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नागौर में पिछले साल के मुकाबले घटी बिजली छीजत, घर-घर जाकर मीटर रीडिंग की जांच कर रहे अधिकारी - Nagaur News

बिजली छीजत के लगातार बढ़ते आंकड़ों से परेशान अजमेर डिस्कॉम ने एक अनूठा प्रयोग शुरू किया है. बता दें कि नागौर में पिछले साल के मुकाबले इस साल अप्रैल से अक्टूबर महीने के बीच बिजली की छीजत में 2.83 फीसदी से ज्यादा की कमी आई है. इसका कारण है कि डिस्कॉम के अधिकारी घर-घर जाकर मीटर की रीडिंग की जांच कर रहे हैं.

नागौर बिजली छीजत न्यूज , Nagaur Electric wear News
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Published : Oct 3, 2019, 7:07 PM IST

नागौर. प्रदेश के 12 जिलों में बिजली छीजत के लगातार बढ़ते आंकड़ों से परेशान बिजली वितरण कंपनियों के लिए अजमेर डिस्कॉम ने एक अनूठा प्रयोग शुरू किया है. इसके तहत अधिशासी अभियंता, अधीक्षण अभियंता और मुख्य अभियंता स्तर के अधिकारी भी उपभोक्ताओं के घर जाकर मीटर की जांच कर रहे हैं. इसके साथ ही उस रीडिंग का डिस्कॉम के रिकॉर्ड से मिलान भी किया जा रहा है. वहीं, दोनों में अंतर पाए जाने पर विभागीय कर्मचारियों पर भी कार्रवाई की जा रही है.

घर-घर जाकर मीटर रीडिंग की जांच कर रहे अधिकारी

वहीं, डिस्कॉम के इस प्रयोग का नतीजा यह हुआ कि पिछले साल के मुकाबले इस साल नागौर सर्किल में अप्रैल से अक्टूबर महीने के बीच छीजत के कुल आंकड़े में 2.83 फीसदी की कमी आई है. अधिकारियों का कहना है कि जिले में 3 जगहों पर मॉडल जीएसएस बनाए गए हैं. कई और जगहों पर भी मॉडल जीएसएस स्थापित करने का काम चल रहा है. वहीं, इससे छीजत के आंकड़ों में आशातीत कमी आने की उम्मीद भी जताई जा रही है.

पढ़ें- चूरू: रेलवे पुलिस की सक्रियता ने बचाई महिला यात्री की नगदी और ज्वेलरी

जानकारी के अनुसार नागौर सर्किल में पिछले साल अप्रैल से अक्टूबर महीने के बीच करीब 46.80 फीसदी छीजत थी, जो इस साल घटकर 43.97 फीसदी हुई है. वहीं, डिस्कॉम के रिकॉर्ड के अनुसार मकराना में छीजत 2.37 फीसदी, मेडता में 0.96 फीसदी, डीडवाना में 4.67 फीसदी, कुचामन में 8.02 फीसदी, डेगाना में 15.56 फीसदी और लाडनूं में 10.61फीसदी कम हुई है. हालांकि, नागौर डिवीजन में छीजत के आंकड़े में 0.20 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई है.

नागौर. प्रदेश के 12 जिलों में बिजली छीजत के लगातार बढ़ते आंकड़ों से परेशान बिजली वितरण कंपनियों के लिए अजमेर डिस्कॉम ने एक अनूठा प्रयोग शुरू किया है. इसके तहत अधिशासी अभियंता, अधीक्षण अभियंता और मुख्य अभियंता स्तर के अधिकारी भी उपभोक्ताओं के घर जाकर मीटर की जांच कर रहे हैं. इसके साथ ही उस रीडिंग का डिस्कॉम के रिकॉर्ड से मिलान भी किया जा रहा है. वहीं, दोनों में अंतर पाए जाने पर विभागीय कर्मचारियों पर भी कार्रवाई की जा रही है.

