जयपुर. प्रदेश में आए सियासी बवंडर में प्रदेश भाजपा की नई टीम की घोषणा भी अटक गई है. माना जा रहा था कि पार्टी प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया जल्द ही अपनी नई टीम की घोषणा कर सकते हैं और इसकी तैयारी लगभग कंप्लीट हो चुकी थी, लेकिन कांग्रेस में मचे घमासान के बीच प्रदेश में BJP की सरकार की संभावना में तमाम भाजपा नेता जुड़ गए और ऐसे में प्रदेश भाजपा की नई टीम की घोषणा अटक गई.
ये माना जा रहा था कि भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने अपनी नई टीम को लेकर केंद्रीय नेतृत्व से चर्चा भी कर ली और उसकी घोषणा जल्द ही की जाएगी. तमाम भाजपा के नेता और कार्यकर्ता भी नई टीम की घोषणा पर अपनी नजरें गड़ाए हुए हैं, लेकिन अब संकेत मिल रहे हैं कि जब प्रदेश में मौजूदा सियासी बवंडर थमेगा, उसके बाद ही पूनिया अपनी नई टीम और कार्यकारिणी की घोषणा करेंगे.
पद चाहने वाले कार्यकर्ता व नेताओं को हुआ आभास
प्रदेश कार्यकारिणी में पद की चाहत रखने वाले भाजपा के नेता व कार्यकर्ताओं को भी इस बात का आभास है कि मौजूदा राजनीतिक परिस्थितियों में नई टीम की घोषणा शायद ही हो पाए. ऐसे में अब वो भी नई टीम की घोषणा को लेकर इंतजार कर रहे हैं. साथ ही प्रदेश भाजपा मुख्यालय में पद चाहने वाले नेताओं की चहल कदमी भी अब पहले के मुकाबले थोड़ी कम हो गई है.
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करीब सप्ताह भर से कार्यकारिणी को अंतिम रूप देने के लिए लगातार बैठकों का दौर चला था और ऐसी जानकारी मिल रही थी कि, काम पूरा कर लिया गया था और अब बस इंतजार था, टीम घोषित होने का. जानकारों का मानना था कि सतीश पूनिया हर समाज, वर्ग लोगों से मिलकर सोशल इंजीनियरिंग बैठाने, जमीन से जुड़े कार्यकर्ताओं को पार्टी में पद और सम्मान देने के लिए प्रयास कर रहे थे.
ऐसी चर्चाएं हो रही थी कि प्रदेश संगठन में चार महामंत्री बनाए जाएंगे. जिसमें खासतौर से महामंत्री के लिए राजसमंद सांसद दिया कुमारी और तोड़ गढ़ सांसद सीपी जोशी का नाम प्रमुखता से लिया जा रहा था. इनके अलावा चौमू विधायक रामलाल शर्मा और कैलाश मेघवाल का नाम सामने आ रहा है. वहीं, उपाध्यक्ष के लिए अलग-अलग जाति और क्षेत्रीय संतुलन के आधार पर 8 से 10 कर्मठ कार्यकर्ताओं को प्रतिनिधित्व देने के लिए मशक्कत की जा रही थी.