भरतपुर. जिले की कुम्हेर पंचायत समिति चुनावों में फर्जी ओबीसी प्रमाण पत्र और कूटरचित दस्तावेज लगाकर प्रधान बनी कविता कुमारी के निर्वाचन को न्यायालय ने शून्य घोषित कर दिया है. अतिरिक्त वरिष्ठ सिविल न्यायाधीश एवं अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट संख्या 4 अंकुर गुप्ता ने गुरुवार को मामले की सुनवाई कर निर्वाचन को शून्य घोषित कर दिया. साथ ही याचिकाकर्ता रश्मि फौजदार को पंचायत समिति कुम्हेर के प्रधान पद के लिए निर्वाचित घोषित किया.
असल में 1 सितंबर, 2021 को कुम्हेर पंचायत समिति के कुल 19 सदस्यों का निर्वाचन हुआ. कुम्हेर पंचायत समिति का प्रधान पद अन्य पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित है. कविता कुमारी ने 6 सितंबर, 2021 को निर्वाचन अधिकारी के समक्ष प्रधान पद के लिए अन्य पिछड़ा वर्ग के प्रत्याशी के रूप में नाम निर्देशन पत्र दाखिल किया. जबकि प्रत्याशी कविता कुमारी उत्तर प्रदेश के मथुरा, गोवर्धन के गांव केहरी में जन्मी थी और उत्तर प्रदेश में ही शिक्षा ग्रहण की थी. प्रत्याशी कविता ने असत्य कूट रचित दस्तावेजों से कुम्हेर का मूल निवास प्रमाण पत्र बनवाकर पेश किया था.
पढ़ें: Rajasthan High Court : चाकसू नगर पालिका चेयरमैन का चुनाव रद्द करने वाले आदेश पर रोक
न्यायाधीश अंकुर गुप्ता ने दोनों पक्षों की दलीलों को सुनने के बाद कुम्हेर पंचायत समिति प्रधान कविता कुमारी के ओबीसी प्रमाण पत्र और दस्तावेजों को कूटरचित मानते हुए प्रधान पद के निर्वाचन को शून्य घोषित कर दिया. साथ ही याचिकाकर्ता रश्मि फौजदार को पंचायत समिति कुम्हेर के प्रधान पद के लिए निर्वाचित घोषित कर दिया. इतना ही नहीं कविता कुमारी, कोविड़ हेल्थ सहायक के पद पर कार्यरत थी. कोविड हेल्थ सहायक पद से त्यागपत्र का प्रमाण पत्र भी फर्जी तरीके से तैयार किया गया था और त्यागपत्र को स्वीकार किया जाना भी साबित नहीं हुआ.