धौलपुर. जिले में द्वितीय राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया. जिला मुख्यालय पर 07, बाडी में 03 और राजाखेडा में 01 बेंच का गठित की गई. जहां कुल 747 प्रकरणों का निस्तारण किया गया.
द्वितीय राष्ट्रीय लोक अदालत में बाडी में 321, राजाखेडा में 190 मामलों का निस्तारण किया गया. इसके अलवा जिले भर अन्य 3 प्रकरणों का निस्तारण रा+Cजीनामा के द्वारा किया गया. निस्तारित प्रकरणों में प्री-लिटिगेशन के कुल 180 प्रकरणों का निस्तारण किया गया. जिसमें जिला मुख्यालय पर 100 ताल्लुका बाडी में 67 तथा राजाखेडा में 13 प्रकरणों का निस्तारण किया गया.
लोक अदालत के माध्यम से पारिवारिक न्यायालय धौलपुर में कुल 48 पारिवारिक प्रकरणों निस्तारण हुआ. पारिवारिक न्यायालय में 12 जोड़े ने एक-दूसरे को माला पहनाकर राजी खुशी परिवार में शामिल होने के लिए सहमत हुए. रजनी बनाम रविन्द्र में प्रार्थी द्वारा अपने पति रविन्द्र के विरूद्ध भरण पोषण की राषि वसूली हेतु प्रार्थना पत्र पेश किया गया था. उक्त प्रकरण में सजा भुगताने के लिए पति को एक माह के कारावास से दडित किया गया था. जिसके कोर्ट ने गिरफ्तारी वारंट भी जारी किये थे.
मामले में न्यायालय द्वारा पक्षकार के मध्य सुलह कराने की कोशिश की गई, लेकिन समझाइस असफल रही. ऐसे में न्यायालय द्वारा पति को कारावास करने की कार्रवाई शुरू की गई. तब पत्नि की भावना पति के प्रति जागृत हुई और समझाइश का असर हुआ. प्रकरण को राजीनामा के द्वारा निस्तारित कर दिया जाए. इस प्रकरण में पत्नि द्वारा प्रकरण को राजीनामा से निस्तारित किया गया. पति पत्नी के मिलन से अदालत में माहौल खुशी के रूप में बदल गया. पति पत्नी दोनों की आंखें खुशी से आंसुओं से छलक आए. अदालत ने कोर्ट परिसर में ही पति और पत्नी ने एक दूसरे को फूल की माला पहनाई. जज ने दोनों को आशीर्वाद देकर उनके उज्जवल भविष्य की कामना की.