जयपुर. काली फिल्म की डायरेक्टर (Kaali Poster Row) लीना मणिमेकलाई की मुश्किलें बढ़ती ही जा रही हैं. जयपुर में सामाजिक कार्यकर्ता सूरज सोनी ने भी झोटवाड़ा पुलिस थाने में रिपोर्ट दी है. सूरज सोनी का कहना है कि सस्ती लोकप्रियता हासिल करने के लिए लगातार उनकी धार्मिक भावनाओं को आहत किया जा रहा है. फिल्म डायरेक्टर लीना ने पहले डॉक्यूमेंट्री पोस्टर में मां काली को सिगरेट पीते हुए दिखाया और अगले ही दिन भगवान शिव और मां पार्वती का अभद्र फोटो ट्वीट किया है, जो की नाकाबिले बर्दाश्त है. इसी को लेकर डायरेक्टर लीना मणिमेकलाई के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग को लेकर उन्होंने झोटवाड़ा थाने में मुकदमा दर्ज करवाया है.
सामाजिक कार्यकर्ता सूरज सोनी ने कहा कि लीना मणिमेकलाई ने कुछ दिनों पूर्व ही सोशल मीडिया पर पोस्ट डाली थी, जिसने भी काली को सिगरेट पीते हुए बताया गया था, जिसका सब जगह विरोध हुआ है. इस पर भी लीना मणिमेकलाई ने जानबूझ कर धार्मिक भावना भड़काने के आशय से समुदायों में विग्रह पैदा करने का आशय रखा. उन्होंने आरोप लगाया कि एक महिला को मां पार्वती का गेटअप बनाकर उसके साथ में भगवान शिव के गेटअप में अन्य व्यक्ति को बताकर मां पार्वती को धूम्रपान करते हुए बताना और उसको जानबूझ कर सोशल मीडिया पर डालना, साफ दिखाता है कि हिन्दुओं की भावना को ठेस पहुंचे और समाज में विग्रह पैदा हो.
सूरज सोनी ने कहा कि लीना मणिमेकलाई श्री बिल्लीपुत्तुर तमिलानाडू की रहने वाली हैं और वर्तमान में टोरंटो ओटारियो कनाडा में रह रही हैं और खुद को नास्तिक बताती हैं. परिवादी सूरज सोनी ने व अन्य लोगों ने यह पोस्ट जयपुर में देखी तथा उनकी धार्मिक भावना गंभीर रूप से आहत हुई व समाज में विग्रह भी पैदा हुआ. इस कारण से जयपुर में अपराध घटित हुआ है. जैसा की राज ठाकरे के मामले में माननीय बिहार उच्च न्यायालय ने स्पष्ट किया है. सोनी ने आरोप लगाया कि लीना मणिमेकलाई का यह कृत्य व अन्य लोग जिन्होंने इसे आगे फैलाया का कृत्य धारा 295 (ए). 505 (2) 153 बी भा०द०स० व धारा 66 67 आई टी एक्ट के अधीन अपराध है.
ये है पूरा मामला : देश भर में फिल्म 'काली' के पोस्टर को लेकर घमासान मचा हुआ है. काली पर शुरू हए इस विवाद में डॉक्यूमेंट्री प्रोड्यूसर लीना मनिमेकलाई के खिलाफ (FIR Against Filmmaker Leena Manimekalai in Jaipur) जयपुर से पहले लखनऊ, दिल्ली, गोंडा, लखीमपुर खीरी और रतलाम समेत देश के कई हिस्सों में एफआईआर दर्ज हो चुकी है.
दरअसल, यह विवाद कनाडा के टोरंटो से शुरू हुआ था, जहां लीना ने काली पर बनाई डॉक्यूमेंट्री का पोस्टर (Kaali Movie Poster Controversy) रिलीज किया था. सबसे पहले 2 जुलाई को लीना मणिमेकलई ने ट्विटर पर पोस्टर रिलीज किया और फिर कनाडा के आगा खां म्यूजियम में इसे दिखाया गया. पोस्टर के खिलाफ कनाडा के इंडियन हाई कमीशन ने आपत्ति भी दर्ज कराई थी. फिलहाल, ट्विटर ने फिल्मकार लीना मनिमेकलाई के 'काली' पोस्टर वाले ट्वीट को हटा दिया है. लेकिन कनाडा में काली के अपमान की आंच हिंदुस्तान तक पहुंचने में देर नहीं लगी. भारत में लोग इस विवाद को लेकर सड़कों पर उतर गए और प्रदर्शन करने लगे. देश भर में लीना मनिमेकलाई के खिलाफ विरोध का स्वर उठने लगा है.
कौन हैं लीना मणिमेकलई ? : लीना का जन्म तमिलनाडु के मदुरै में हुआ था. लेकिन वो हिंदुस्तान में नहीं, कनाडा के टोरंटो में रहती हैं. लीना ने अपने करियर की शुरुआत असिस्टेंट डायरेक्टर के तौर पर की थी. लीना कई इंटरनेशनल और नेशनल फिल्म फेस्टिवल में अवार्ड जीत चुकी हैं. लीना मणिमेकलई की निजी जिंदगी की कहानी कुछ कम फिल्मी नहीं है. बताया जाता है कि लीना का परिवार उनकी शादी की तैयारियों में लगा था और उसी वक्त लीना चेन्नई भाग गईं थीं. 2002 में लीना ने अपनी पहली डॉक्यूमेंट्री 'मथम्मा' बनाई थी. 2004 में लीना ने दलित महिलाओं के खिलाफ होने वाली हिंसा पर डॉक्यूमेंट्री 'पाराई' बनाई थी. लीना मणिमेकलई की डॉक्यूमेंट्री पर विवाद पहले भी हुए, लेकिन इस बार मामला आस्था से जुड़ा है. इसलिए विवाद इतना ज्यादा बढ़ गया.