अलवर. शहर में कब्रिस्तान की जमीन ट्रांसफर करने का मामला तूल पकड़ रहा है. मेव समाज ने मुख्यमंत्री से मंत्री टीकाराम जूली को मंत्री पद से हटाने की मांग की (Mev samaj demands action against Tikaram Jully) है. उन्होंने कहा कि मेव समाज उनको कभी माफ नहीं करेगा. उनके इशारे पर यह पूरा खेल हुआ है. इस मामले में आरोपी अन्य अधिकारियों को हटाया जाए. साथ ही उन लोगों पर आपराधिक मामले दर्ज हों. इस पूरे मामले को लेकर मेव समाज आगामी दिनों में मंत्री टीकाराम जूली का विरोध करेगा व उनके कार्यकमों के दौरान काले झंडे दिखाए जाएंगे.
बीते दिनों अलवर के अकबरपुर क्षेत्र में कब्रिस्तान की जमीन लोगों के नाम ट्रांसफर करने का मामला सामने (Cemetery transfer case in Alwar) आया. मेव समाज की तरफ से इस पूरे मामले का विरोध जताते हुए मुख्यमंत्री से जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की गई. जिसके बाद एसडीएम व तहसीलदार को निलंबित किया गया. लेकिन यह पूरा मामला शांत होता नजर नहीं आ रहा है. मेव समाज इस पूरे मामले में मंत्री टीकाराम जूली को मंत्री पद से हटाने व उनके खिलाफ साजिश करने जैसी धाराओं में मामला दर्ज करने की मांग कर रहा है. साथ ही अन्य अधिकारियों के खिलाफ अपराधिक मामले दर्ज करने की मांग की गई.
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मेव समाज ने कर्बला मैदान पर प्रेस वार्ता में मंत्री टीकाराम जूली व उनके भाई मुकेश जूली पर गंभीर आरोप लगाए. उन्होंने कहा कि कुछ दिन पहले मंत्री टीकाराम जूली की तरफ से मेव समाज के लोगों को बुलाया गया. वहां मौजूद लोगों के सामने जूली व उसके साथियों ने यह स्वीकार किया कि उनके भाई ने यह पूरा मामला किया. लेकिन मंत्री का इसमें कोई हाथ नहीं है. उन्होंने कहा कि इस मामले में जो लोग दोषी हैं. उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए. समाज के प्रबुद्ध लोगों की एक पंचायत बुलाकर मंत्री के बहिष्कार की योजना तैयार की जाएगी. उन्होंने कहा कि मंत्री राठ क्षेत्र के रहने वाले हैं. उनको उसी क्षेत्र में भेजा जाएगा. मेव समाज ने 60 हजार वोट देकर उनको प्रदेश की विधानसभा में भेजा है.
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मेव समाज नेताओं ने कहा कि उन्हें कांग्रेस पार्टी से कोई परेशानी नहीं है. लेकिन टीकाराम जूली बर्दाश्त नहीं हैं. मंत्री के खिलाफ साजिश रचने सहित अन्य मामलों में कानूनी कार्रवाई व एफआईआर दर्ज होनी चाहिए. साथ ही जिन अधिकारियों ने इस पूरे मामले को अंजाम दिया. उन लोगों के खिलाफ भी सख्त कार्रवाई के साथ ही अपराधिक धाराओं में मामला दर्ज होना चाहिए. क्योंकि कुछ समय बाद निलंबित अधिकारी फिर से नौकरी पर बहाल हो जाते हैं. मेव समाज के नेताओं ने इसके अलावा भी मंत्री टीकाराम जूली के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए कई बड़े खुलासे किए गए गंभीर आरोप लगाए.
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मंत्री ने मांगी माफी: मेव समाज के नेताओं ने कहा कि इस मामले को लेकर मंत्री कह चुके हैं कि उनका कोई लेना-देना नहीं व माफी मांग चुके हैं. लेकिन उनकी माफी से कोई फर्क नहीं पड़ेगा. जब तक सभी दोषियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं होती. मंत्री टीकाराम जूली को उनके मंत्री पद से नहीं हटाया जाता. इस संबंध में वो आने वाले समय में राहुल गांधी और मुख्यमंत्री के सामने भी यह मुद्दा रखेंगे व अपना विरोध दर्ज कराएंगे.