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अलवरः गिरफ्तार अवैध हथियार के तस्करों ने किए कई खुलासे

भिवाड़ी में पुलिस ने अवैध हथियारों की सप्लाई करने वाले दो डीलरों को गिरफ्तार किया है. हथियारों की तस्करी से जुड़े कई खुलासे किए हैं. जिसके आधार पर पुलिस अवैध हथियार तस्करी के जुड़े लोगों का डाटा तैयार कर रही है.

पारिश देशमुख, एसपी, अलवर
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Published : Jun 13, 2019, 9:58 PM IST

अलवर. जिले में इलेक्ट्रॉनिक आइटम व राशन के सामान की तरह खुलेआम हथियार सप्लाई हो रहे हैं. अलवर की खुशखेड़ा पुलिस ने हाल ही में दो हथियार सप्लाई करने वाले तस्करों को गिरफ्तार किया है. जिन्होंने कई खुलासे किए हैं.

अलवर में गिरफ्तार अवैध हथियार के डीलर ने किए कई खुलासे

दरअसल पुलिस ने अवैध हथियार की सप्लाई करने के आरोप में दो लोगों को भिवाड़ी से गिरफ्तार किया है. पुलिस ने बताया कि गिरफ्तार आरोपी मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश व भरतपुर सहित आसपास क्षेत्र में बनने वाले हथियारों को अवैध रूप से अलवर में ऑन डिमांड सप्लाई करते थे. देसी कट्टा तीन से पांच हजार रुपए में बिक रहा है. वहीं अवैध पिस्टल 25 से 40 हजार रुपए तक बेची जा रही है. पूछताछ में उन्होंने कई बड़े खुलासे किए हैं.

पुलिस के हत्थे चढ़े दोनों तस्करों ने अभी तक जिन लोगों को हथियार सप्लाई किए हैं उनकी तलाश की जा रही है. पुलिस का कहना है कि ये पिछले कई सालों से हथियार सप्लाई करने का काम कर रहे थे. इनकी मदद से हथियार बनाने वाले व अन्य राज्यों में हथियार सप्लाई करने वाले लोगों तक भी पहुंचा जा सकता है. आरोपी अलवर के उत्तरी भाग व हरियाणा से सटे हुए क्षेत्र में अधिक सक्रिय थे. लोग अपनी जान पहचान के लोगों की मदद से ऑन डिमांड हथियार सप्लाई करते थे. वहीं अलवर में वो लोग एक डीलर की तरह काम करते थे. हथियार कहां बनता है व कौन लोग बनाते हैं? फिलहाल इसकी उनको कोई जानकारी नहीं है. लोगों की जरूरत व डिमांड के हिसाब से हथियार अलवर में बेचे जाते थे.

अलवर पुलिस अधीक्षक पारिश देशमुख ने बताया के अलवर में लंबे समय से हथियार सप्लाई होने की सूचनाएं मिल रही थी. इस पर लगातार हथियार बनाने वाले व सप्लाई करने वाले लोगों पर नजर रखी जा रही थी. वहीं भिवाड़ी के खुशखेड़ा में दो हथियार तस्करों को गिरफ्तार किया गया है. यह लोग मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश व भरतपुर के आसपास क्षेत्र में हथियार बनाने वाली फैक्ट्री में लोगों से संपर्क में थे. एसपी ने कहा यह लोग देसी कट्टा तीन से पांच हजार रुपए में बेचते थे. पूछताछ के दौरान पता चला है कि ये अवैध पिस्टल को 25 से 40 हजार रुपए में बेचते थे. वहीं देसी कट्टे का कारतूस 300 से 400 रुपए में बेचते थे. एसपी ने कहा कि तस्करों ने अब तक जिन लोगों को हथियार सप्लाई किए हैं उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ के आधार पर उनका उनका डाटा तैयार किया जा रहा है.

अलवर. जिले में इलेक्ट्रॉनिक आइटम व राशन के सामान की तरह खुलेआम हथियार सप्लाई हो रहे हैं. अलवर की खुशखेड़ा पुलिस ने हाल ही में दो हथियार सप्लाई करने वाले तस्करों को गिरफ्तार किया है. जिन्होंने कई खुलासे किए हैं.

अलवर में गिरफ्तार अवैध हथियार के डीलर ने किए कई खुलासे

दरअसल पुलिस ने अवैध हथियार की सप्लाई करने के आरोप में दो लोगों को भिवाड़ी से गिरफ्तार किया है. पुलिस ने बताया कि गिरफ्तार आरोपी मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश व भरतपुर सहित आसपास क्षेत्र में बनने वाले हथियारों को अवैध रूप से अलवर में ऑन डिमांड सप्लाई करते थे. देसी कट्टा तीन से पांच हजार रुपए में बिक रहा है. वहीं अवैध पिस्टल 25 से 40 हजार रुपए तक बेची जा रही है. पूछताछ में उन्होंने कई बड़े खुलासे किए हैं.

