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Shakti Campaign : बेटियों में आत्मविश्वास और लोगों में इनके प्रति सम्मान के लिए स्कूलों में बना रहे ‘आई एम शक्ति कॉर्नर एवं वॉल’

जिला कलक्टर की पहल पर ‘शक्ति’ अभियान के तहत बेटियों को लेकर आम लोगों में सम्मान की भावना पैदा करने के लिए बीकानेर की स्कूलों में 'आई एम शक्ति कॉर्नर' एवं ‘आई एम शक्ति वॉल’ बनाए जा रहे हैं. इसके तहत स्कूलों की दीवारों पर राजनीति, खेल, संगीत, शिक्षा, समाज सेवा सहित विभिन्न क्षेत्रों में अपना परचम फहराने वाली महिलाओं की जीवनी अंकित की गई है जिससे बेटियों में आत्मविश्वास की भावना पैदा हो और वे भी आगे बढ़ (Shakti campaign in Bikaner for girl child) सकें.

Shakti campaign in Bikaner for girl child
बेटियों में आत्मविश्वास और लोगों में इनके प्रति सम्मान के लिए स्कूलों में बना रहे ‘आई एम शक्ति कॉर्नर एवं वॉल’
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Published : May 28, 2022, 10:32 PM IST

बीकानेर. सरकारी स्कूलों में पढ़ रही बेटियां सफल महिलाओं के जीवन से प्रेरणा लेकर आगे बढ़ सकें तथा इसके लिए इन्हें बेहतर माहौल मिले, इसके मद्देनजर स्कूलों में ‘आई एम शक्ति कॉर्नर’ एवं ‘आई एम शक्ति वॉल’ बनाए जा रहे (Shakti campaign in Bikaner for girl child) हैं.

जिला कलक्टर भगवती प्रसाद कलाल ने बताया कि जिले में जन्म के समय घटता लिंगानुपात चिंता का विषय है. साथ ही बेटियों का कुपोषण का शिकार होना भी उनके सर्वांगीण विकास में बाधक है. इसके मद्देनजर कन्या जन्म को प्रोत्साहित करने और बेटियों को आगे बढ़ने के बेहतर वातावरण उपलब्ध करवाने के उद्देश्य से जिले में ‘शक्ति’ अभियान चलाया जा रहा है. इस अभियान के तहत सतत गतिविधियां आयोजित की जा रही हैं. इसी श्रृंखला में सरकारी स्कूलों में ‘आईएम शक्ति कॉर्नर’ एवं ‘आई एम शक्ति वॉल’ (I am Shakti wall in Bikaner schools) स्थापित किए जा रहे हैं. इनमें राजनीति, खेल, संगीत, शिक्षा, समाज सेवा सहित विभिन्न क्षेत्रों में अपना परचम फहराने वाली महिलाओं की जीवनी अंकित की गई है, जिससे बेटियों में आत्मविश्वास की भावना पैदा हो और वे भी आगे बढ़ सकें.

पढ़ें: तीन सगी बहनों ने एक साथ पास की प्रशासनिक सेवा परीक्षा

ऐसा है ‘आईएम शक्ति कॉर्नर’: जिले का पहला ‘आईएम शक्ति कॉर्नर‘ राजकीय गंगा उच्च माध्यमिक विद्यालय में बनाया गया है. इसमें मदर टेरेसा, अरुणिमा सिन्हा, कल्पना चावला, इंदिरा गांधी, सिंधु ताई सपकाल, गुंजन सक्सेना, इंदिरा नुई, पीवी सिंधु, अवनि लेखरा, मैरी कॉम, लता मंगेशकर जैसी महिलाओं की जीवनी अंकित करवाई गई है. ‘बुक कॉर्नर’ में प्रेरणादायी पुस्तकें रखी गई हैं तथा बैठने एवं पढ़ने के लिए बेहतर माहौल तैयार किया गया है. कांउंसलिंग के लिए ‘काउंसलिंग कॉर्नर’ और माहवारी स्वच्छता के प्रति जागरुकता के लिए ‘हाइजिन कॉर्नर’ भी बनाया गया है. इनके अलावा 'चुप्पी तोड़ो, बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ', यू आर स्ट्रांग, बाल विवाह निषेध और मुख्यमंत्री राजश्री योजना की जानकारी भी दी गई है.

