जयपुर. न्यायाधीश पंकज भंडारी ने यह आदेश विशाल दशोरा की याचिका पर दिए. याचिका में कहा गया कि शिकायतकर्ता पीड़िता से शादी करने के बाद अब वह याचिकाकर्ता के खिलाफ कार्रवाई नहीं चाहती है. ऐसे में याचिकाकर्ता के खिलाफ दर्ज एफआईआर को रद्द किया जाए.
मामले के अनुसार पीड़िता ने याचिकाकर्ता के खिलाफ शॉपिंग के बहाने जयपुर लाकर शराब पिलाने और बाद में दुष्कर्म करने का आरोप लगाते हुए चंदवाजी थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी.
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जिसका विरोध करते हुए राज्य सरकार की ओर से कहा गया कि सुप्रीम कोर्ट तय कर चुका है कि यदि दुष्कर्म पीड़िता आरोपी से विवाह कर लेती है तो भी आरोपी पर अपराध किया जाना समाप्त नहीं होता. ऐसे मे आरोपी के खिलाफ दर्ज एफआईआर को रद्द नहीं किया जा सकता.