पुलिस के हत्थे चढ़े दोनों तस्करों ने अभी तक जिन लोगों को हथियार सप्लाई किए हैं उनकी तलाश की जा रही है. पुलिस का कहना है कि ये पिछले कई सालों से हथियार सप्लाई करने का काम कर रहे थे. इनकी मदद से हथियार बनाने वाले व अन्य राज्यों में हथियार सप्लाई करने वाले लोगों तक भी पहुंचा जा सकता है. आरोपी अलवर के उत्तरी भाग व हरियाणा से सटे हुए क्षेत्र में अधिक सक्रिय थे. लोग अपनी जान पहचान के लोगों की मदद से ऑन डिमांड हथियार सप्लाई करते थे. वहीं अलवर में वो लोग एक डीलर की तरह काम करते थे. हथियार कहां बनता है व कौन लोग बनाते हैं? फिलहाल इसकी उनको कोई जानकारी नहीं है. लोगों की जरूरत व डिमांड के हिसाब से हथियार अलवर में बेचे जाते थे.

अलवर पुलिस अधीक्षक पारिश देशमुख ने बताया के अलवर में लंबे समय से हथियार सप्लाई होने की सूचनाएं मिल रही थी. इस पर लगातार हथियार बनाने वाले व सप्लाई करने वाले लोगों पर नजर रखी जा रही थी. वहीं भिवाड़ी के खुशखेड़ा में दो हथियार तस्करों को गिरफ्तार किया गया है. यह लोग मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश व भरतपुर के आसपास क्षेत्र में हथियार बनाने वाली फैक्ट्री में लोगों से संपर्क में थे. एसपी ने कहा यह लोग देसी कट्टा तीन से पांच हजार रुपए में बेचते थे. पूछताछ के दौरान पता चला है कि ये अवैध पिस्टल को 25 से 40 हजार रुपए में बेचते थे. वहीं देसी कट्टे का कारतूस 300 से 400 रुपए में बेचते थे. एसपी ने कहा कि तस्करों ने अब तक जिन लोगों को हथियार सप्लाई किए हैं उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ के आधार पर उनका उनका डाटा तैयार किया जा रहा है.

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अलवर।
अलवर में इलेक्ट्रॉनिक आइटम व राशन के सामान की तरह खुलेआम हथियार सप्लाई हो रहे हैं। अलवर की खुशखेड़ा पुलिस ने हाल ही में दो हथियार सप्लाई करने वाले डीलरों को गिरफ्तार किया है। इनसे कई बड़े खुलासे हुए हैं। पुलिस ने बताया कि यह लोग मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश व भरतपुर सहित आसपास क्षेत्र में बनने वाले हथियारों को अलवर में ऑन डिमांड सप्लाई करते थे। देसी कट्टा तीन से पांच हजार रुपए में बिक रहा है। इसी तरह से पिस्टल 25 से 40 हजार रुपए तक खुलेआम बेची जा रही है।


Body:अलवर क्राइम के साथ हथियारों का भी गढ़ बनता जा रहा है। अलवर में खुलेआम ऑन डिमांड हथियार सप्लाई किए जा रहे हैं। हाल ही में भिवाड़ी पुलिस ने दो हथियार तस्करों को गिरफ्तार किया। पूछताछ में उन्होंने कई बड़े खुलासे किए हैं।

उन्होंने बताया कि वो लोग अपनी जान पहचान के लोगों की मदद से ऑन डिमांड हथियार सप्लाई करते थे। तो वही अलवर में वो लोग एक डीलर की तरह काम करते थे। हथियार कहां बनता है व कौन लोग बनाते हैं।। इसकी उनको कोई जानकारी नहीं है। लोगों की जरूरत व डिमांड के हिसाब से हथियार अलवर में बेचे जाते थे।

पुलिस ने पूछताछ के आधार पर दोनों ही तस्करों ने अभी तक जिन लोगों को हथियार सप्लाई किए हैं। उन लोगों की भी तलाश की जा रही है। पुलिस ने बताया कि यह कई सालों से हथियार सप्लाई करने का काम कर रहे थे। इनकी मदद से हथियार बनाने वाले व अन्य राज्यों में हथियार सप्लाई करने वाले लोगों तक भी पहुंचा जा सकता है। यह लोग अलवर के उत्तरी भाग व हरियाणा से सटे हुए क्षेत्र में ज्यादा सक्रिय थे।


Conclusion:अलवर पुलिस अधीक्षक पारिश देशमुख ने बताया के अलवर में लंबे समय से हथियार सप्लाई होने की सूचनाएं मिल रही थी। इस पर लगातार हथियार बनाने वाले व सप्लाई करने वाले लोगों पर नजर रखी जा रही थी। तो वही भिवाड़ी के खुशखेड़ा में दो हथियार डीलरों को गिरफ्तार किया। यह लोग मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश व भरतपुर के आसपास क्षेत्र में हथियार बनाने वाली फैक्ट्री में लोगों से संपर्क में थे।

एसपी ने कहा यह लोग देसी कट्टा तीन से पांच हजार रुपए में बेचते थे। इसी तरह से पिस्टल 25 से 40 हजार रुपए तक खुलेआम बेची जा रही है। देसी कट्टे का कारतूस 300 से 400 रुपए में बेचते थे। उन्होंने कहा कि तस्करों ने अब तक जिन लोगों को हथियार सप्लाई किए हैं। उन लोगों के खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी। उनका डाटा तैयार किया जा रहा है। तो वहीं इन तस्करों से पूछताछ के आधार पर अहम जानकारियां जुटाने के प्रयास किए जा रहे हैं। जिससे अन्य हथियार सप्लाई करने वाले तस्कर व इनके साथियों तक पहुंचा जा सके।

बाइट- पारिस देशमुख, एसपी, अलवर
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