जयपुर. सूरज की तपिश से तपती धोरों की धरती को प्री मानसून के प्रवेश से कुछ राहत की उम्मीद थी. लेकिन यह उम्मीद फिलहाल पूरी नहीं हो पायी है. प्री मानसून के प्रवेश से राजस्थान में बरसात हुई. लेकिन सूरज की तपिश उमस भरी गर्मी में बदल गयी और बिजली की खपत कम होने की जगह कई जिलों में बढ़ गई और जहां बिजली खपत में कमी आई, वो भी तुलनात्मक रूप से काफी कम थी.
राजधानी जयपुर में बरसात से पहले और बाद के डिस्कॉम के आंकड़े बताते हैं कि बिजली खपत में कमी आई भी तो ना के बराबर. रविवार को जयपुर में 205 लाख यूनिट से अधिक बिजली की खपत हुई थी. जबकि ठीक एक सप्ताह पहले यानी 24 जून को बिजली खपत का आंकड़ा 198.66 लाख यूनिट था. इसी तरह 25 जून को 199.54 लाख यूनिट, 26 जून को 207.73 लाख यूनिट, 27 जून को 212.35 लाख यूनिट, 28 जून को 215.41 लाख यूनिट और 29 जून को 214.58 लाख यूनिट बिजली की खपत थी.
मतलब साफ है कि प्री मानसून की दस्तक राजस्थान की तपिश से बेहाल लोगों को राहत नहीं दे पाई है. जिससे डिस्कॉम की उम्मीदों पर भी पानी फिर गया. हालांकि मानसून राजस्थान में इस बार 1 सप्ताह लेट है. मतलब इस सप्ताह के अंत तक पूरे प्रदेश में मानसून के सक्रिय होने की उम्मीद है. जिससे आमजन के साथ ही डिस्कॉम को भी राहत मिलेगी.