बीकानेर. प्रदेश में कर्मचारियों की लंबित समस्याओं के निराकरण नहीं होने के साथ ही बजट में कर्मचारियों के लिए कोई महत्वपूर्ण घोषणा नहीं होने के बाद अब कर्मचारियों में निराशा है. साथ ही सरकार की ओर से चुनावी घोषणा पत्र में किए गए वादे के अनुरूप संविदा कर्मचारियों को नियमित करने की मांग भी अभी तक अधूरी है, जिसके चलते करीब सवा तीन लाख कर्मचारी इस आस में है कि सरकार उन्हें नियमित करेगी, लेकिन सरकार उनकी तरफ ध्यान नहीं दे रही है. ऐसे में अब कर्मचारी सरकार से आर-पार की लड़ाई लड़ेंगे.
बीकानेर के दौरे पर आए कर्मचारी महासंघ एकीकृत के प्रदेश अध्यक्ष केसर सिंह चंपावत ने गुरुवार को बीकानेर सर्किट हाउस में पत्रकारों से बातचीत करते हुए यह जानकारी दी. इस दौरान प्रदेश अध्यक्ष केशव सिंह चंपावत का कहना था कि सरकार ने कर्मचारियों के हित को लेकर कोई काम नहीं किया है और कर्मचारियों की ओर से उठाए गए मुद्दों को लेकर मुख्यमंत्री ने अभी तक कर्मचारियों से वार्ता तक भी नहीं की है और ना ही कर्मचारियों को वार्ता के लिए बुलाया है. ऐसे में अब कर्मचारी सरकार से आर-पार की लड़ाई के मूड में है और 21 मार्च से जन जागरण अभियान के द्वारा जोधपुर से इसकी शुरुआत की जाएगी.
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उन्होंने कहा कि प्रदेश के ऊर्जा और जलदाय मंत्री बीडी कल्ला संविदा कर्मियों को नियमित करने की कमेटी के चेयरमैन है. ऐसे में बीकानेर में भी इस आंदोलन को लेकर तैयारियां की जा रही है और इसी कड़ी में आज बीकानेर का दौरा किया है. उन्होंने कहा कि 27 सूत्रीय मांग पत्र को लेकर महासंघ ने सरकार को ज्ञापन दिया हुआ है, लेकिन अभी तक एक भी बिंदु पर सरकार ने कोई सकारात्मक रुख नहीं दिखाया है और ऐसे में अब सिवाय सरकार से आर-पार की लड़ाई के कर्मचारी के पास कोई विकल्प नहीं है.