अलवर. अलवर-भरतपुर सड़क मार्ग पर 15 सितंबर को बाइक से जा रहे एक दलित युवक को जाति विशेष के लोगों ने पीट-पीट कर मौत के घाट उतार दिया था. भाजपा के वरिष्ठ नेता ज्ञानदेव आहूजा ने इस मामले में सीबीआई जांच कराने की मांग की है. उन्होंने कहा कि अगर सरकार ने सीबीआई जांच नहीं करवाई तो चक्काजाम किया जाएगा. ज्ञानदेव ने प्रदेश के मुख्यमंत्री पर भी कई गंभीर आरोप लगाए हैं. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जाति विशेष के लोगों को बचाने में लगे रहते हैं.
15 सितंबर को योगेश बैरवा (17) पुत्र ओमप्रकाश बैरवा पशुओं के लिए मोटरसाइकिल से चारा लेने के लिए गया था. इसी दौरान मीना के बास में समुदाय विशेष की एक छोटी लड़की रास्ता पार कर रही थी. उसी समय वह बाइक से टकरा गई. योगेश ने घायल बच्ची को उठाया लेकिन तभी ग्रामीण और बच्ची के परिजन आ गए और लाठी-डंडे से उसपर ताबड़तोड़ हमला कर दिया. जयपुर में इलाज के दौरान युवक की मौत हो गई. इस मामले में भाजपा के वरिष्ठ नेता ज्ञानदेव आहूजा ने सीएम गहलोत पर गंभीर आरोप लगाए हैं.
पढ़ें;राजस्थान और पंजाब को लेकर मोदी के इस मंत्री ने बड़ा बयान दिया है, खुद सुनिये
ज्ञानदेव आहूजा ने कहा कि यह सरकार जाति विशेष के लोगों को बचाने में लगी है. एक घटनाक्रम का उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि एक मामले में न्यायालय के आदेश के बाद भी सरकार ने दोबारा केस खुलवाया है. उसकी जांच पड़ताल जीआईडीसी भी से कराई जा रही है. उस मामले में जबरदस्ती कई धाराएं जोड़ी गईं हैं जो पूरी तरह से गलत हैं.
ज्ञानदेव आहूजा ने कहा कि जाति विशेष के लोगों ने पीट-पीटकर युवक को मौत के घाट उतारा है. यह मॉब लिंचिंग का मामला है. लेकिन पुलिस इस पूरे मामले को शुरुआत में दबाने में लगी रही. इस घटना को सड़क हादसे का रूप दिया गया. साथ ही हत्या जैसी कई गंभीर धाराएं भी पुलिस ने इस मामले में नहीं लगाई है. पुलिस प्रशासन पर जब दबाव बनाया गया तो उन्होंने मृतक का पोस्टमार्टम कराया. आहूजा ने कहा कि अगर इस मामले में पीड़ित परिवार को न्याय नहीं मिलेगा तो अलवर में विरोध प्रदर्शन किए जाएंगे.
पढ़ें: शेखावत का CM गहलोत पर तंज, कहा- रीट परीक्षा में हुआ खेल आपका और खिलाड़ी भी आप
आहूजा ने प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर भी कई गंभीर आरोप लगाए हैं. उन्होंने कहा कि मेवात क्राइम के लिए बदनाम है. अलवर में भी क्राइम का ग्राफ तेजी से बढ़ रहा है. सरकार क्राइम कम करने में पूरी तरह से फेल है. उन्होंने आरोप लगाया कि प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत जाति विशेष के लोगों को संरक्षण दे रहे हैं. इसलिए लोग खुलेआम घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं. आहूजा ने कहा कि इस मामले में कई लोगों की लापरवाही सामने आ रही है. पुलिसकर्मियों ने मामला दर्ज नहीं किया जबकि पुलिस अधीक्षक सहित अन्य अधिकारियों की ओर से भी मामले को दबाने का प्रयास किया गया.