जयपुर. प्रदेश में सियासत की 'भट्टी', बयानों के 'ईंधन' से लगातार भभक रही है. हाल ही में भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया द्वारा 23 विधायकों को खान और रिको में जमीन आवंटित करने को लेकर सरकार पर लगाए आरोपों पर आए मुख्य सचेतक महेश जोशी के बयान पर सतीश पूनिया ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की है. पूनिया ने कहा है कि चाहे जोशी हों या गहलोत सरकार, उन पर मानहानि का केस दर्ज कर दें, लेकिन जो आरोप कांग्रेस और प्रदेश सरकार ने भाजपा पर लगाए हैं उसका भी प्रमाण पहले दे दें. वरना कानून के रास्ते उनके लिए भी खुले हैं और हमारे लिए भी.
भाजपा मुख्यालय में पत्रकारों से बातचीत के दौरान सतीश पूनिया ने महेश जोशी के लगाया आरोपों पर पलटवार किया. उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने भी भाजपा पर विधायकों की खरीद-फरोख्त करने और 35 करोड़ से जुड़े आरोप लगाए थे, लेकिन आज तक सरकार और कांग्रेस विधायक इसका प्रमाण नहीं दे पाए. ऐसे में पहले सरकार इसका प्रमाण दे दें तो हम भी जो आरोप लगाए हैं उसका सबूत और प्रमाण दे देंगे. वरना मानहानि का केस लगाने के लिए कोर्ट के दरवाजे केवल कांग्रेस ही नहीं भाजपा के लिए भी खुले हैं. उन्होंने कहा कि आरोप मुख्यमंत्री ने लगाए थे, इसलिए वह साबित करें और जब वह साबित कर देंगे तो मैं भी अपने लगाए आरोपों का सबूत दे दूंगा.
गौरतलब है कि सरकारी मुख्य सचेतक डॉ. महेश जोशी ने कहा था कि भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया या तो खान आवंटन और रिको में जमीन आवंटन से जुड़े जो आरोप लगाए थे. उसका प्रमाण दें और नाम बताएं, वरना मानहानि के केस के लिए तैयार रहें. जिस पर सतीश पूनिया ने पलटवार किया है.
क्या कहा था महेश जोशी ने ?
दरअसल, महेश जोशी ने कहा था कि लगता है सतीश पूनिया अंतर्यामी हैं, जिन्हें ये पता था कि होटल में कांग्रेस विधायक आपस में क्या चर्चा कर रहे हैं. महेश जोशी ने कहा था कि वो व्यक्तिगत तौर पर सतीश पूनिया के बयान को कानूनी रूप से दिखाएंगे और उन पर कोई मुकदमा बनता है तो व्यक्तिगत तौर पर वो खुद मानहानि का मुकदमा पेश करेंगे. उन्होंने खरीद-फरोख्त की जांच को लेकर कहा था कि उन्होंने जांच एजेंसी बदलने के लिए नहीं कहा है और वो जल्द ही अपने बयान देने एजेंसियों के पास पहुंचेंगे.