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Demand for liquor ban in Rajasthan पूनम छाबड़ा ने गहलोत सरकार को अनशन के लिए चेताया

राजस्थान में शराबंदी की मांग ने एक बार फिर जोर पकड़ लिया है. शराबबंदी को लेकर गहलोत सरकार के ढुलमुल रवैये क खिलाफ राज्य में लंबे समय से शराबबंदी के लिए प्रयासरत पूनम छाबड़ा ने सरकार के खिलाफ ताल ठोंक दी है.

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पूनम छाबड़ा
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Published : Nov 12, 2021, 3:28 PM IST

Updated : Nov 12, 2021, 5:24 PM IST

जयपुर. एक बार फिर राज्य में शराबबंदी को लेकर आंदोलन किया जाएगा. शराबबंदी आंदोलन की राष्ट्रीय अध्यक्ष पूनम अंकुर छाबड़ा ने 15 नवंबर से मुख्यमंत्री आवास के बाहर अनिश्चितकालीन अनशन और आंदोलन की चेतावनी दी है. उन्होंने आरोप लगाया कि गहलोत सरकार शराबबंदी के लिए आंदोलन के लिए स्थान की अनुमति नहीं दे रही है.

शराबबंदी आंदोलन की राष्ट्रीय अध्यक्ष पूनम अंकुर छाबड़ा ने बताया कि अनशन करना उनका संवैधानिक अधिकार है. लेकिन सरकार उनके अनशन के लिए कोई स्थान के लिए अनुमति नहीं दे रही है. उन्होंने कहा कि 15 नवंबर से वह शराबबंदी को लेकर आंदोलन करेंगी. उन्होंने कहा कि गहलोत सरकार लोकतांत्रिक अधिकारों की हत्या कर रही है. पूनम अंकुर छाबड़ा ने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि इस बार भी स्थान नहीं दिया जाता है तो वे मुख्यमंत्री आवास के बाहर ही 15 नवंबर से शराबबंदी को लेकर अनशन और आंदोलन करेगी.

पूनम छाबड़ा ने की ये मांग

पढ़ें. अजमेर-जोधपुर डिस्कॉम बिजली उपभोक्ताओं को भी हर महीने मिलेगा बिल, अधिकारियों को सख्त आदेश

बता दें कि शराबबंदी को लेकर प्रदेश में समय-समय पर आंदोलन होते रहे हैं. शराबबंदी को लेकर सरकार ने एक कमेटी भी बनाई है और यह कमेटी शराबबंदी वाले राज्यों का अध्ययन कर अपनी रिपोर्ट राज्य सरकार को सौपेंगी, लेकिन 2 साल से ज्यादा का समय होने के बावजूद भी अभी तक कमेटी ने अपनी रिपोर्ट पेश नहीं की है. जिसके चलते भी शराबबंदी के लिए आंदोलन करने वालों में नाराजगी है. पूनम अंकुर छाबड़ा गुरुशरण छाबड़ा की पुत्रवधू है. भाजपा शासन के समय शराबबंदी को लेकर अनशन के दौरान गुरुशरण छाबड़ा की मौत हो गई थी. इसे लेकर कांग्रेस ने मुद्दा बनाया था. अब भाजपा का आरोप है कि इस मामले में कांग्रेस सरकार कोई सुध नहीं ले रही.

जयपुर. एक बार फिर राज्य में शराबबंदी को लेकर आंदोलन किया जाएगा. शराबबंदी आंदोलन की राष्ट्रीय अध्यक्ष पूनम अंकुर छाबड़ा ने 15 नवंबर से मुख्यमंत्री आवास के बाहर अनिश्चितकालीन अनशन और आंदोलन की चेतावनी दी है. उन्होंने आरोप लगाया कि गहलोत सरकार शराबबंदी के लिए आंदोलन के लिए स्थान की अनुमति नहीं दे रही है.

शराबबंदी आंदोलन की राष्ट्रीय अध्यक्ष पूनम अंकुर छाबड़ा ने बताया कि अनशन करना उनका संवैधानिक अधिकार है. लेकिन सरकार उनके अनशन के लिए कोई स्थान के लिए अनुमति नहीं दे रही है. उन्होंने कहा कि 15 नवंबर से वह शराबबंदी को लेकर आंदोलन करेंगी. उन्होंने कहा कि गहलोत सरकार लोकतांत्रिक अधिकारों की हत्या कर रही है. पूनम अंकुर छाबड़ा ने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि इस बार भी स्थान नहीं दिया जाता है तो वे मुख्यमंत्री आवास के बाहर ही 15 नवंबर से शराबबंदी को लेकर अनशन और आंदोलन करेगी.

पूनम छाबड़ा ने की ये मांग

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बता दें कि शराबबंदी को लेकर प्रदेश में समय-समय पर आंदोलन होते रहे हैं. शराबबंदी को लेकर सरकार ने एक कमेटी भी बनाई है और यह कमेटी शराबबंदी वाले राज्यों का अध्ययन कर अपनी रिपोर्ट राज्य सरकार को सौपेंगी, लेकिन 2 साल से ज्यादा का समय होने के बावजूद भी अभी तक कमेटी ने अपनी रिपोर्ट पेश नहीं की है. जिसके चलते भी शराबबंदी के लिए आंदोलन करने वालों में नाराजगी है. पूनम अंकुर छाबड़ा गुरुशरण छाबड़ा की पुत्रवधू है. भाजपा शासन के समय शराबबंदी को लेकर अनशन के दौरान गुरुशरण छाबड़ा की मौत हो गई थी. इसे लेकर कांग्रेस ने मुद्दा बनाया था. अब भाजपा का आरोप है कि इस मामले में कांग्रेस सरकार कोई सुध नहीं ले रही.

Last Updated : Nov 12, 2021, 5:24 PM IST
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