जयपुर. देशभर में कोरोना ने कारोबार समेत यातायात सेवाओं पर भी प्रभाव डाला है. कोरोना के चलते ट्रांसपोर्टेशन पर भी काफी बुरा असर पड़ा है. ऐसे में परिवहन विभाग को इस वित्तीय वर्ष का टारगेट भी जारी कर दिया गया है.
लॉकडाउन के बाद से ही आरटीओ ऑफिस में वीआईपी नंबरों को लेकर बोली नहीं लग पा रही थी. आमजन भी इसमें रुचि नहीं दिखा रहे थे. लेकिन बुधवार को लंबे समय के बाद झालाना आरटीओ कार्यालय में वीआईपी नंबर को लेकर जमकर बोली लगाई गई.
तकरीबन 8 महीने पहले तत्कालीन आयुक्त राजेश यादव के रहते हुए, वीआईपी नंबरों के दामों को बढ़ाकर 600 सीसी वाहनों तक के लिए महंगा कर दिया था. जिसके बाद आवेदकों में रुचि नहीं दिखाई दे रही थी. उसके बाद अब कुछ समय से लॉकडाउन के चलते भी आवेदक नहीं आ पा रहे थे. लेकिन झालाना आरटीओ कार्यालय में वीआईपी नंबर लेने के लिए भीड़ लग रही है.
ऐसे में वीआईपी नंबरों की बोली के चलते 62 वाहन मालिकों ने इच्छित नंबरों के लिए बोली लगाई जिसके बाद परिवहन विभाग को करीब राजधानी जयपुर झालाना आरटीओ कार्यालय से 18,08,500 का राजस्व प्राप्त हुआ है.
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मर्सिडीज बेंज कार के वीआईपी नंबर के लिए सबसे अधिक बोली रामनारायण मीणा की ओर से लगाई गई. इसके अंतर्गत गाड़ी नंबर RJ-45-CQ-0001 के लिए उन्होंने 5,05,000 की अधिकतम बोली लगाई.
इसके साथ ही दूसरे नंबर की बोली की बात की जाए तो गाड़ी संख्या RJ-14-UN-9999 की बोली लगाई गई. यह बोली बीना मीणा की ओर से अपनी गाड़ी फॉर्च्यूनर के लिए लगाई गई, और इस गाड़ी यह नंबर की अधिकतम बोली 3,06,000 लगाई गई. जिसके बाद यह नंबर बीना मीणा को दे दिया गया.
बता दें वीआईपी बोली से परिवहन विभाग को 18,08,500 का राजस्व प्राप्त हुआ है. वहीं जयपुर आरटीओ राजेंद्र वर्मा की मानें तो आने वाले दिनों में एक बार फिर से वीआईपी नंबरों की बोली को लेकर दोबारा से आमजन की रुचि बढ़ गई है जिससे परिवहन विभाग को ज्यादा से ज्यादा राजस्व भी प्राप्त हो रहा है.