जयपुर. राजस्थान हाइकोर्ट ने प्रदेश के कोटा शहर को केंद्रित कर बनाई गई रानी मुखर्जी अभिनीत फिल्म मर्दानी-2 में कोटा शहर की छवि धूमिल करने के मामले में केंद्र सरकार और सेंसर बोर्ड को 16 दिसंबर तक जवाब पेश करने को कहा है. न्यायाधीश अशोक गोड की एकलपीठ ने यह आदेश तसलीम अहमद की याचिका पर सुनवाई करते हुए दिए.
याचिका में कहा गया कि मर्दानी-2 की कहानी में कोटा शहर की छवि धूमिल करने का प्रयास किया गया है. फिल्म के ट्रेलर में कोटा को रेपिस्ट सिटी कहा गया है. याचिका में कहा गया कि कोटा शहर का अपना इतिहास है. इसके अलावा पर्यटन को लेकर भी इसका प्रदेश में अलग महत्व है. वहीं, देशभर से हर साल लाखों विद्यार्थी यहां अपना मेडिकल और इंजीनियरिंग में करियर बनाने के लिए आते हैं.
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फिल्म में दिखाया गया है कि कोचिंग सेंटर में पढ़ने वाला छात्र एक छात्रा के साथ दुष्कर्म करने के बाद उसकी हत्या कर देता है. जबकि कोटा शहर के किसी भी थाने में आज तक इस तरह के अपराध की कोई रिपोर्ट दर्ज नहीं हुई है. याचिका में गुहार की गई है कि कोटा शहर की छवि धूमिल होने से रोकने के लिए फिल्म के प्रदर्शन पर रोक लगाई जाए. जिस पर सुनवाई करते हुए एकल पीठ ने केंद्र सरकार और सेंसर बोर्ड से जवाब तलब किया है.