जयपुर. 'ऑडियो कांड' में सियासी बयानबाजी तेज हो गई है. राजस्थान विधानसभा में कुछ ऐसा ही नजारा देखने को मिला. शून्यकाल के दौरान स्थगन के जरिए जब विधायक अपने मामले उठा रहे थे तभी चित्तौड़गढ़ से आने वाले कुछ बीजेपी विधायकों ने यह मामला उठाया और देखते ही देखते विधायक वासुदेव देवनानी, नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया और उप नेता राजेंद्र राठौड़ सहित भाजपा विधायकों ने इस मामले में सदन में सरकार पर जुबानी हमला बोलना शुरू कर दिया.
भाजपा विधायकों ने यह तक कह दिया कि जिस तरह की भाषा का इस्तेमाल बेंगू विधायक राजेंद्र बिधूड़ी ने किया, उससे लगता है कि बिना नाक-मुंह के बैल की तरह (MLA Rajendra Singh Bidhuri Abused SHO) विधायक काम कर रहे हैं और यह गंभीर मामला है. वहीं, नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने इस घटना को शर्मनाक बताते हुए कहा कि एक जनप्रतिनिधि इस प्रकार का व्यवहार करेगा तो फिर कोई कर्मचारी कैसे काम कर सकेगा.
कटारिया ने कहा कि कर्मचारी अपनी इज्जत को बट्टा लगाकर तो काम करेगा नहीं, उसके लिए तो डूब मरने लायक स्थिति हो जाएगी. कटारिया ने आगे कहा कि कम से कम इस मामले में सरकार का कोई तो व्यक्ति जवाब दे और यह कहते हुए भाजपा के विधायक वेल में आकर (Uproar During Question Hour in Rajasthan Assembly) नारेबाजी करने लगे.
राठौड़ ने पूर्व DGP हरीश मीणा को कहा- क्या तुम्हारी आत्मा मर चुकी है : सदन में हुए इस हंगामे के बीच (Discussion on Rajendra Singh in Rajasthan Assembly) उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि विधायक जी किस प्रकार के शब्दों का इस्तेमाल कर रहे हैं, क्या कोई शिष्टाचार बचेगा या नहीं बचेगा. राठौड़ ने कांग्रेस विधायक हरीश मीणा जो कि पूर्व में बीजेपी में भी रह चुके हैं, उनकी तरफ इशारा करते हुए कहा कि आप में आत्मा बची है या नहीं. आपने जिस महकमे को चढ़ाया है, उस महकमे की हालत देखो और यदि कुछ आत्मा आप में बची है तो इस बारे में बोलो.
स्पीकर ने दिया दखल, तब बोले धारीवाल : वहीं, सदन में हंगामा होते देख स्पीकर सीपी जोशी ने आकर आसन संभाला और दोनों पक्षों को शांत रहने की बात कही. जोशी ने कहा कि आप अपनी बात नियमों के तहत सदन में उठाएं. इस पर नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि कम से कम इस मामले में सरकार की ओर से मंत्री जी को जवाब देना चाहिए. इस पर सदन में मौजूद संसदीय कार्य मंत्री शांति धारीवाल खड़े हुए और उन्होंने कहा कि केवल वीडियो सुन कर सब बातें कह रहे हैं, लेकिन उसकी सच्चाई क्या है क्या नहीं है, उसकी तह में सरकार जाएगी तभी कुछ हो सकता है.
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धारीवाल ने कहा कि किसी वीडियो (ऑडियो) को कैसे सच मान लें, क्या आप मान लेंगे. धारीवाल ने यह भी कहा कि (Minister Shanti Dhariwal in Rajasthan Assembly) वीडियो आपको फेवर कर रहा है, इसलिए आप हल्ला मचा रहे हैं. लेकिन जो वीडियो (ऑडियो) आया है, हम उसकी जांच करवाएंगे.
सदन के बाहर सतीश पूनिया ने साधा निशाना, कही ये बात : सदन के बाहर भी भाजपा के विधायकों ने राजेंद्र बिधूड़ी के वायरल ऑडियो के मामले में सरकार पर निशाना साधा. भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने विधानसभा के बाहर पत्रकारों से बातचीत में कहा कि यह कांग्रेस के उत्कृष्ट संस्कारों का एक विधायक का मोटिवेशनल वर्चुअल स्पीच है, जिससे राजस्थान की पुलिस का मनोबल बढ़ेगा और पुलिस अपराधियों के नियंत्रण में मजबूती से काम करेगी.
