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सेवा छोड़ने पर क्यों की गई बैंक अधिकारी से वसूलीः राजस्थान हाईकोर्ट - Judge Indrajit Singh

सेवा छोड़ने के बाद बैंक द्वारा अपने अधिकारी से वसूली को लेकर राजस्थान हाईकोर्ट ने एक याचिका पर सुनवाई की. इस पर अदालत ने एसबीआई बैंक के चैयरमेन और जनरल मैनेजर (भर्ती) को नोटिस जारी कर पूछा है कि यह वसूली क्यों की गई.

बैंक अधिकारी से वसूली, Rajasthan High Court
recovery was done from the bank officer after leaving the service
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Published : Jan 11, 2020, 8:39 PM IST

जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने एसबीआई चैयरमेन और जनरल मैनेजर (भर्ती) सहित अन्य को नोटिस जारी कर पूछा है कि बैंक पीओ की ओर से सेवा छोड़ने पर उससे दो लाख 36 हजार रुपए की वसूली क्यों की गई. न्यायाधीश इन्द्रजीत सिंह ने यह आदेश अमन कुमार की याचिका पर दिए.

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याचिका में अधिवक्ता प्रेमचंद देवन्दा ने अदालत को बताया कि याचिकाकर्ता एसबीआई बैंक में 18 दिसंबर 2018 को पीओ के पद पर नियुक्त हुआ था. इस दौरान बैंक प्रशासन ने उससे क्षतिपूर्ति बंध पत्र हस्ताक्षरित कराया था. वहीं बाद में बैंक से अनुमति लेकर दी परीक्षा में याचिकाकर्ता एलआईसी में सहायक प्रशासनिक अधिकारी बन गया. इस पर बैंक ने उसे रिलीव करने के बदले दो लाख रुपए क्षतिपूर्ति और उस पर 36 हजार रुपए जीएसटी के तौर पर वसूल लिए.

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याचिका में कहा गया कि बैंक की वसूली की शर्त अवैध है. नियुक्ति के समय अभ्यर्थी बैरोजगार होता है, लेकिन उसकी इस मजबूरी का फायदा उठाकर इस तरह की शर्त नहीं लगाई जा सकती. जिस पर सुनवाई करते हुए एकलपीठ ने संबंधित अधिकारियों को नोटिस जारी कर जवाब-तलब किया है.

जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने एसबीआई चैयरमेन और जनरल मैनेजर (भर्ती) सहित अन्य को नोटिस जारी कर पूछा है कि बैंक पीओ की ओर से सेवा छोड़ने पर उससे दो लाख 36 हजार रुपए की वसूली क्यों की गई. न्यायाधीश इन्द्रजीत सिंह ने यह आदेश अमन कुमार की याचिका पर दिए.

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याचिका में अधिवक्ता प्रेमचंद देवन्दा ने अदालत को बताया कि याचिकाकर्ता एसबीआई बैंक में 18 दिसंबर 2018 को पीओ के पद पर नियुक्त हुआ था. इस दौरान बैंक प्रशासन ने उससे क्षतिपूर्ति बंध पत्र हस्ताक्षरित कराया था. वहीं बाद में बैंक से अनुमति लेकर दी परीक्षा में याचिकाकर्ता एलआईसी में सहायक प्रशासनिक अधिकारी बन गया. इस पर बैंक ने उसे रिलीव करने के बदले दो लाख रुपए क्षतिपूर्ति और उस पर 36 हजार रुपए जीएसटी के तौर पर वसूल लिए.

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याचिका में कहा गया कि बैंक की वसूली की शर्त अवैध है. नियुक्ति के समय अभ्यर्थी बैरोजगार होता है, लेकिन उसकी इस मजबूरी का फायदा उठाकर इस तरह की शर्त नहीं लगाई जा सकती. जिस पर सुनवाई करते हुए एकलपीठ ने संबंधित अधिकारियों को नोटिस जारी कर जवाब-तलब किया है.

Intro:जयपुर। राजस्थान हाईकोर्ट ने एसबीआई चैयरमेन और जीएम भर्ती सहित अन्य को नोटिस जारी कर पूछा है कि बैंक पीओ की ओर से सेवा छोडने पर उससे दो लाख 36 हजार रुपए की वसूली क्यों की गई। न्यायाधीश इन्द्रजीत सिंह ने यह आदेश अमन कुमार की याचिका पर दिए।Body:याचिका में अधिवक्ता प्रेमचंद देवन्दा ने अदालत को बताया कि याचिकाकर्ता एसबीआई बैंक में 18 दिसंबर 2018 को पीओ के पद पर नियुक्त हुआ था। इस दौरान बैंक प्रशासन ने उससे क्षतिपूर्ति बंध पत्र हस्ताक्षरित कराया था। वहीं बाद में बैंक से अनुमति लेकर दी परीक्षा में याचिकाकर्ता एलआईसी में सहायक प्रशासनिक अधिकारी बन गया। इस पर बैंक ने उसे रिलीव करने के बदले दो लाख रुपए क्षतिपूर्ति और उस पर 36 हजार रुपए जीएसटी के तौर पर वसूल लिए। याचिका में कहा गया कि बैंक की वसूली की शर्त अवैध है। नियुक्ति से समय अभ्यर्थी बैरोजगार होता है, लेकिन उसकी इस मजबूरी का फायदा उठाकर इस तरह की शर्त नहीं लगाई जा सकती। जिस पर सुनवाई करते हुए एकलपीठ ने संबंधित अधिकारियों को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है।Conclusion:
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