अलवर. जिले में प्रकृति का अद्भुत सौंदर्य देखने को मिलता है, साल भर हजारों की संख्या में सैलानी अरावली की वादियों का आनंद लेने के लिए अलवर आते हैं. बारिश और सर्दी के मौसम में अलवर किसी हिल स्टेशन से कम नहीं लगता है. ऐसे में अलवर को विश्व स्तर पर विशेष पहचान दिलाने और अलवर के पर्यटन को पढ़ाने के लिए जिला प्रशासन की तरफ से इस बार मत्स्य उत्सव में कई खास कार्यक्रम का आयोजन किया गया है.
इस दौरान पहली बार ट्रैकिंग शामिल की गई है, ऐसे में शनिवार को मत्स्य उत्सव का आगाज का हुआ. साथ ही मूसी महारानी की छतरी सागर जलाशय से बाला किला तक ट्रैकिंग का आयोजन किया गया. जिसमें स्काउट गाइड सहित सैकड़ों बच्चों और युवाओं ने हिस्सा लिया. ट्रैकिंग के दौरान स्वास्थ्य विभाग और प्रशासन की तरफ से खास इंतजाम भी किए गए.
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बता दें, करीब 4 किलोमीटर का सफर युवाओं ने कुछ ही देर में पूरा कर लिया. एडीएम सिटी उत्तम सिंह शेखावत ने युवाओं को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया. इस मौके पर पर्यटन विभाग के अधिकारी समाजसेवी पर बड़ी संख्या में शहर के लोग मौजूद रहे. बाला किला पर ट्रैकिंग में हिस्सा लेने वाले लोगों के लिए पानी नाश्ते सहित अन्य व्यवस्थाएं भी की गई थी.
वहीं पर्यटन विभाग की अधिकारी ज्योति खंडेलवाल ने बताया कि मत्स्य उत्सव में होने वाली सभी कार्यक्रमों का उद्देश्य अलवर के पर्यटन को बढ़ावा देना है और अलवर से देश-विदेश के लोगों को रूबरू कराना है. उन्होंने कहा कि अलवर में प्रकृति का अद्भुत सौंदर्य देखने को मिलता है. चारों तरफ अरावली की वादियों से गिरा हुआ अलवर अपने आपका अलग शहर है.