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अलवर मॉब लिंचिंग: BJP-BSP ने मांगा CM गहलोत से इस्तीफा, कहा-दलित विरोधी है सरकार..

अलवर में दलित युवक की हत्या मामले पर बीजेपी, बसपा और समाजवादी पार्टी ने कांग्रेस को घेरा है. इस मामले को लेकर पार्टियां सीएम से इस्तीफे की मांग कर रही हैं.

mob lynching in Alwar, Jaipur news
अलवर मॉब लिंचिंग Alwar mob lynching
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Published : Sep 20, 2021, 8:04 PM IST

Updated : Sep 20, 2021, 9:22 PM IST

अलवर. बड़ौदामेव थाना क्षेत्र में एक दलित युवक की पीट-पीटकर हत्या के मामले ने राजनीतिक रूप ले लिया है. इस मामले में भाजपा, बसपा व समाजवादी पार्टी ने कांग्रेस पर गंभीर आरोप लगा रही हैं. राजनीतिक दल पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठ रहे हैं.

बसपा ने कांग्रेस सरकार को दलित विरोधी बताते हुए सीएम अशोक गहलोत (CM Ashok Gehlot) का इस्तीफा मांगा है. वहीं भाजपा ने कहा कि अगर यह घटना किसी जाति विशेष के व्यक्ति के साथ होती तो गहलोत सरकार पुलिस पर दबाव बनाकर बेगुनाह लोगों को भी जेल भेज देती. इस मामले में गहलोत सरकार के प्रतिनिधि निष्पक्ष जांच कराने का आश्वासन दे रहे हैं.

अलवर मॉब लिंचिंग पर सीएम गहलोत को घेरा

अलवर मॉब लिंचिंग का गढ़ बन चुका है. आए दिन मॉब लिंचिंग के मामले सामने आते हैं. जिले में अब तक आठ मॉब लिंचिंग के मामले सामने आ चुके हैं. सरकार ने साल 2019 में सत्ता में आते ही मॉब लिंचिंग कानून बनाते हुए नोटिफिकेशन जारी किया था लेकिन इसका लाभ पीड़ित को नहीं मिल पाता. दलित युवक की हत्या के मामले में अलवर शहर विधायक संजय शर्मा ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से जवाब मांगते हुए सख्त कदम उठाने की मांग की है. उन्होंने कहा कि पीड़ित परिवार को मुआवजा दिया जाए. सरकार की ओर से दिया जा रहा न्याय पीड़ित परिवार को दिखना चाहिए.

यह भी पढ़ें. योगेश जाटव हत्या मामले में सतीश पूनिया ने राहुल गांधी और प्रियंका गांधी पर किए सवाल खड़े, वहीं दिलावर ने घटना को बताया मॉब लिंचिंग

शहर विधायक ने कहा कि अगर जाति विशेष के लोगों पर कोई हमला करता है तो सरकार निर्दोष लोगों को भी सजा दिलवाने का प्रयास करती है. लेकिन जब हिंदू समाज का कोई पीड़ित न्याय की गुहार लगाता है तो सरकार वोट बैंक की राजनीति के चक्कर में जाति विशेष के लोगों को बचाने में लग जाती है. संजय शर्मा ने कहा कि यह पहला मामला नहीं है इससे पहले भिवाड़ी में भी एक दलित समाज की युवक को पीट-पीटकर मौत के घाट उतार दिया गया था. पीड़ित के परिजनों को न्याय नहीं मिला. इससे परेशान मृतक के पिता ने आत्महत्या तक कर ली थी. लेकिन उसके बाद भी सरकार की तरफ से कोई सख्त कदम नहीं उठाया गया. पूरे प्रदेश में हालत खराब है.

यह भी पढ़ें. अलवर में एक बार फिर मॉब लिंचिंग, दलित किशोर के साथ लाठी-डंडों से मारपीट...इलाज के दौरान तोड़ा दम

अलवर में मॉब लिंचिंग का सिलसिला जारी है. वहीं बहुजन समाज पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष भगवान सिंह बाबा ने कहा कि गहलोत सरकार में दलितों पर अत्याचार बढ़े हैं. उन्होंने गहलोत सरकार को दलित विरोधी सरकार कहा है. उन्होंने कहा कि गृह विभाग प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पास है ऐसे में उनको नैतिकता के तौर पर इस्तीफा दे देना चाहिए. भगवान सिंह ने कहा कि जल्द ही पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार नहीं किया तो आने वाले समय में बहुजन समाज पार्टी उग्र प्रदर्शन करेगी.

