बारां. फर्जी वोटर आईडी बनाने के आरोप में उत्तर प्रदेश की सहारनपुर जिले की थाना पुलिस को गिरफ्तार मास्टरमाइंड के तार राजस्थान के छबड़ा क्षेत्र से जुड़े मिले हैं. जिससे जिला पुलिस भी पूरी तरह सकते में आ गई. सूचना मिलते ही स्थानीय पुलिस ने हरकत में आते हुए आरोपी और उसके भाई को अपनी गिरफ्त में ले लिया और उसके स्थानीय बैंकों में स्थित खातों को तुरंत प्रभाव से सीज करा दिया. जिनमें लगभग 14 लाख रुपए से अधिक की राशि बताई जा रही है.
साईबर क्राइम के इस बड़े मामले के तार अभी तक तीन राज्यों से जुड़े पाए गए हैं. छबड़ा से पुलिस गिरफ्त में आया युवक कंप्यूटर का इतना बड़ा खिलाड़ी है कि उसे टेक्निकल मेहता के नाम से भी जाना जाता है. एसपी विनीत बंसल ने बताया कि पकड़े गए मास्टरमाइंड विपुल सोनी ने पूछताछ में बताया कि छबड़ा क्षेत्र के रूपारेल गांव निवासी दीपक मेहता भी इस साईबर क्राईम मे शामिल है. जो भी फर्जी आईडी बनाने का काम करता है.
जिसके बाद पुलिस अलर्ट हो गई और सहारनपुर पुलिस के छबड़ा पहुंचने पर गुरुवार को बापचा थाना क्षेत्र रूपारेल निवासी दीपक मेहता और उसके सगे भाई संजीव मेहता को गिरफ्तार कर यूपी पुलिस को सौंप दिया है और इससे प्रारंभिक पूछताछ के आधार पर इसके बैंक खातों को सीज कर दिया गया है.
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मामले की गंभीरता को देखते हुए कोटा आईजी ने खुद मामले की पूरी मॉनिटरिंग की. जानकारी के अनुसार 2 दिन पूर्व चुनाव आयोग की वेबसाइट हैक कर लगभग 10 हजार फर्जी वोटर आईडी कार्ड बनाने का सनसनीखेज मामला उजागर हुआ है. इसके बाद हरकत में आए चुनाव आयोग के निर्देश पर उत्तर प्रदेश की सहारनपुर जिले के नुक्कड़ थाना क्षेत्र की पुलिस ने थाना क्षेत्र के मच्छरपुर निवासी गिरोह के मास्टरमाईंड विपुल सोनी को गिरफ्तार किया था. जिसके खाते में पुलिस को 60 लाख रुपए भी मिले है.