जयपुर. प्रदेश में सरकार और राज्यपाल में विधानसभा सत्र को बुलाने को लेकर चल रही खींचतान के बीच प्रदेश के प्रमुख गैर राजनीतिक संगठनों ने एक संयुक्त बयान जारी किया है. साथ ही राज्यपाल से अपील की है कि विधानसभा का सत्र बुलाया जाए, ताकि सरकार अपना बहुमत साबित कर सके. संगठनों ने केंद्र में सत्तारूढ़ दल पर आरोप लगाया है कि वह विधायकों को खरीदने का प्रयास कर रहे हैं. साथ ही उपमुख्यमंत्री को मोहरे के रूप में भी इस्तेमाल किया जा रहा है.
इन संगठनों में राजस्थान समग्र सेवा संघ और फोरम फॉर डेमोक्रेसी एंड कम्युनल एमिटी के प्रदेश अध्यक्ष सवाई सिंह, राजस्थान नागरिक मंच के महासचिव बसंत हरियाणा, भारतीय बौद्ध महासभा के प्रदेश अध्यक्ष टीसी राहुल, जमात ए इस्लामी हिंद के प्रदेश अध्यक्ष मोहम्मद नाजिमुद्दीन, दलित अधिकार केंद्र राजस्थान के अध्यक्ष पीएल मिमरोठ, मसीही शक्ति समिति के अध्यक्ष फादर विजय पाल सिंह शामिल है. सभी ने राज्यपाल से विधानसभा सत्र बुलाने की मांग की है.
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बयान में कहा गया है कि जनता इस समय पेशोपेश की स्थिति में है कि किस पर विश्वास किया जाए और किस पर नहीं. बयान में कहा गया है कि शुक्रवार को जो भी घटनाक्रम हुआ उससे राजनीतिक अस्थिरता की स्थिति बन सकती है और अराजकता फैल सकती है. इसलिए जल्द से जल्द विधानसभा सत्र बुलाया जाए. बता दें कि शुक्रवार को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत अपने विधायकों के साथ राजभवन पहुंचे थे और वहां धरना प्रदर्शन भी किया था. इसीलिए कल राज्यपाल कलराज मिश्र ने नाराजगी भी जताई थी. कई घंटों तक विधायक राजभवन में ही रहे. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत शॉर्ट नोटिस पर विधानसभा सत्र बुलाना चाहते हैं, जबकि राज्यपाल कलराज मिश्र इसे लेकर इंकार कर चुके हैं.