डूंगरपुर. होमगार्ड ऑफिस में विधायक की धौंस देकर रिकॉर्ड छीनने के मामले का आखिर में पुलिस ने खुलासा कर दिया है. पुलिस ने मामले में होमगार्ड ऑफिस के मुख्य आरक्षी गेंदमल मीणा सहित 2 होमगार्ड को गिरफ्तार किया है. जिन्होंने खुद को फंसते देख बचने के लिए घटना की झूठी कहानी रची और फिर झूठा केस दर्ज करवाया था.
सदर थानाधिकारी कैलाश सोनी ने बताया की 21 अप्रैल को होमगार्ड ऑफिस के मुख्य आरक्षी गेंदमल ने रिपोर्ट दर्ज करवाई थी. इसमें बताया था कि 18 अप्रैल की रात को एक कार में दो व्यक्ति आये, जिन्होंने विधायक का धौंस देते हुए रिकॉर्ड छीनकर भागने की कोशिश की. इसके बाद पुलिस ने मामले की पड़ताल शुरू की तो मामले में कई परतें खुलती गई.
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ये है पूरा मामला-
दरअसल 15 अप्रैल की रात को डूंगरपुर विधायक गणेश घोघरा ने शहर के महारावल स्कूल का निरीक्षण किया. इस दौरान स्कूल में एवजी होमगार्ड लगे होने के मामले का खुलासा हुआ, जिसमें एवजी होमगार्ड लगे राजेंद्र पटेल को कोतवाली थाना पुलिस ने गिरफ्तार किया था. वहीं इसके दूसरे ही दिन 16 अप्रैल को मुख्य आरक्षी गेंदमल ने होमगार्ड ईश्वर सिंह और मुकेश को बताया कि वे होमगार्ड ऑफिस की अनियमितताओं और भ्रष्टाचार का खुलासा करना चाहता है. इसके लिए गेंदमल ने ईश्वर सिंह ओर मुकेश से पत्रकारों से मुलाकात करवाने की बात कही. गेंदमल की मांग पर ईश्वर सिंह ओर मुकेश ने अपने परिचित दो मीडियाकर्मियों को कहा कि होमगार्ड मामले में एक बड़ी खबर आपको मिलने वाली है. खुद मुख्य आरक्षी गेंदमल अपने कार्यालय में फैले भ्रष्टाचार को मीडिया में उजागर करना चाहते है.
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इसके बाद 16 अप्रैल की रात को ही दोनों मीडियाकर्मी होमगार्ड कार्यालय पहुंचे. जहां मुख्य आरक्षी गेंदमल ने अपने कार्यलय में हो रहे एवजी होमगार्ड सहित होमगार्ड ऑफिस की अनियमितताओ और भ्रष्टाचार का खुलासा किया. गेंदमल ने 8 मिनीट तक पूरी कहानी मीडियाकर्मियों के कैमरे पर स्वेच्छा से बोल दी. जिस पर मीडियाकर्मियों ने कवरेज कर दूसरे दिन खबर प्रकाशित कर दी.
बचने के लिए रची झूठी कहानी
होमगार्ड ऑफिस में भ्रष्टाचार का खुलासा होते ही तीनों को होमगार्ड कमांडेंट की डांट पड़ी. इधर अपनी नौकरी को खतरे में पड़ता देख मुख्य आरक्षी गेंदमल, ईश्वर सिंह और मुकेश कलासुआ तीनों 18 अप्रैल की रात को होमगार्ड कार्यालय में इकट्ठे हुए और अपने बचाव के लिए एक झूठी कहानी रची. मामले में उन्होंने विधायक का नाम शामिल कर दिया ताकि उनसे कोई पूछताछ भी नहीं करे. खुद को फसता हुआ देख उन्होंने झूठा केस भी दर्ज करवा दिया.
केस दर्ज होने के बाद पुलिस ने मामले की जांच की. कॉल डिटेल और गवाहों के बयानों के आधार पर मामले का खुलासा करते हुए मुख्य आरक्षी गेंदमल मीणा, होमगार्ड ईश्वर सिंह और मुकेश कलासुआ को गिरफ्तार कर लिया है. पुलिस पूछताछ में ही तीनों ही आरोपियों ने झूठी कहानी बयां कर दी है. इसके बाद पुलिस ने तीनों आरोपियों को कोर्ट में पेश किया, जहां से 15 दिन के लिए न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया है.