वहीं प्रदेश सरकार में श्रम मंत्री टीकाराम जूली मामले में पीड़ित परिवार को न्याय दिलवाने की बात कह रहे हैं. श्रम मंत्री ने कहा इस पूरे मामले में निष्पक्ष जांच होगी जो भी आरोपी होंगे उनके खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएंगे. अभी तक मृतक को सरकार व प्रशासन की तरफ से कोई मदद नहीं मिली है. परिजनों का रो-रो कर बुरा हाल है.

अलवर. बड़ौदामेव थाना क्षेत्र में एक दलित युवक की पीट-पीटकर हत्या के मामले ने राजनीतिक रूप ले लिया है. इस मामले में भाजपा, बसपा व समाजवादी पार्टी ने कांग्रेस पर गंभीर आरोप लगा रही हैं. राजनीतिक दल पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठ रहे हैं.

बसपा ने कांग्रेस सरकार को दलित विरोधी बताते हुए सीएम अशोक गहलोत (CM Ashok Gehlot) का इस्तीफा मांगा है. वहीं भाजपा ने कहा कि अगर यह घटना किसी जाति विशेष के व्यक्ति के साथ होती तो गहलोत सरकार पुलिस पर दबाव बनाकर बेगुनाह लोगों को भी जेल भेज देती. इस मामले में गहलोत सरकार के प्रतिनिधि निष्पक्ष जांच कराने का आश्वासन दे रहे हैं.

अलवर मॉब लिंचिंग पर सीएम गहलोत को घेरा

अलवर मॉब लिंचिंग का गढ़ बन चुका है. आए दिन मॉब लिंचिंग के मामले सामने आते हैं. जिले में अब तक आठ मॉब लिंचिंग के मामले सामने आ चुके हैं. सरकार ने साल 2019 में सत्ता में आते ही मॉब लिंचिंग कानून बनाते हुए नोटिफिकेशन जारी किया था लेकिन इसका लाभ पीड़ित को नहीं मिल पाता. दलित युवक की हत्या के मामले में अलवर शहर विधायक संजय शर्मा ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से जवाब मांगते हुए सख्त कदम उठाने की मांग की है. उन्होंने कहा कि पीड़ित परिवार को मुआवजा दिया जाए. सरकार की ओर से दिया जा रहा न्याय पीड़ित परिवार को दिखना चाहिए.

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शहर विधायक ने कहा कि अगर जाति विशेष के लोगों पर कोई हमला करता है तो सरकार निर्दोष लोगों को भी सजा दिलवाने का प्रयास करती है. लेकिन जब हिंदू समाज का कोई पीड़ित न्याय की गुहार लगाता है तो सरकार वोट बैंक की राजनीति के चक्कर में जाति विशेष के लोगों को बचाने में लग जाती है. संजय शर्मा ने कहा कि यह पहला मामला नहीं है इससे पहले भिवाड़ी में भी एक दलित समाज की युवक को पीट-पीटकर मौत के घाट उतार दिया गया था. पीड़ित के परिजनों को न्याय नहीं मिला. इससे परेशान मृतक के पिता ने आत्महत्या तक कर ली थी. लेकिन उसके बाद भी सरकार की तरफ से कोई सख्त कदम नहीं उठाया गया. पूरे प्रदेश में हालत खराब है.

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अलवर में मॉब लिंचिंग का सिलसिला जारी है. वहीं बहुजन समाज पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष भगवान सिंह बाबा ने कहा कि गहलोत सरकार में दलितों पर अत्याचार बढ़े हैं. उन्होंने गहलोत सरकार को दलित विरोधी सरकार कहा है. उन्होंने कहा कि गृह विभाग प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पास है ऐसे में उनको नैतिकता के तौर पर इस्तीफा दे देना चाहिए. भगवान सिंह ने कहा कि जल्द ही पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार नहीं किया तो आने वाले समय में बहुजन समाज पार्टी उग्र प्रदर्शन करेगी.

वहीं प्रदेश सरकार में श्रम मंत्री टीकाराम जूली मामले में पीड़ित परिवार को न्याय दिलवाने की बात कह रहे हैं. श्रम मंत्री ने कहा इस पूरे मामले में निष्पक्ष जांच होगी जो भी आरोपी होंगे उनके खिलाफ सख्त कदम उठाए जाएंगे. अभी तक मृतक को सरकार व प्रशासन की तरफ से कोई मदद नहीं मिली है. परिजनों का रो-रो कर बुरा हाल है.

Last Updated : Sep 20, 2021, 9:22 PM IST
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