बांसवाड़ा. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मंगलवार को मुख्यमंत्री निवास से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जिले के पोटलिया गांव में कुशलगढ़ पंचायत समिति के पूर्व प्रधान स्व. हुरतिंग खड़िया की मूर्ति अनावरण किया. इस दौरान कार्यक्रम को वर्चुअल संबोधित करते हुए सीएम गहलोत ने आदिवासी विकास के लिए प्रतिबद्धता जाहिर की.
उन्होंने कहा कि सरकार के सभी विभागों को जनजातीय आदिवासी अंचलों के क्षेत्रीय विकास को प्राथमिकता देने और कोताही नहीं बरतने के निर्देश दिये हुए हैं. मुख्यमंत्री ने कहा कि पानी की समस्या से जूझ रहे आदिवासी क्षेत्र के लोगों को घर-घर जल कनेक्शन का लाभ मिलेगा. जनजातीय क्षेत्र (टीएसपी) का सर्वांगीण विकास राज्य सरकार की प्राथमिकता है. इसी को ध्यान में रखते हुए सरकार उन सभी योजनाओं को मूर्त रूप दे रही है, जिनसे इस क्षेत्र के विकास को गति मिले.
मुख्यमंत्री ने कहा कि जल जीवन मिशन के तहत हर घर जल पहुंचाने का काम बड़े रूप में हाथ में लिया जाएगा. योजना में ग्राम स्तर पर बनाई गई समितियों के माध्यम से प्रदेश के गांव-ढाणी में बसे 80 लाख से ज्यादा परिवारों के घर तक नल कनेक्शन के माध्यम से पानी पहुंचाया जाएगा.
मुख्यमंत्री ने कहा कि जनजातीय क्षेत्रीय विकास विभाग के माध्यम से क्षेत्र के चहुंमुखी विकास के लिए योजनाबद्ध तरीके से काम किया जा रहा है. आदिवासियों के प्रसिद्ध तीर्थ स्थल बेणेश्वर धाम के विकास के लिए सरकार ने बेणेश्वर धाम विकास बोर्ड का गठन किया है. इसके विकास के लिए 132 करोड़ रूपए की योजना है. जिस पर जल्द ही काम शुरू किया जाएगा.
मुख्यमंत्री ने कहा कि स्व. हुरतिंग खड़िया ने कुशलगढ़ क्षेत्र के विकास के लिए समर्पित होकर कार्य किया. उन्होंने हमेशा क्षेत्र की जनता के सुख-दुख में भागीदारी निभाई. उनके असामयिक निधन के बाद उनकी धर्मपत्नी रमीला खडि़या विधायक के रूप में जनसेवा के कार्यों को आगे बढ़ा रही हैं. उन्होंने कहा कि सरकार कुशलगढ़ क्षेत्र के विकास में कोई कमी नहीं रखेगी. इस क्षेत्र में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र एवं इसके भवन, तालाब सहित अन्य विकास कार्यों को पूरा करने का प्रयास किया जाएगा.
कार्यक्रम में विधायक रमिला खड़िया ने कहा कि मुख्यमंत्री ने उन्हें अपनी बेटी माना है, वे जब भी किसी काम से गईं, मुख्यमंत्री ने उनका काम किया है. टीएडी मंत्री अर्जुन सिंह बामनिया ने भी कार्यक्रम को संबोधित किया. कार्यक्रम के दौरान कुशलगढ़ विधायक ने कुशलगढ़ के अस्पताल और क्षेत्र के 2 तालाबों की मरम्मत के लिए विशेष पैकेज की मांग की. इस पर मुख्यमंत्री ने काम के लिए पूरी योजना के साथ फाइल मंगवाई.
कुशलगढ़ के दो बार प्रधान रहे हुरतिंग खड़िया के निधन के बाद में उनकी पत्नी रमिला खड़िया ने विधायक का चुनाव लड़ा और वे जीत गईं. खड़िया क्षेत्र के विकास की राजनीति करते थे, वे एक सामाजिक कार्यकर्ता भी थे.