जयपुर. ग्रेटर नगर निगम महापौर सौम्या गुर्जर के निलंबन के बाद मंगलवार को वरिष्ठ भाजपा पार्षद शील धाभाई ने बतौर कार्यवाहक महापौर पदभार ग्रहण किया. पदभार ग्रहण कार्यक्रम में शील धाभाई को अपनी पुरानी मुराद पूरी होने की खुशी तो थी लेकिन गम इस बात का रहा कि पदभार ग्रहण कार्यक्रम में पार्टी का कोई आला नेता या पदाधिकारी शामिल नहीं हुआ.
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सोमवार देर रात गहलोत सरकार ने शील धाभाई को कार्यवाहक महापौर बनाकर भाजपा पार्षद के खेमे में सेंध लगाने का कार्ड खेला था. उसका असर मंगलवार को हुए पदभार ग्रहण कार्यक्रम में भी देखने को मिला. जब जयपुर शहर से आने वाले कोई भी विधायक या पदाधिकारी या प्रदेश से जुड़े पदाधिकारी इस कार्यक्रम में शामिल नहीं हुए. हालांकि उप महापौर पुनीत कर्नावट और कुछ पार्षद जरूर पदभार ग्रहण कार्यक्रम में मौजूद रहे.
शुभ मुहूर्त और मंत्रोच्चार के साथ शील धाभाई ने पदभार ग्रहण किया. हालांकि इस दौरान धाभाई भाजपा नेताओं की गैरमौजूदगी के सवालों से बचती हुई नजर आई. जब उनसे पूछा गया तो उन्होंने यह कहकर बात टाल दी कि पार्टी ने ही उन्हें चुनाव लड़वाया और वित्त समिति का चेयरमैन भी बनाया और अब कार्यवाहक महापौर भी उनके ही आशीर्वाद से बनी हैं.
शील धाभाई से पदभार ग्रहण करने के बाद नगर निगम सीईओ यज्ञ देव मित्र उनसे मिलने नहीं आए ना वहां मौजूद रहे. यही सवाल उप महापौर पुनीत कर्नावट से पूछा गया तो उन्होंने सीधे कहा यह तो उनकी ड्यूटी थी. अब उसका जवाब तो वहीं दे सकते हैं. हालांकि पार्टी के नेता इस कार्यक्रम से क्यों दूर रहे उसके पीछे उप महापौर ने तर्क दिया कि भाजपा का आज अपना बड़ा विरोध प्रदर्शन का कार्यक्रम है. जिसमें सभी नेता व्यस्त हैं.
बहरहाल पदभार ग्रहण करने के बाद वहां मौजूद भाजपा के पार्षदों और कार्यकर्ताओं ने फूल देकर शील धाभाई को शुभकामनाएं दी. वहीं कार्यक्रम के बाद नगर निगम सीईओ यज्ञ देव सिंह भी उनसे शिष्टाचार भेंट करने पहुंचे. शील धाभाई पूर्व में भी महापौर रह चुकी हैं. तब उन्हें अपनों का भी साथ था. लेकिन इस बार वह बतौर कार्यवाहक महापौर हैं. लेकिन अपनों का साथ इस बार कम नजर आ रहा है. ऐसे में अपनों को साथ लेकर शहर के विकास के रथ को तेजी से आगे बढ़ाना शील धाभाई के लिए चुनौती भरा काम होगा.