अलवर. जिले में प्रशासन की तरफ से बजाजा बाजार, मालाखेड़ा बाजार, हॉफ सर्कस, घंटाघर, चूड़ी मार्केट, कटला सहित आसपास के भीड़ वाले बाजारों को बंद करा रखा है. इसके अलावा बाहर के अन्य बाजारों को खोल दिया गया है. लंबे समय से अलवर में इसी तरह के हालात हैं. अलवर में तीसरे दौर का लॉकडाउन चल रहा है.
अन्य बाजारों को भी खोलना चाहिए
ऐसे में व्यापारियों ने बाजार खुलवाने की मांग को लेकर रोष व्यक्त किया. जिसको लेकर बजाजा बाजार में बड़ी संख्या में व्यापारी जमा हुए. व्यापारियों ने एक मीटिंग की. उसके बाद जिला कलेक्टर से मुलाकात की. इस दौरान व्यापारियों ने कहा कि जब शराब की दुकानें खुल सकती है तो दुकाने क्यों नहीं खुल सकती है. प्रशासन को बाजार के लिए योजना तैयार करनी चाहिए. जिससे बाजार खुल सके. जब सभी बाजार खुले हुए हैं तो होप सर्कस के आसपास के अन्य बाजारों को भी खोलना चाहिए.
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कलेक्टर ने आदेश किए जारी
व्यापारी नेता धर्मपाल सिंह ने बताया कि राज्य सरकार ने जब कई सामानों के बाजार खोलने के आदेश जारी कर दिए हैं. इनकी पालना में कलेक्टर ने भी आदेश जारी कर दिए. उसके बावजूद अलवर शहर में होप सर्कस के इर्द-गिर्द मुख्य बाजार सराफा बाजार, बजाजा बाजार, चूड़ी मार्केट, तिलक मार्केट, सहित अन्य बाजारों को कोतवाली पुलिस क्यों खोलने नहीं दे रही है.
शराब के ठेके खुल सकते है तो बाजार क्यों नहीं
व्यापारियों का कहना है कि हम इन बाजारों में एक लाइन की दुकानें 1 दिन खुलेंगे और दूसरे दिन दूसरी लाइन की दुकानें खोलेंगे. जिससे बाजार में सोशल डिस्टेंसिंग की पूरी पालना हो सकेगी. व्यापारियों ने कहा कि यदि शराब के ठेके खुल सकते हैं. जहां बेइंतहा भीड़ पड़ती है तो हमारे बाजार क्यों नहीं खुल सकते. व्यापारी अब घर में बैठे-बैठे परेशान हो गए हैं और अब घर की स्थिति भी पैसों को लेकर डगमगाने लगी है. इसलिए सभी व्यापारी जिला कलेक्टर से मिले और बाजार खुलवाने की मांग की.