बहरोड़ (अलवर). दिल्ली से गुरुग्राम होते हुए बहरोड़, नीमराणा, शाहजहांपुर के बीच एक दशक से प्रस्तावित रीजनल रैपिड ट्रांजिट सिस्टम कॉरिडोर की डीपीआर को राजस्थान सरकार ने मंजूरी दे दी है. इससे आरआरटीएस से एनसीआर में अलवर जिले की सीधी कनेक्टिविटी बढ़ जाएगी. वहीं, इसी साल फरवरी में हरियाणा सरकार भी परियोजना की रिपोर्ट को मंजूरी दे चुकी है. ऐसे में रेलवे के 106 किमी लंबे विशिष्ट कॉरिडोर का काम एनसीआरआरटीसी कराएगी.
बता दें, दिल्ली और उसके आसपास के शहरों, कस्बों तक तेज और सुगम आवागमन के लिए प्रस्तावित आठ रैपिड रेल ट्रांजिट परियोजना में से दिल्ली, रेवाड़ी अलवर मार्ग को तैयार करने का काम इन दिनों एनआईआरटीसी के तहत सीईजी कंपनी के तहत पानी का लेवल और मिट्टी परीक्षण का काम शुरू हो गया है. जहां, पर रैपिड रेल के स्टेशन बनाये जाएंगे.
दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान सरकारों की स्वीकृति
दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान सरकारों की स्वीकृति मिल चुकी है. स्वीकृति मिलने के बाद चार साल में यह रुट बनकर तैयार होने की संभावना जताई जा रही है. इसका सर्वे का काम लगभग पूरा हो चुका है. SNB के तहत गुगलकोटा, शाहजहांपुर, नीमराणा, बहरोड़, सोतानाला तक पांच स्टेशन बनाये जाएंगे. 40 किलोमीटर की दूरी में प्रति किलोमिटर पर मिट्टी परीक्षण का काम तेजी से और हो चुका है.
दिल्ली के सराय काले खां से तीन रुट बनाये जाएंगे
दिल्ली के सराय कालें खां से अलवर तक 164 किलोमीटर के सफर में यह प्रोजेक्ट का समय पूरा होने के बाद यात्रा में 85 मिनट का समय लगेगा. जिससे प्रतिदिन हजारों यात्रियों को लाभ मिलेगा. इसका कुछ हिस्सा भूमिगत और कुछ हिस्सा ऊपर खंबो पंर होगा. दिल्ली के सराय काले खां से तीन रुट बनाये जाएंगे. जिसमें सबसे बड़ा रुट दिल्ली से अलवर का होगा.
दिल्ली से अलवर रूट पर कुल 22 स्टेशन बनेंगे
अलवर रूट पर कुल 22 स्टेशन बनाये जाएंगे. पहले चरण में शाहजहांपुर, नीमराणा, बहरोड़ तक का रूट तैयार किया जाएगा. जिस पर गुरुग्राम में नेशनल हाइवे 8 के साथ साथ सात स्टेशन बनाये जाएंगे. इन स्टेशनों में से मानेसर और खेड़की दोला स्टेशन अंडरग्राउंड रहेंगे. जबकि, अन्य पांच स्टेशन एलिवेटेड रखे जाएंगे. मिट्टी परीक्षण कर रहे एक अधिकारी ने बताया कि साहजहांपुर से सोतानाला तक पांच एलिवेटेड रैपिड स्टेशन बनाये जाएंगे. जिसको लेकर अलग अलग स्थानों पर मिट्टी परीक्षण का कार्य चल रहा है.