चित्तौड़गढ़. कोरोना संक्रमण को लेकर देश ही नहीं पूरी दुनिया चिंता में डूबी है. बार-बार अपना स्वरूप बदलने के कारण चिकित्सा विज्ञान भी बेबस नजर आ रही है. ऐसे में संसाधनों के मामले में सरकार भी लाचार होकर रह गई है. संकट की इस घड़ी में समाज का हर वर्ग मदद के लिए आगे आ रहा है. इनमें क्या बुजुर्ग और क्या जवान. बच्चे भी कोरोना संक्रमित लोगों की मदद के लिए अपने हाथ आगे बढ़ा रहे हैं. इनमें कपासन की जियाना और उसके भाई सीजेन का नाम भी शामिल किया जा सकता है, जिन्होंने आज ईद के मौके पर अपनी बचत की राशि जरूरतमंदों के लिए दान कर दी.
जियाना अपने भाई के साथ लंबे समय से अपनी जेब खर्च को बचत के रूप में गुल्लक में एकत्र कर रही थी. गत दिनों 18 प्लस आयु वर्ग के लोगों के वैक्सीनेशन के लिए समाज के हर वर्ग द्वारा सहायता की बात सामने आई, तो उसने अपने पिता सुखाड़िया यूनिवर्सिटी उदयपुर के पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष वसीम खान से चर्चा की. वसीम खान भी इसके लिए तैयार हो गए और अपने बच्चों का हौसला बढ़ाते हुए कुछ राशि अपने खाते से उन्हें सौंपते हुए कोरोना प्रभावित लोगों की मदद के लिए दान किए जाने पर सहमति दी.
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उसी क्रम में आज ईद के पवित्र दिन दोनों ही भाई-बहन अपने पिता वसीम खान के साथ कलेक्ट्रेट पहुंचे तथा जिला कलेक्टर ताराचंद मीणा को 1 लाख रुपए की सहायता राशि का चेक सौंपा. जिला कलेक्टर ने दोनों ही भाई बहनों कि इस मदद सराहना की. इस मौके पर दीक्षा क्रिएशन सोसाइटी के चेयरमैन वसीम खान ने कपासन क्षेत्र में अपने कॉलेज के जरिए एंबुलेंस की सुविधा प्रदान करने का आश्वासन दिया.
कलेक्टर ने गंभीरी नदी की सफाई के दिए निर्देश
जिला कलेक्टर ताराचंद मीणा और पूर्व विधायक सुरेंद्र सिंह जाड़ावत ने गंभीरी नदी की सफाई को लेकर निरीक्षण किया. साथ ही मौके पर ही नदी की सफाई के लिए सिंचाई विभाग के अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिए गए. जिला कलेक्टर ने अधिकारियों को किसी औद्योगिक संस्थान या जन सहयोग के माध्यम से नदी में लंबे समय से अटे पड़े मलबे, कचरे एवं अन्य प्रकार की गंदगी को शीघ्र साफ करने के निर्देश दिए. कलेक्टर ने कहा कि अभी नदी का जलस्तर कम होने से सफाई की जा सकती है. उन्होंने निर्देश दिए कि जन सहयोग के माध्यम से शीघ्र इस कार्य को पूरा किया जाए, ताकि नदी का जीर्णोद्धार हो सके.