अलवर. राज्य मानव आयोग के अध्यक्ष गोपाल कृष्ण व्यास अलवर पहुंचे. उन्होंने आरती बालिका गृह और संप्रेषण गृह का निरीक्षण किया. इस दौरान व्यवस्थाओं का जायजा लेते हुए जरूरी निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि राज्य आयोग की तरफ से लोगों की समस्याओं का समाधान करने का प्रयास किया जा रहा है, इसके लिए 15 फरवरी से नई व्यवस्था शुरू की जा रही है. एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि अगर काम नहीं कर पाया तो इस्तीफा देकर घर चला जाऊंगा.
राज्य मानव अधिकार आयोग के अध्यक्ष गोपाल कृष्ण व्यास अलवर दौरे पर रहे. अलवर के सर्किट हाउस में पुलिसकर्मियों ने उनको गार्ड ऑफ ऑनर दिया. उसके बाद उन्होंने जिला कलेक्टर पुलिस अधीक्षक से मुलाकात की और जिले के हालात पर चर्चा की. इस दौरान गोपाल कृष्ण आरती बालिका गृह और संप्रेषण गृह का निरीक्षण किया. बालिका गृह की व्यवस्थाओं के बारे में जानकारी ली. बालिकाओं से उनकी पढ़ाई खेलकूद और अन्य गतिविधियों के बारे में बातचीत की. बालिकाओं की तरफ से गीत और कविता सुनाई गई. उसके बाद उन्होंने संप्रेषण का निरीक्षण किया. इस दौरान विधिक सेवा प्राधिकरण के पदाधिकारी भी मौजूद थे, जिम्मेदार अधिकारियों को उन्होंने बच्चों के निशुल्क इलाज करवाने के निर्देश दिए. इस संबंध में डॉक्टर से संपर्क करने के लिए भी कहा.
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अलवर के सर्किट हाउस में एक प्रेस वार्ता के दौरान मानव अधिकार आयोग के कार्यों के बारे में विस्तार से जानकारी देते हुए कहा कि 15 फरवरी से ऑनलाइन सुविधा लोगों की रहेगी. लोग अपनी शिकायत पीडीएफ बनाकर ऑनलाइन भेज सकते हैं, इसके अलावा एक समिति बनाई गई है, जिसमें दो जज और एक सेवानिवृत्त पुलिस अधिकारी शामिल हैं. लगातार लोगों की शिकायतों को वरीयता के हिसाब से उन पर काम करेंगे, साथ ही लोगों की समस्याओं का फीडबैक के लिए भी प्रयास किए जाएंगे और लोगों की ओर से दी गई शिकायत ऑनलाइन साइट पर अपडेट रहेगी.
उन्होंने कहा कि शिकायतकर्ता को मानव अधिकार आयोग के पास आने की जरूरत नहीं होगी वो अपनी शिकायत लिखकर उस पर साइन करके उसकी पीडीएफ तैयार करके मानव अधिकार आयोग के मेल आईडी नंबर पर भेज सकता है. आयोग के अध्यक्ष ने कहा कि अगर लोगों की समस्या दूर नहीं कर पाया, तो इस्तीफा देकर चला जाऊंगा. उन्होंने कहा कि मानव अधिकार आयोग एक परिवार में बुजुर्ग की तरह होता है, उसके पास कोई अधिकार नहीं है, लेकिन वो मॉनिटरिंग करता है और सदस्य को समझता है. उन्होंने कहा कि मानव अधिकार आयोग की तरफ से कई तरह के बदलाव किए जा रहे हैं.