डूंगरपुर. जिले में सबसे पहला कोरोना पॉजिटिव केस 27 मार्च को इंदौर से लौटे प्रवासी पिता-पुत्र आये थे. इसके बाद इसी परिवार से दादा और पोता भी पॉजिटिव आये थे. इसके बाद एक माह तक जिले में सिर्फ 15 पॉजिटिव केस ही थे, लेकिन 16 अप्रैल के बाद प्रवासियों के लौटने के कारण कोरोना का आंकड़ा तेजी से बढ़ा. हालांकि, इस बीच कोरोना मरीजों की संख्या में कुछ कमी आई, लेकिन अनलॉक डाउन लागू होने के बाद अब कोरोना मरीजों की संख्या दिन दोगुनी रात चौगुनी की गति से बढ़ती जा रही है.
अगस्त महीने में अब तक यह आंकड़ा 350 को पार कर चुका है और डूंगरपुर में कोरोना मरीजों की संख्या 993 तक पंहुच गई है, जो एक हजार के आंकड़े से महज 7 कम है. जिले में कोरोना जिस तरह से पैर पसार रहा है, इससे चिंता भी बढ़ती जा रही है और इसकी मुख्य वजह लापरवाही मानी जा रही है. इन तमाम बातों को लेकर ईटीवी भारत ने जिला कलेक्टर कानाराम से चर्चा की तो उन्होंने भी कहा कि जिले में पिछले कुछ दिनों में कोरोना का ग्राफ तेजी से बढ़ा है.
इस दौरान प्रतिदिन 30 से 40 पॉजिटिव केस आते हैं. जिले में खासकर सागवाड़ा शहर और ब्लॉक में सुपर स्प्रेडर कोरोना पॉजिटिव आए है, यह सबसे बड़ी चिंता है. उन्होंने कहा कि अभी जितने भी पॉजिटिव केस निकलकर आ रहे हैं वे कहीं न कहीं पॉजिटिव के नजदीकी संपर्क में आने वाले लोग ही हैं. इसके अलावा रैंडम सैंपलिंग में भी पॉजिटिव केस आ रहे हैं. इसमें सबसे बड़ी राहत की बात है कि पॉजिटिव केस आने के बाद उन्हें अलग से आइसोलेट किया जा रहा है, ताकि लोगों में संक्रमण फैलने का खतरा नहीं रहे.
'ए' सिंटोमेटिक केस ज्यादा...
कलेक्टर ने कहा कि अभी जो भी पॉजिटिव केस आ रहे हैं वे 'ए' सिंटोमेटिक हैं. जिनमें किसी भी तरह के लक्षण नहीं है, लेकिन वे पॉजिटिव आ रहे है तो उन्हें कोविड केयर सेंटर में रखा जा रहा है. वहीं जिन लोगों के पास घर पर अलग रहने की सुविधा है उन्हें सरकारी गाइडलाइन के अनुसार घर पर ही आइसोलेट किया जा रहा है.
हाई रिस्क या अन्य बीमारियों से पीड़ित लोगों की हुई मौत...
कलेक्टर ने कोरोना की वजह से बढ़ते मौत के आंकड़े को लेकर चिंता जाहिर करते हुए कहा कि जो हाई रिस्क पेशेंट बुजुर्ग और महिलाएं हैं, उनकी मौत हुई है. इसके अलावा ऐसे कई मरीज हैं, जिन्हें कोई दूसरी बीमारी थी और वे बाहरी राज्य या जिले में अपना इलाज करवा रहे थे, जिनकी मौत हो गई और बाद में कोरोना पॉजिटिव आये हैं. ऐसे में खासकर हाई रिस्क के पेशेंट जिनमें बुजुर्ग, गर्भवती महिलाएं और बच्चों को सुरक्षा का ख्याल रखना होगा. खासकर जब तक जरूरी नहीं है, तब तक घर से बाहर नहीं निकले और किसी भी तरह के लक्षण नजर आने पर तुरंत अस्पताल में कोरोना की जांच करवाएं.
केस बढ़ने के पीछे कलेक्टर ने गिनाए यह कारण...
- अनलॉक के बाद लोगों का मूवमेंट बढ़ा है. लोग इधर-उधर आना जाना कर रहे है, जिससे संक्रमण तेजी से फैल रहा है.
- सुपर स्प्रेडर जैसे व्यापारी या रोजमर्रा के काम करने वाले लोग भी बढ़े हैं. खासकर व्यापारी वर्ग जो अपने काम के लिहाज से अन्य राज्य या जिले में भी जाता है, जिससे कोरोना की संख्या बढ़ी है.
- सैंपलिंग की संख्या बढ़ाई गई है.
- इससे रोज नए कोरोना मरीज सामने आ रहे हैं. पहले जहां सैंपलिंग की संख्या कम थी अब वहीं कोरोना पॉजिटिव आने वाले मरीज के गांव, वार्ड या कस्बे में बड़े पैमाने पर सैंपलिंग की जा रही है.
- कलेक्टर ने कहा कि जून माह में जहां 10 हजार सैंपल लिए गए थे, वहीं जुलाई में सैंपल की संख्या बढ़कर 21 हजार हो गई और इस महीने भी अब तक 15 हजार सैंपल लिए जा चुके हैं.
- अनलॉक डाउन में लोगों की लापरवाही बढ़ी है. कोरोना से बचाव को लेकर जो सरकारी गाइड लाइन है जनता उसकी पालन नहीं कर रहे है. खासकर मास्क लगाना, सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना, सैनिटाइजर का उपयोग करना.
प्रवासियों और मूवमेंट के कारण सागवाड़ा बना हॉट स्पॉट...
कलेक्टर ने कहा कि जिले में सबसे ज्यादा प्रवासी सागवाड़ा में आये हैं और यहीं पर मूवमेंट भी बढ़ा है. सागवाड़ा में सबसे बड़ा मार्केट है, जहां कई लोग अपनी जरूरत की चीजें खरीदने के लिए आते हैं. वहीं व्यापारी भी इधर-उधर मूवमेंट कर रहे हैं. इसी वजह से सागवाड़ा कोरोना का हॉट स्पॉट बना हुआ है. सागवाड़ा से कुछ सुपर स्प्रेडर भी कोरोना पॉजिटिव आये हैं, जिससे उनके संपर्क में आने वाले लोग भी पॉजिटिव आये हैं.
बचाव को लेकर कलेक्टर की अपील...
कलेक्टर कानाराम ने कोरोना के बढ़ते खतरे के बीच जिले की जनता से जागरूक रहकर खुद का बचाव करने की अपील की है. कलेक्टर ने कहा कि लोग मास्क लगाकर रखें, सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करें, हाथ को बार-बार धोएं या सैनिटाइज करें. जब तक जरूरी नहीं हो तो घरों से बाहर नहीं निकलें.
इसके साथ ही सामाजिक या किसी बड़े कार्यक्रम में हिस्सा नहीं लें. वहीं इन दिनों धार्मिक कार्यक्रमों में शामिल नहीं होने का भी लोग खयाल रखें. उन्होंने यह भी कहा कि सरकारी गाइडलाइन की अवहेलना करने पर कुछ लोगों के खिलाफ कार्रवाई भी की गई है, जो आगे भी जारी रहेगी.
किस महीने में कितने आए पॉजिटिव केस...
अप्रैल - 8
मई - 359
जून - 76
जुलाई - 155
अगस्त - 395