जयपुर. नौतपा के खत्म होते ही मॉनसून ने केरल में दस्तक दे दी है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) की ओर से जारी बुलेटिन के मुताबिक, बृहस्पतिवार से शनिवार तक केरल के कुछ इलाकों में सात से 11 सेंटीमीटर तक बारिश होने का अनुमान है. इस बार मॉनसून (Mansoon) दो दिन की देरी से पहुंचा है. आमतौर पर चार महीने तक चलने वाले बारिश के मौसम की शुरुआत केरल में एक जून से होती है. राजस्थान में मानसून कब आएगा इसको लेकर किसान आस लगाए बैठे हैं.
पिछले 6 वर्षों के दौरान यह तीसरी बार है जब मॉनसून देर से पहुंचा है. इससे पहले 2016 और 2019 में मॉनसून ने 8 जून को केरल में दस्तक दी थी. आमतौर पर 4 महीने तक चलने वाले बारिश के मौसम की शुरुआत केरल में एक जून से होती है. IMD ने इससे पहले मॉनसून के 31 मई तक पहुंचने का अनुमान व्यक्त किया था. वहीं राजस्थान की अगर बात करें तो मेवाड़-वागड़ के रास्ते मानसून इस बार 20 जून के बाद ही प्रवेश करेगा और अच्छी औसत बारिश रहने की संभावना है.
यहां जानें राजस्थान में पिछले 5 सालों में कब-कब पहुंचा मानसून-
- 2016 - 22 जून
- 2017 - 27 जून
- 2018 - 26 जून
- 2019 - 2 जुलाई
- 2020 - 24 जून
बांसवाड़ा में प्री-मॉनसून बारिश
राजस्थान के अधिकांश शहरों का तापमान 40 डिग्री से अधिक या इसके आस-पास बना हुआ है. लेकिन केरल में मॉनसून की दस्तक के साथ ही बांसवाड़ा शहर (यहीं से मॉनसून प्रवेश करता है) में गुरुवार रात करीब 11:00 बजे के बाद मौसम ने अचानक पलटी खाई और तेज हवाओं के साथ बादलों की गर्जना के बीच झमाझम बारिश का दौर शुरू हुआ. इस दौरान क्षेत्र में बिजली गुल हो गई.
केरल में बारिश
दक्षिण-पश्चिम मॉनसून (South-west Mansoon) के केरल पहुंचने के साथ ही बृहस्पतिवार को राज्य के कई क्षेत्रों के अलावा लक्षद्वीप के अधिकतर इलाकों में भी बारिश हुई. भारत मौसम विज्ञान विभाग (India Meteorological Department) की ओर से जारी बुलेटिन के मुताबिक शनिवार तक केरल के कुछ इलाकों में सात से 11 सेंटीमीटर तक बारिश होने का अनुमान है.