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जयपुर: हाईवे निर्माण कंपनी से रिश्वत मामले में केस डायरी तलब

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Published : Mar 3, 2021, 7:18 PM IST

राजस्थान हाईकोर्ट ने हाईवे निर्माण कंपनी से रिश्वत के मामले में एसीबी से 10 मार्च को प्रकरण की केस डायरी पेश करने को कहा है. न्यायाधीश इन्द्रजीत सिंह की एकलपीठ ने यह आदेश दौसा के तत्कालीन एसपी मनीष अग्रवाल की जमानत याचिका पर दिए. याचिका में अधिवक्ता माधव मित्र ने कहा कि प्रकरण में उसे साजिश के तहत फंसाया गया है.

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हाईवे निर्माण कंपनी से रिश्वत मामले में केस डायरी तलब

जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने हाईवे निर्माण कंपनी से रिश्वत के मामले में एसीबी से 10 मार्च को प्रकरण की केस डायरी पेश करने को कहा है. न्यायाधीश इन्द्रजीत सिंह की एकलपीठ ने यह आदेश दौसा के तत्कालीन एसपी मनीष अग्रवाल की जमानत याचिका पर दिए. याचिका में अधिवक्ता माधव मित्र ने कहा कि प्रकरण में उसे साजिश के तहत फंसाया गया है. एसीबी के पास याचिकाकर्ता की लिप्तता के कोई साक्ष्य भी नहीं है.

पढ़ें: श्रवण दिवस पर राज्य स्तरीय संगोष्ठी का आयोजन, चिकित्सा मंत्री ने बयां की हकीकत

प्रकरण में ना तो उसने किसी से रिश्वत मांगी है और ना ही उससे रिश्वत राशि की बरामदगी हुई है. यहां तक की एसीबी के पास रिश्वत मांगने को लेकर उसकी कोई ट्रांसक्रिप्ट भी नहीं है. इसके अलावा जिस दलाल के जरिए रिश्वत लेना बताया जा रहा है, वह अपने पेट्रोल पंप पर तीन बार हुई लूट के मामले में याचिकाकर्ता से मिला था. ऐसे में उसे जमानत पर रिहा किया जाए. जिस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने प्रकरण की केस डायरी पेश करने को कहा है. गौरतलब है कि एसीबी ने हाईवे निर्माण कंपनी से रिश्वत के मामले में दौसा के तत्कालीन एसपी मनीष अग्रवाल, दलाल नीरज मीणा, एसडीएम पुष्कर मित्तल और एसडीएम पिंकी मीणा को गिरफ्तार किया था. इसमें से एसडीएम पुष्कर मित्तल पांच लाख रुपए लेते रंगे हाथों गिरफ्तार हुआ था.

जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने हाईवे निर्माण कंपनी से रिश्वत के मामले में एसीबी से 10 मार्च को प्रकरण की केस डायरी पेश करने को कहा है. न्यायाधीश इन्द्रजीत सिंह की एकलपीठ ने यह आदेश दौसा के तत्कालीन एसपी मनीष अग्रवाल की जमानत याचिका पर दिए. याचिका में अधिवक्ता माधव मित्र ने कहा कि प्रकरण में उसे साजिश के तहत फंसाया गया है. एसीबी के पास याचिकाकर्ता की लिप्तता के कोई साक्ष्य भी नहीं है.

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प्रकरण में ना तो उसने किसी से रिश्वत मांगी है और ना ही उससे रिश्वत राशि की बरामदगी हुई है. यहां तक की एसीबी के पास रिश्वत मांगने को लेकर उसकी कोई ट्रांसक्रिप्ट भी नहीं है. इसके अलावा जिस दलाल के जरिए रिश्वत लेना बताया जा रहा है, वह अपने पेट्रोल पंप पर तीन बार हुई लूट के मामले में याचिकाकर्ता से मिला था. ऐसे में उसे जमानत पर रिहा किया जाए. जिस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने प्रकरण की केस डायरी पेश करने को कहा है. गौरतलब है कि एसीबी ने हाईवे निर्माण कंपनी से रिश्वत के मामले में दौसा के तत्कालीन एसपी मनीष अग्रवाल, दलाल नीरज मीणा, एसडीएम पुष्कर मित्तल और एसडीएम पिंकी मीणा को गिरफ्तार किया था. इसमें से एसडीएम पुष्कर मित्तल पांच लाख रुपए लेते रंगे हाथों गिरफ्तार हुआ था.

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