियों के पदाधिकारियों ने मृतक, नाबालिग, घरेलू महिलाओं सहित सैकड़ों ऐसे किसानों के नाम पर कर्ज माफी का पैसा उठा लिया, जिन्होंने कभी बैंक तक नहीं देखा.

मीडिया से बात करते हुए गुरुवार को बलजीत यादव ने इसी मुद्दे पर गहलोत सरकार को घेरते हुए कहा कि सरकार ने कर्ज माफी प्राप्त करने वालों की सूचना पोर्टल पर डाली तो फर्जीवाड़े का पता चला. सोसायटियों से जुड़े किसानों में इससे हडकंप मच गया. मामला सामने आने के बाद दी अलवर सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक ने मैनेजर से लेकर कंप्यूटर ऑपरेटर तक 5 लोगों को निलंबित कर जांच शुरू कर दिया था.

जयपुर. यादव ने बताया कि इस मामले में बैंक पर्दा डालता रहा और एक दूसरे को बचाने की कोशिश चलती रही. पहले जांच हुई और दोषियों को निलंबति किया गया, लेकिन बैंक मैनेजर बरकत अली खान को फिर से बहाल करके फिर से मैनेजर नियुक्त कर दिया गया है. बहरोड़ विधायक ने कहा कि पुरानी सरकार की उदासीनता के बाद अब वर्तमान सरसकार की नींद भी नहीं खुल रही है.

लवर को-ऑपरेटिव बैंक में भ्रष्टाचार का मामला

गौरतलब है कि राज्य सरकार द्वारा की गई कर्ज माफी में अलवर सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक से जुड़ी बहरोड़ की 4 ग्राम सहकारी समितियों में करीब 10 करोड़ रुपए के गबन का मामला सामने आया था. इन समितियों के पदाधिकारियों ने मृतक, नाबालिग, घरेलू महिलाओं सहित सैकड़ों ऐसे किसानों के नाम पर कर्ज माफी का पैसा उठा लिया, जिन्होंने कभी बैंक तक नहीं देखा.

मीडिया से बात करते हुए गुरुवार को बलजीत यादव ने इसी मुद्दे पर गहलोत सरकार को घेरते हुए कहा कि सरकार ने कर्ज माफी प्राप्त करने वालों की सूचना पोर्टल पर डाली तो फर्जीवाड़े का पता चला. सोसायटियों से जुड़े किसानों में इससे हडकंप मच गया. मामला सामने आने के बाद दी अलवर सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक ने मैनेजर से लेकर कंप्यूटर ऑपरेटर तक 5 लोगों को निलंबित कर जांच शुरू कर दिया था.

Intro:बलजीत यादव ने उठाया विधानसभा में अलवर कोऑपरेटिव बैंक में घोटाले का मामला

जयपुर

एंकर...कर्ज माफी में अलवर सेंट्रल कोऑपरेटिव बैंक से करीब 10 करोड़ रुपए के गबन मामले को बहरोड विधायक बलजीत यादव ने राज्य विधानसभा में उठाया। यादव ने बताया कि ऋण माफी के नाम पर करीब 2 हजार फर्जी लोगों के खाते खोलकर ऋणमाफी का पैसा उठाया गया था। यादव ने बताया कि इस मामले में बैंक पर्दा डालता रहा....एक दूसरे को बचाने की कोशिश चलती रही। पहले जांच हुई, दोषियों को निलंबति किया गया लेकिन बैंक मैनेजर बरकत अली खान को फिर से बहाल करके फिर से मैनेजर नियुक्त कर दिया गया है। बलजीत यादव ने कहा कि पुरानी सरकार की उदासीनता के बाद अब वर्तमान सरसकार की नींद भी नहीं खुल रही है। 

Body:गौरतलब है कि राज्य सरकार द्वारा की गई कर्ज माफी में अलवर सेंट्रल कोऑपरेटिव बैंक से जुड़ी बहरोड़ की 4 ग्राम सहकारी समितियों में करीब 10 करोड़ रुपए के गबन का मामला सामने आया था। इन समितियों के पदाधिकारियों ने मृतक, नाबालिग, घरेलू महिलाओं सहित सैकड़ों ऐसे किसानों के नाम पर कर्ज माफी का पैसा उठा लिया, जिन्होंने कभी बैंक तक नहीं देखा। सरकार ने कर्ज माफी प्राप्त करने वालों की सूचना पोर्टल पर डाली तो फर्जीवाड़े का पता चला। सोसायटियों से जुड़े किसानों में इससे हडकंप मच गया। मामला सामने आने के बाद दी अलवर सेंट्रल को ऑपरेटिव बैंक ने मैनेजर से लेकर कंप्यूटर ऑपरेटर तक 5 लोगों को निलंबित कर जांच शुरू कर दिया था। 


बाइट-बलजीत यादव, निर्दलीय विधायक, बहरोड़

Note- इसकी बाइट कुछ देर पहले भेज दी है कृपया कर इस खबर में इस्तेमाल करेंConclusion:
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