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जयपुर : जेसीटीएसएल कर्मचारी 21 अक्टूबर से हड़ताल पर, कर्मचारियों ने टि्वटर पर शुरू किया अभियान

जेसीटीएसएल के कर्मचारी 21 अक्टूबर से हड़ताल पर रहेंगे. इसे सफल बनाने के लिए कर्मचारी टि्वटर कैंपेन में जुटे गए हैं. टि्वटर कैंपेन के माध्यम से मुख्यमंत्री से लेकर मंत्री और प्रशासनिक अधिकारियों को टैग करते हुए लो फ्लोर हड़ताल का कैंपेन चलाया गया है. कर्मचारी नियमितीकरण समेत अन्य मांगों को लेकर 9 दिन से संघर्ष कर रहे हैं.

जयपुर न्यूज , Jaipur News
लो फ्लोर बस
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Published : Oct 12, 2021, 8:32 PM IST

Updated : Oct 12, 2021, 9:59 PM IST

जयपुर. जेसीटीएसएल के कर्मचारी 21 अक्टूबर से प्रस्तावित हड़ताल को सफल बनाले के लिए टि्वटर कैंपेन में जुटे गए है. कर्मचारी राज्य सरकार से 7 वें वेतनमान लागू करने और प्रोबेशन पीरियड पूरा कर चुके कर्मचारियों को रेगुलर करने करने समेत अन्य मांगों को लेकर बीते 9 दिन से संघर्ष कर रहे हैं. लेकिन राज्य सरकार उनकी मांगों को अनसुनी कर रही है.कर्मचारियों ने हड़ताल को सफल बनाने के लिए सोशल मीडिया का सहारा लिया है.

पढ़ें- बांसवाड़ा : मार्बल व्यवसाई से 8 लाख की ठगी का मामला..पुलिस ने जालोर से 2 आरोपियों को दबोचा, मास्टरमाइंड गिरफ्त से दूर

जेसीटीएसएल के कर्मचारियों ने 4 अक्टूबर को विभिन्न मांगों के समाधान नहीं होने पर 21-22 अक्टूबर को हड़ताल की चेतावनी दी थी. इसके बावजूद राज्य सरकार ने कर्मचारियों को वार्ता के लिए नहीं बुलाया है. कर्मचारी अलग-अलग डिपो पर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. अब सरकार का ध्यान आकर्षित करने के लिए कर्मचारियों ने ट्विटर कैंपेन चलाया है.

जेसीटीएसएल एंप्लाइज यूनियन के अध्यक्ष विपिन चौधरी ने बताया कि प्रशासन नियमित रूप से बसों की संख्या बढ़ा रहा है. लेकिन परिचालकों की भर्ती नहीं की गई. ऐसे में डबल ड्यूटी करनी पड़ रही है. उन्होंने बताया कि अब टि्वटर कैंपेन के माध्यम से मुख्यमंत्री से लेकर मंत्री और प्रशासनिक अधिकारियों को टैग करते हुए लो फ्लोर हड़ताल का कैंपेन चलाया गया है.

पढ़ें.

कर्मचारियों की प्रमुख मांगें

राजस्व संग्रहण सप्ताह की आड़ में बनाए गए अव्यवहारिक और विधि विरुद्ध नियमों सहित नियुक्ति की शर्त संख्या 10 को निरस्त की जाए. साथ ही राजस्व मूलक निरीक्षण प्रणाली बनाई जाए.
मुख्यालय में लगे परिचालकों को तुरन्त हटाकर रुट पर ड्यूटी लगाई जाए. 7 वें वेतमान को लागू किया जाए. बकाया एरियर का एकमुश्त भुगतान किया जाए. नॉन- रेगुलर को रेगुलर किया जाए. अपील सुनवाई और अपील से बहाल हुए कर्मचारियों का पदस्थापन किया जाए.

बकाया बोनस-एक्सग्रेसिया का भुगतान किया जाए. परिचालकों की नई भर्ती की जाए. नवनिर्मित बगराना आगार के शिड्यूलों का 8 घंटे की ड्यूटी के आधार दोबारा निर्धारण कर समय सारणी बनाई जाए. सभी रूटों के प्रारंभिक और अंतिम स्टॉपेज पर महिला परिचालकों के लिए सुलभ शौचालय की व्यवस्था की जाए.

जयपुर. जेसीटीएसएल के कर्मचारी 21 अक्टूबर से प्रस्तावित हड़ताल को सफल बनाले के लिए टि्वटर कैंपेन में जुटे गए है. कर्मचारी राज्य सरकार से 7 वें वेतनमान लागू करने और प्रोबेशन पीरियड पूरा कर चुके कर्मचारियों को रेगुलर करने करने समेत अन्य मांगों को लेकर बीते 9 दिन से संघर्ष कर रहे हैं. लेकिन राज्य सरकार उनकी मांगों को अनसुनी कर रही है.कर्मचारियों ने हड़ताल को सफल बनाने के लिए सोशल मीडिया का सहारा लिया है.

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जेसीटीएसएल के कर्मचारियों ने 4 अक्टूबर को विभिन्न मांगों के समाधान नहीं होने पर 21-22 अक्टूबर को हड़ताल की चेतावनी दी थी. इसके बावजूद राज्य सरकार ने कर्मचारियों को वार्ता के लिए नहीं बुलाया है. कर्मचारी अलग-अलग डिपो पर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. अब सरकार का ध्यान आकर्षित करने के लिए कर्मचारियों ने ट्विटर कैंपेन चलाया है.

जेसीटीएसएल एंप्लाइज यूनियन के अध्यक्ष विपिन चौधरी ने बताया कि प्रशासन नियमित रूप से बसों की संख्या बढ़ा रहा है. लेकिन परिचालकों की भर्ती नहीं की गई. ऐसे में डबल ड्यूटी करनी पड़ रही है. उन्होंने बताया कि अब टि्वटर कैंपेन के माध्यम से मुख्यमंत्री से लेकर मंत्री और प्रशासनिक अधिकारियों को टैग करते हुए लो फ्लोर हड़ताल का कैंपेन चलाया गया है.

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कर्मचारियों की प्रमुख मांगें

राजस्व संग्रहण सप्ताह की आड़ में बनाए गए अव्यवहारिक और विधि विरुद्ध नियमों सहित नियुक्ति की शर्त संख्या 10 को निरस्त की जाए. साथ ही राजस्व मूलक निरीक्षण प्रणाली बनाई जाए.
मुख्यालय में लगे परिचालकों को तुरन्त हटाकर रुट पर ड्यूटी लगाई जाए. 7 वें वेतमान को लागू किया जाए. बकाया एरियर का एकमुश्त भुगतान किया जाए. नॉन- रेगुलर को रेगुलर किया जाए. अपील सुनवाई और अपील से बहाल हुए कर्मचारियों का पदस्थापन किया जाए.

बकाया बोनस-एक्सग्रेसिया का भुगतान किया जाए. परिचालकों की नई भर्ती की जाए. नवनिर्मित बगराना आगार के शिड्यूलों का 8 घंटे की ड्यूटी के आधार दोबारा निर्धारण कर समय सारणी बनाई जाए. सभी रूटों के प्रारंभिक और अंतिम स्टॉपेज पर महिला परिचालकों के लिए सुलभ शौचालय की व्यवस्था की जाए.

Last Updated : Oct 12, 2021, 9:59 PM IST
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