पूनिया ने कहा कि लानत है, कांग्रेस की इस संस्कृति पर जो यो लेग पुलिस का मनोबल बढ़ाने के बजाय घटाने का काम कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि इस सरकार में कांग्रेस और उसके समर्थकों को लूट की छूट सहित सब की छूट दे रखी है, बस मुख्यमंत्री का ध्यान अपनी सत्ता और कुर्सी बचाए रखने पर है.
दिलावर और शर्मा ने लगाए ये आरोप : वहीं, भाजपा विधायक मदन दिलावर ने कहा कि यह घटना राजस्थान पर एक कलंक है. दिलावर के अनुसार यह दुर्भाग्यपूर्ण है. दिलावर ने कहा कि इस प्रकार के लोग कांग्रेस के ऊंचे लोगों को पैसा देकर राजस्थान आते हैं, लेकिन यह दुर्भाग्य है कि राजस्थान के लोग उन्हें स्वीकार कर लेते हैं. इस दौरान दिलावर ने बिधूड़ी को लेकर कई अपशब्द भी कहे.
वहीं, भाजपा विधायक रामलाल शर्मा ने कहा कि मौजूदा सरकार के कार्यकाल में लूट की छूट सभी समर्थित विधायकों को दी हुई है. शर्मा ने कहा कि वायरल ऑडियो में विधायक गालियां बक रहा है, लेकिन पुलिस ऐसे लोगों को सुन भी रही है और कोई प्रतिरोध भी नहीं कर रहा, ऐसी क्या मजबूरी है. शर्मा ने आरोप लगाया कि शायद इन दोनों के बीच समझौता एक्सप्रेस चल रहा है और लूट के खेल में दोनों शामिल हैं.
मंत्री खाचरियावास ने क्या कहा : शुक्रवार को राजस्थान विधानसभा के बाहर पत्रकारों से बातचीत के दौरान प्रताप सिंह खाचरियावास ने कहा कि जनता के दुख-दर्द और समस्याओं को उठाने के लिए ही विधायक सड़क पर निकलते हैं, लेकिन अधिकारियों को भी इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि जब उन्हें सम्मान दिया जाता है तो उन्हें भी विधायक के फोन पर पूरा विश्वास है. खाचरियावास ने फिर कहा कि राजेंद्र बिधूड़ी ने जब ये कह दिया है कि वायरल ऑडियो उनका नहीं है (Viral Audio Clip Is Fake Says Bidhuri) तो बात ही खत्म हो जाती है.
क्या है मामला?: बेगूं के विधायक राजेंद्र सिंह बिधूड़ी की भैंसरोडगढ़ थानाधिकारी संजय गुर्जर के साथ काफी गरमागरमी हुई. वायरल ऑडियो में दोनों के बीच करीब 7 मिनट की बात हुई, जिसमें कुछ मामलों को लेकर विधायक बिधूड़ी थाना प्रभारी गुर्जर के प्रति अपनी नाराजगी जताते रहे. विपक्ष का कहना है कि बिधूड़ी मर्यादा की सारी हदें लांघ गए और 7 मिनट में 100 बार गालियों का रिकॉर्ड बना गए.
MLA यहीं नहीं रुके, बल्कि उन्होंने थानाधिकारी को 15 दिन में नौकरी से बर्खास्त कराने की धमकी तक दे डाली. बेगूं विधायक गुर्जर जाति की दुहाई देते हुए थाना अधिकारी के पुरानी कच्चे चिट्ठों को खोलते हुए आस्तीन का सांप तक बता रहे हैं. यहां तक कि बेगूं के पूर्व डीवाईएसपी रतन सिंह जैन और पारसोली के तत्कालीन थाना प्रभारी बिधूड़ी के खिलाफ उनके कान भरने का भी आरोप लगा रहे हैं.
वायरल ऑडियो में आखिरकार थानाधिकारी के सब्र का बांध भी टूटता दिखा. उन्होंने कहा कि नौकरी जाए तो जाए, लेकिन वो अब गालियां नहीं सुनेंगे. इसके बाद भी विधायक बिधूड़ी के गालियों का क्रम नहीं टूटा. अब बिधूड़ी इस वायरल ऑडियो को अपने खिलाफ साजिश करार दे रहे हैं और कह रहे हैं कि इस ऑडियो क्लिप में उनकी आवाज नहीं है.