घर-घर जाकर मीटर रीडिंग की जांच कर रहे अधिकारी

वहीं, डिस्कॉम के इस प्रयोग का नतीजा यह हुआ कि पिछले साल के मुकाबले इस साल नागौर सर्किल में अप्रैल से अक्टूबर महीने के बीच छीजत के कुल आंकड़े में 2.83 फीसदी की कमी आई है. अधिकारियों का कहना है कि जिले में 3 जगहों पर मॉडल जीएसएस बनाए गए हैं. कई और जगहों पर भी मॉडल जीएसएस स्थापित करने का काम चल रहा है. वहीं, इससे छीजत के आंकड़ों में आशातीत कमी आने की उम्मीद भी जताई जा रही है.

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जानकारी के अनुसार नागौर सर्किल में पिछले साल अप्रैल से अक्टूबर महीने के बीच करीब 46.80 फीसदी छीजत थी, जो इस साल घटकर 43.97 फीसदी हुई है. वहीं, डिस्कॉम के रिकॉर्ड के अनुसार मकराना में छीजत 2.37 फीसदी, मेडता में 0.96 फीसदी, डीडवाना में 4.67 फीसदी, कुचामन में 8.02 फीसदी, डेगाना में 15.56 फीसदी और लाडनूं में 10.61फीसदी कम हुई है. हालांकि, नागौर डिवीजन में छीजत के आंकड़े में 0.20 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई है.

Intro:प्रदेश के 12 जिलों में बिजली छीजत के लगातार बढ़ते आंकड़े से परेशान बिजली वितरण कंपनियों के लिए नागौर से यह खबर कुछ राहत देने वाली हो सकती है। यहां पिछले साल के मुकाबले इस साल अप्रैल से अक्टूबर महीने के बीच बिजली की कोई चीज अपना ढाई फीसदी से ज्यादा की कमी आई है। इसका कारण है कि डिस्कॉम के अधिकारी घर-घर जाकर मीटर की रीडिंग की जांच कर रहे हैं। लापरवाही पाई जाने पर कार्रवाई भी हो रही है।


Body:नागौर. जिले में बिजली छीजत का आंकड़ा लगातार बढ़ने से परेशान अजमेर डिस्कॉम ने यहां एक अनूठा प्रयोग शुरू किया है। इसके तहत अधिशासी अभियंता, अधीक्षण अभियंता और मुख्य अभियंता स्तर के अधिकारी भी रेंडमली उपभोक्ताओं के घर जाकर मीटर की जांच कर रहे हैं। इसके साथ ही उस रीडिंग का डिस्कॉम के रिकॉर्ड से मिलान भी किया जा रहा है। दोनों में अंतर पाए जाने पर विभागीय कर्मचारियों पर भी कार्यवाही की जा रही है। इसका नतीजा यह हुआ कि पिछले साल के मुकाबले इस साल नागौर वृत्त में अप्रैल से अक्टूबर महीने के बीच छीजत के कुल आंकड़े में 2.83 फीसदी की कमी आई है। अधिकारियों का कहना है कि जिले में 3 जगहों पर मॉडल जीएसएस बनाए गए हैं। कई और जगहों पर भी मॉडल जीएसएसएस स्थापित करने का काम चल रहा है। इससे छीजत के आंकड़े में आशातीत कमी आने की उम्मीद भी जताई जा रही है। नागौर वृत्त में पिछले साल अप्रैल से अक्टूबर महीने के बीच करीब 46.80 फीसदी छीजत थी। जो इस साल घटकर 42.97 फीसदी हुई है।


Conclusion:डिस्कॉम के रिकॉर्ड के अनुसार मकराना में छीजत 2.37 फीसदी, मेडता में 0.96 फीसदी, डीडवाना में 4.67 फीसदी, कुचामन में 8.02 फीसदी, डेगाना में 15.56 फीसदी और लाडनूं में 10.61फीसदी कम हुई है। हालांकि नागौर वृत्त में छीजत के आंकड़े में 0.20 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
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बाईट- आरबी सिंह, अधीक्षण अभियंता, नागौर।
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