पढ़ें: Menstrual Hygiene Day 2022: भावना की पीरियड पाठशाला ने बदली महिलाओं की सोच...गांव-गांव जाकर मासिक धर्म के प्रति किया जागरूक

महिलाओं के प्रति सम्मान: स्कूली बच्चों में महिलाओं के प्रति सम्मान की भावना पैदा हो, इसके मद्देनजर स्कूलों में ‘आईएम शक्ति वॉल’ बनाए जा रहे हैं. ऐसी पहली वॉल राजकीय शहीद मेजर जैम्स थॉमस स्कूल में स्थापित की गई है. जिसमें स्कूल की प्रमुख दीवार पर सफल महिलाओं की पूरी जीवन उकेरी गई है. जिला कलक्टर ने बताया कि प्रत्येक क्षेत्र में ऐसे ‘आईएम शक्ति कॉर्नर’ और ‘आईएम शक्ति वॉल’ स्थापित किए जाएंगे. इसी श्रृंखला में ‘शक्ति’ अभियान के तहत बेटी के जन्म पर मां को ‘सहजन फली का पौधा’ भी दिया जा रहा है. इसका उद्देश्य है कि बेटियों के स्वास्थ्य के प्रति जागरुकता लाना.

बीकानेर. सरकारी स्कूलों में पढ़ रही बेटियां सफल महिलाओं के जीवन से प्रेरणा लेकर आगे बढ़ सकें तथा इसके लिए इन्हें बेहतर माहौल मिले, इसके मद्देनजर स्कूलों में ‘आई एम शक्ति कॉर्नर’ एवं ‘आई एम शक्ति वॉल’ बनाए जा रहे (Shakti campaign in Bikaner for girl child) हैं.

जिला कलक्टर भगवती प्रसाद कलाल ने बताया कि जिले में जन्म के समय घटता लिंगानुपात चिंता का विषय है. साथ ही बेटियों का कुपोषण का शिकार होना भी उनके सर्वांगीण विकास में बाधक है. इसके मद्देनजर कन्या जन्म को प्रोत्साहित करने और बेटियों को आगे बढ़ने के बेहतर वातावरण उपलब्ध करवाने के उद्देश्य से जिले में ‘शक्ति’ अभियान चलाया जा रहा है. इस अभियान के तहत सतत गतिविधियां आयोजित की जा रही हैं. इसी श्रृंखला में सरकारी स्कूलों में ‘आईएम शक्ति कॉर्नर’ एवं ‘आई एम शक्ति वॉल’ (I am Shakti wall in Bikaner schools) स्थापित किए जा रहे हैं. इनमें राजनीति, खेल, संगीत, शिक्षा, समाज सेवा सहित विभिन्न क्षेत्रों में अपना परचम फहराने वाली महिलाओं की जीवनी अंकित की गई है, जिससे बेटियों में आत्मविश्वास की भावना पैदा हो और वे भी आगे बढ़ सकें.

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ऐसा है ‘आईएम शक्ति कॉर्नर’: जिले का पहला ‘आईएम शक्ति कॉर्नर‘ राजकीय गंगा उच्च माध्यमिक विद्यालय में बनाया गया है. इसमें मदर टेरेसा, अरुणिमा सिन्हा, कल्पना चावला, इंदिरा गांधी, सिंधु ताई सपकाल, गुंजन सक्सेना, इंदिरा नुई, पीवी सिंधु, अवनि लेखरा, मैरी कॉम, लता मंगेशकर जैसी महिलाओं की जीवनी अंकित करवाई गई है. ‘बुक कॉर्नर’ में प्रेरणादायी पुस्तकें रखी गई हैं तथा बैठने एवं पढ़ने के लिए बेहतर माहौल तैयार किया गया है. कांउंसलिंग के लिए ‘काउंसलिंग कॉर्नर’ और माहवारी स्वच्छता के प्रति जागरुकता के लिए ‘हाइजिन कॉर्नर’ भी बनाया गया है. इनके अलावा 'चुप्पी तोड़ो, बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ', यू आर स्ट्रांग, बाल विवाह निषेध और मुख्यमंत्री राजश्री योजना की जानकारी भी दी गई है.

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महिलाओं के प्रति सम्मान: स्कूली बच्चों में महिलाओं के प्रति सम्मान की भावना पैदा हो, इसके मद्देनजर स्कूलों में ‘आईएम शक्ति वॉल’ बनाए जा रहे हैं. ऐसी पहली वॉल राजकीय शहीद मेजर जैम्स थॉमस स्कूल में स्थापित की गई है. जिसमें स्कूल की प्रमुख दीवार पर सफल महिलाओं की पूरी जीवन उकेरी गई है. जिला कलक्टर ने बताया कि प्रत्येक क्षेत्र में ऐसे ‘आईएम शक्ति कॉर्नर’ और ‘आईएम शक्ति वॉल’ स्थापित किए जाएंगे. इसी श्रृंखला में ‘शक्ति’ अभियान के तहत बेटी के जन्म पर मां को ‘सहजन फली का पौधा’ भी दिया जा रहा है. इसका उद्देश्य है कि बेटियों के स्वास्थ्य के प्रति जागरुकता लाना.

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