जयपुर. CM अशोक गहलोत मुख्यमंत्री निवास से प्रदेश में कोरोना संक्रमण की स्थिति और जागरूकता अभियान को लेकर मंगलवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से समीक्षा की. उन्होंने वीसी में राज्य मंत्री परिषद के सदस्यों, विधायकों की उपस्थिति में जिला कलेक्टरों, पुलिस अधीक्षकों तथा मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारियों के साथ जिलों में कोरोना संक्रमण की स्थिति की समीक्षा और जागरूकता अभियान को लेकर चर्चा भी की. गहलोत ने कहा कि कोरोना संक्रमण की शुरुआत से ही राज्य सरकार ने कदम उठाते हुए इसे नियंत्रित रखा है. आगे भी लोगों का जीवन बचाने के लिए इतने बृहद स्तर पर जागरूकता अभियान चलाने वाला राजस्थान पहला राज्य है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार ने संकट की इस घड़ी का उपयोग प्रदेश में हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करने में किया है. इसी का परिणाम है कि इस बीमारी की शुरुआत के समय जहां हमारे पास जांच की कोई सुविधा उपलब्ध नहीं थी, वहां आज हमने अन्य पड़ोसी राज्यों को पांच हजार टेस्ट प्रतिदिन करने जैसी पेशकश की है. रूथलेस कंटेनमेंट, घर-घर स्क्रीनिंग, टेस्टिंग तथा गैर कोरोना बीमारियों के इलाज और 550 मोबाइल ओपीडी सेवाओं, संस्थागत प्रसव, टीकाकरण आदि की व्यापक सराहना की गई है.
सीएम ने कहा कि जागरूकता अभियान में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन सुनिश्चित करते हुए नुक्कड़ नाटक, लोकगीत, कठपुतली आदि के जरिए जीविकोपार्जन करने वाले लोक कलाकारों की भी सेवाएं ली जाएं. इससे उन्हें जहां एक ओर आर्थिक संबल मिल सकेगा, साथ ही हम निचले स्तर तक स्थानीय बोली में कोरोना से बचाव और इसके खतरों की जानकारी पहुंचाने में उनकी मदद ले पाएंगे.
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मुख्यमंत्री ने इस बात पर प्रसन्नता व्यक्त की, कि आज प्रदेश में 50 लाख से अधिक श्रमिकों को मनरेगा कार्याें के जरिए रोजगार मिल पा रहा है. उन्होंने निर्देश दिए कि मनरेगा के कामों में सोशल डिस्टेंसिंग की पालन सुनिश्चित की जाए. साथ ही भीषण गर्मी को देखते हुए उन्हें अपना टास्क पूरा कर 11 बजे या उससे पहले भी जाने की अनुमति दी जाए.
क्या कहा अन्य लोगों ने...
- वीसी के दौरान चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने कहा कि प्रदेश में फिलहाल 17 जिलों में कोरोना की टेस्टिंग सुविधा विकसित कर ली गई है. आने वाले समय में हम सभी जिलों में जांच करने के लक्ष्य को हासिल करेंगे. साथ ही प्रतिदिन 40 हजार टेस्ट करने का भी लक्ष्य हमनें निर्धारित किया है.
- कला एवं संस्कृति मंत्री बी.डी. कल्ला ने कहा कि लोक कलाकारों की भी जागरुकता अभियान में सहभागिता सुनिश्चित की जाएगी. शिक्षा राज्य मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि अभियान में विभाग के स्तर पर भी पूरा सहयोग किया जाएगा. महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री ममता भूपेश ने कहा कि आशा सहयोगिनी, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता पूरे प्रदेश में कोरोना को लेकर जागरुकता फैलाएंगी.
- मुख्य सचिव डी.बी. गुप्ता ने कहा कि जन आधार से जुड़े हुए 1 करोड़ 93 लाख लोगों के मोबाइल पर कोरोना से बचाव के लिए जागरूकता संदेश भेजे जाएंगे. साथ ही जिला, ब्लॉक एवं पंचायत स्तर तक के जनप्रतिनिधियों एवं ग्रास रूट तक कार्मिकों को इससे जोड़ा जाएगा.
- अतिरिक्त मुख्य सचिव गृह राजीव स्वरूप ने कहा कि महामारी अधिनियम के तहत इस बात को जोड़ा जाएगा, जिसमें निजी कार्यस्थलों एवं वाणिज्यिक संस्थानों के परिसरों में कोरोना से सुरक्षात्मक उपायों को प्रदर्शित करना अनिवार्य होगा. उन्होंने कहा कि जिन स्थानों पर लोगों की अधिक आवाजाही रहती है. वहां इस तरह के होर्डिंग्स, बैनर आदि लगाए जाएंगे.
- अतिरिक्त मुख्य सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य रोहित कुमार सिंह ने कहा कि प्रति 10 लाख की जनसंख्या में जांचों की संख्या, केस डबलिंग रेट के औसत तथा पॉजिटिव से निगेटिव होने की दर में राजस्थान देश के अग्रणी राज्यों में शामिल है. उन्होंने बताया कि सिविल सोसायटी, सामुदायिक संगठनों, 'ट्रिपल-ए' यानि आशा सहयोगिनियों, एएनएम तथा आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की अभियान में बड़ी भूमिका रहेगी.
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सूचना एवं जनसंपर्क आयुक्त महेन्द्र सोनी ने जागरुकता अभियान के संबंध में विस्तृत प्रस्तुतीकरण दिया. उन्होेंने बताया कि पूरे प्रदेश में प्रचार-प्रसार के सभी माध्यमों का उपयोग जागरूकता अभियान में किया जाएगा. ऑडियो-विजुअल सामग्री, समाचार पत्रों एवं टी.वी. पर विज्ञापन, रेडियो पर जिंगल्स, होर्डिंग्स, पोस्टर, बैनर, सनबोर्ड, सनपैक, डिजिटल वॉल पेन्टिंग, बसों पर विनायल पेस्टिंग, पंपलेट, सोशल मीडिया के माध्यम से व्यापक स्तर तक अभियान की सफलता की रणनीति तैयार की गई है. जिलों को अलग से बजट भी हस्तांतरित किया जा चुका है. उन्होंने कहा कि जागरुकता फैलाने के लिए जिलों में नवाचारों को अपनाएं. इस अभियान के माध्यम से राज्य सरकार का प्रयास है कि प्रदेश के हर व्यक्ति को कोरोना से बचने के उपायों के बारे में जागरूक किया जाए, ताकि कोरोना पर काबू पाया जा सके.