जयपुर. आमजन को सहूलियत देने के लिए राज्य सरकार नियमों में सरलीकरण कर रही है. इसके तहत यूडीएच विभाग ने तीन प्रक्रियाओं में अधिकारियों के मौका मुआयना करने पर रोक लगा दी है. राज्य सरकार ने आदेश जारी करते हुए भूखंड पर निर्माण के लिए लोन लेने, लॉटरी में निकले भूखंड को तय समय पर बेचने और पट्टा मिलने के बाद रजिस्ट्री लेने की प्रक्रिया से अधिकारियों को मौका मुआयना करने से दूर किया गया है.
इसे लेकर यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल की स्वीकृति के बाद प्रमुख शासन सचिव भास्कर ए सावंत ने आदेश जारी कर दिए हैं. अब नगरीय विकास प्राधिकरण और नगर सुधार न्यास के अधिकारी मौका निरीक्षण नहीं करेंगे. अमूमन मौका निरीक्षण के नाम पर अधिकारी बेवजह लोगों को परेशान करते थे. इस फैसले के लागू होने के साथ राज्य के लोगों को बड़ी राहत मिली है. अधिकारियों को आदेश में स्पष्ट किया गया है कि लीजडीड निष्पादन, विक्रय स्वीकृति और रहन अनापत्ति प्रमाण पत्र के मामलों में मौका निरीक्षण नहीं किया जाए. केवल दस्तावेजों के आधार पर ही आवेदन पत्र प्राप्त होने के 7 दिन के अंदर कार्य निष्पादन कर लिया जाए.
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इससे पहले नाम हस्तांतरण के लिए भूमि और भवन का मौका निरीक्षण करने पर भी रोक लगाई गई थी. इस रोक के बावजूद जो अधिकारी मौके पर जाकर निरीक्षण करेंगे उनके खिलाफ कार्रवाई करने के भी आदेश जारी किए गए हैं. इस प्रक्रिया को सरल करने से विकास प्राधिकरण और नगरीय निकायों के राजस्व बढ़ने की भी उम्मीद है.