जयपुर. वाहन चलाने के लिए सबसे ज्यादा जरूरी होता है लाइसेंस, लेकिन इस समय जगतपुरा आरटीओ कार्यालय के हाल बेहाल नजर आ रहे हैं. क्योंकि अभी जयपुर आरटीओ राजेंद्र वर्मा द्वारा जगतपुरा, झालाना और विद्याधर नगर आरटीओ कार्यालय में रोस्टर कर इंस्पेक्टर और लिपिकों को इधर से उधर किया गया था. साथ ही उनकी सीट भी बदली गई थी.
अभी जगतपुरा आरटीओ कार्यालय में इंस्पेक्टर के द्वारा बिना ट्रायल लिए ही अधिकतर लाइसेंस बनाए जा रहे हैं और ट्रायल के नाम पर जगतपुरा आरटीओ कार्यालय में केवल खानापूर्ति की जा रही है. वहीं नियमों को ताक पर रखकर ड्राइविंग लाइसेंस भी बनाए जा रहे हैं. इंस्पेक्टर के द्वारा अपनी मनमानी कर ड्राइविंग लाइसेंस बनाए जा रहे हैं. ऐसे में कहीं ना कहीं आरटीओ कार्यालय की बदहाली साफ तौर से देखी जा रही है.
ऑटोमेटिक ड्राइविंग ट्रैक शुरू होने से खत्म होगी मनमानी
बता दें कि परिवहन विभाग के द्वारा इंस्पेक्टर राज को खत्म करने के लिए जहां ओवरब्रिज सिस्टम चालू किया गया है, तो वहीं आरटीओ ऑफिस से इंस्पेक्टर राज को खत्म करने के लिए ऑटोमेटिक ड्राइविंग ट्रैक का निर्माण भी किया गया है. लेकिन पिछले 1 साल से अधिक का समय हो चुका है. अभी तक ऑटोमेटिक ड्राइविंग ट्रैक चालू नहीं हो पाए हैं.
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उसके पीछे सबसे बड़ा कारण यह भी आया है, कि जिस कंपनी को ऑटोमेटिक ड्राइविंग ट्रैक का टेंडर दिया गया था. उसके और परिवहन विभाग के बीच समन्वय नहीं बन पाया. हालांकि अब परिवहन मंत्री ने कई बार दावा किया है, कि जल्द ही ऑटोमेटिक ड्राइविंग ट्रैक को शुरू किया जाएगा. ऐसे में यदि ऑटोमेटिक शुरू होता है, तो इंस्पेक्टर राज और इंस्पेक्टरों की मनमानी परिवहन विभाग से खत्म हो जाएगी.